Marburg Virus: शरीर के इन हिस्सों से पानी की तरह बहता है खून, कोरोना से खतरनाक वायरस के 5 संकेतों को भूलकर भी न करें इग्नोर

Marburg Disease Prevention: मारबर्ग वायरस रोग (एमवीडी) मारबर्ग वायरस के कारण मनुष्यों में होने वाली एक गंभीर बीमारी है। मारबर्ग वायरस के संक्रमण से होने वाली बीमारी अचानक तेज बुखार, गंभीर सिरदर्द और गंभीर अस्वस्थता के साथ शुरू होती है। मारबर्ग वायरस रोग का मृत्यु दर अनुपात 88 प्रतिशत तक है, लेकिन अच्छी देखभाल के साथ यह बहुत कम हो सकता है। आइये जानते हैं इसके लक्षण, कारण और उपाय-

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Marburg Virus symptoms: कोरोना जैसा घातक साबित हो सकता है मारबर्ग वायरस?

Marburg Disease Prevention: कोरोना वायरस का प्रकोप एक बार फिर शुरू हो गया है, भारत समेत कई देशों में कोरोना के नए मरीज तेजी से बढ़ रहे हैं। आशंका है कि कभी भी कोरोना की नई लहर आ सकती है। कोरोना से पीड़ित दुनिया के सामने मारबर्ग वायरस के रूप में एक नया संकट खड़ा हो गया है। इस खतरनाक वायरस ने यूएई के कई देशों के दरवाजे दस्तक दे दिए हैं, जिससे अलर्ट घोषित किया गया है।

यूएस सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन (CDC) ने भी तंजानिया और इक्वेटोरियल गिनी देशों में न जाने की सलाह दी है। इसके अलावा मरीजों के साथ निकट संपर्क से बचने, दूषित सतहों को छूने और गुफाओं और खदानों में जाने से बचने की भी सलाह दी गई है। आइए जानते हैं क्या है ये वायरस, क्या हैं इसके लक्षण और इससे कैसे बचा जा सकता है।

मारबर्ग वायरस क्या है? | What is Marburg virus?

मारबर्ग वायरस रोग (एमवीडी) की पहली बार 1967 में अंगोला, कांगो, केन्या, दक्षिण अफ्रीका और युगांडा सहित कई अफ्रीकी देशों में पहचाना गया था। इस बीमारी की डेथ रेट 24-88% के बीच है। यह इबोला वायरस रोग जैसा दिखता है। यह इसकी चपेट में आने पर रोगी को बुखार के साथ ब्लिडिंग होती है जो शरीर के अंगों को प्रभावित कर सकता है।

मारबर्ग वायरस कितना घातक है ? | How deadly is the Marburg virus?

COVID-19 जैसे श्वसन मार्ग से फैलने वाले संक्रमणों की तुलना में Marburg कम आसानी से फैलता है क्योंकि इसे ब्लड या शरीर से निकल से पसीने के साथ सम्पर्क में आने की आवश्यकता होती है। सीडीसी के अनुसार, मारबर्ग वायरस रोग एक गंभीर वायरल रोग है, जिसकी मृत्यु दर 88% तक होती है। संयोग से अभी तक इसका कोई इलाज या टीका विकसित नहीं किया जा सका है।

मारबर्ग के लक्षण क्या हैं? | What are the symptoms of Marburg?

सीडीसी के मुताबिक मारबर्ग के शुरुआती लक्षणों में अचानक बुखार, ठंड लगना, सिरदर्द और मांसपेशियों में दर्द शामिल है। कुछ दिनों के भीतर, दस्त, उल्टी, मतली, गले में खराश और छाती या पेट में दर्द शुरू हो सकता है। गंभीर लक्षण आमतौर पर शुरुआत के पांच से सात दिनों के बाद शुरू होते हैं, डब्ल्यूएचओ के अनुसार, आमतौर पर इबोला के समान कई छिद्रों से ब्लिडिंग होता है। विशेषज्ञों का कहना है कि इंटरनल ब्लीडिंग, खूनी मल और उल्टी का कारण बन सकता है और एक व्यक्ति की नाक, आंखों या मसूड़ों से खून आ सकता है। सीडीसी के अनुसार बीमारी बढ़ी तो इन्हीं लक्षणों में एक व्यक्ति तेजी से वजन घटाने, लिवर की विफलता, अग्न्याशय की सूजन और मल्टीऑर्गन डिसफंक्शन का अनुभव कर सकता है ।

मारबर्ग वायरस से कैसे बचें ? | How to avoid Marburg virus?

रोग के प्रसार को रोकने के लिए, चमगादड़ और अन्य जानवरों के संपर्क से बचें जो वायरस ले जा सकते हैं। मारबर्ग वायरस रोग से पीड़ित लोगों के साथ रहने या उनकी देखभाल करने के दौरान शरीर के तरल पदार्थों से पूरी तरह बचें। दस्ताने, गाउन, मास्क और चश्मे को संभालते समय सुरक्षात्मक गियर का उपयोग करें।

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प्रणव मिश्र author

मीडिया में पिछले 5 वर्षों से कार्यरत हैं। इस दौरान इन्होंने मुख्य रूप से टीवी प्रोग्राम के लिए रिसर्च, रिपोर्टिंग और डिजिटल प्लेटफॉर्म के लिए काम किया...और देखें

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