Health Alert: तेजी से फैल रही है सांस में लेने में तकलीफ वाली पुरानी बीमारी, गले में खराश है बड़ा लक्षण, जानें कहां है ज्यादा खतरा
Diphtheria Symptoms Causes And Treatment: डिप्थीरिया रोग सिर्फ आपके गले और नाक को ही नुकसान नहीं पहुंचाता है, बल्कि अगर इसके बैक्टीरिया ब्लड स्ट्रीम में प्रवेश कर जाएं तो किडनी, हृदय स्वास्थ्य और नर्वस को भी गंभीर रूप से डैमेज कर सकते हैं। जानें डिप्थीरिया के लक्षण और उपचार क्या है।
Diphtheria Symptoms Causes And Treatment
डिप्थीरिया के कारण क्या हैं - What Causes Diphtheria In Hindi
असल में यह संक्रामक रोग तब होता है, जब कोरिनेबैक्टीरियम नामक बैक्टीरिया व्यक्ति के श्वसन तंत्र की परत पर चिपक जाता है। ये बैक्टीरिया एक तरह का जहर उत्पन्न करते हैं, जो श्वास नली में टिशू को नुकसान पहुंचाते हैं। दो से तीन दिनों के भीतर, डैमेज टिशू पर भूरे रंग की कोटिंग जम जाती है। इस कोटिंग में व्यक्ति के वॉयस बॉक्स, गले, नाक और टॉन्सिल के टिशू को को ढकने की क्षमता होती है। इसकी वजह से डिप्थीरिया से संक्रमित व्यक्ति को सांस लेने में तकलीफ होती है और कुछ भी खाया-पिया नहीं जाता है, क्योंकि उन्हें निगलने में बहुत परेशानी होती है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के अनुसार, संक्रमण के बैक्टीरिया अगर ब्लड स्ट्रीम में प्रवेश कर जाते हैं, तो यह किडनी, हृदय स्वास्थ्य और नर्वस को भी गंभीर रूप से डैमेज कर सकते हैं।
डिप्थीरिया के लक्षण - Symptoms Of Diphtheria In Hindi
- गले में खराब और दर्द होना
- गर्दन की ग्रंथियों में सूजन नोटिस होना
- बहुत थकान और कमजोरी महसूस होना
- बुखार आना
- सांस लेने में तकलीफ होना
- खाने-पीने और निगलने में परेशानी
आमतौर पर डिप्थीरिया की चपेट में आने के बाद व्यक्ति में इसके लक्षण 2-5 दिन में दिखाई देने लगते हैं। हालांकि, कुछ में अधिक समय भी लग सकता है।
डिप्थीरिया का इलाज क्या है- Diphtheria Treatment In Hindi
विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के अनुसार, डिप्थीरिया से बचाव के लिए वैक्सीन लगवाना आवश्यक है। वैक्सीन की मदद से आसानी से इस संक्रमण की चपेट में आने से बचा सकता है। इसके इलाज की बात करें, तो संक्रमण की पुष्टि होने के बाद डॉक्टर कुछ दवाएं जैसे डिप्थीरिया एंटीटॉक्सिन, एंटीबायोटिक्स, आमतौर पर पेनिसिलिन या एरिथ्रोमाइसिन भी आदि देते हैं। संक्रमित व्यक्ति को दूसरे लोगों से दूर रहने की सलाह दी जाती है, जिससे कि यह संक्रमण दूसरों में ट्रांस्फर न हो सके। सफलतापूर्वक उपचार के बाद भविष्य में संक्रमण को रोकने के लिए वैक्सीन ली जा सकती है।
डिस्क्लेमर: प्रस्तुत लेख में सुझाए गए टिप्स और सलाह केवल आम जानकारी के लिए हैं और इसे पेशेवर चिकित्सा सलाह के रूप में नहीं लिया जा सकता। किसी भी तरह का फिटनेस प्रोग्राम शुरू करने अथवा अपनी डाइट में किसी तरह का बदलाव करने से पहले अपने डॉक्टर से परामर्श जरूर लें।
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