न प्रयागराज कनेक्शन और न अतीक से दुश्मनी, माफिया बंधुओं की हत्या के पीछे छूटे ये 5 सवाल

Atique Ahmed Death News in Hindi: अतीक और उसके भाई अशरफ की हत्या के बाद कई सवाल खड़े हो रहे हैं। पुलिसिया लापरवाही से लेकर इंटरनेशनल साजिश तक की बातें सामने आ रही हैं। ऐसे में हम आपको अतीक को मारने वाले तीनों आरोपियों की कुंडली समेत उन पांच सवालों से वाकिफ कराएंगे, जो इस हत्याकांड के बाद उठ रहे हैं।

Atiq Ahmed and Ashraf Death

अतीक-अशरफ हत्याकांड

Atique Ahmed Death News: जिस प्रयागराज में एक समय अतीक और उसके गुर्गों की तूती बोलती थी। जिस प्रयागराज में बंदूक के दम पर अतीक समानान्तर सरकार चलाता था, उसी प्रयागराज में अतीक को गोलियों से भून दिया जाएगा, यह किसी ने सोचा नहीं था। कैमरे के सामने हुई इस हत्या ने पूरे देश को देखा। दिल दहला देने वाली इस घटना से पूरा उत्तर प्रदेश कांप गया है, लेकिन यह हत्या अपने पीछे कई सवाल भी छोड़ कर गई है।

अतीक और उसके भाई अशरफ की पुलिस हिरासत में हुई हत्या के बाद एफआईआर दर्ज की गई है। इसमें हत्या के आरोपी तीनों शूटरों का कहना है कि वह अतीक की कई दिनों से रेकी कर रहे थे, वह उसे मारकर लोकप्रिय होना चाहते थे। हालांकि, अतीक से पूछताछ के दौरान जो इनपुट सामने आए थे, उनके मद्देनजर शूटरों के इस बयान पर भरोसा करना मुश्किल है। क्योंकि अतीक को मारने वाले शूटरों का न तो कोई प्रयागराज कनेक्शन था और न ही अतीक से कोई पुरानी दुश्मनी। ऐसे में हम आपको अतीक को मारने वाले तीनों आरोपियों की कुंडली समेत उन पांच सवालों से वाकिफ कराएंगे, जो इस हत्याकांड के बाद उठ रहे हैं।

सबसे पहले अतीक को मारने वाले शूटरों के बारे में अतीक के हमलावरों ने मौका-ए-वारदात पर ही सरेंडर कर दिया था। तीनों की पहचान लवलेश तिवारी, अरुण मौर्य और सनी के रूप में की गई है। इन तीनों की क्राइम लिस्ट भी बड़ी नहीं है। तीनों छोटे-मोटे अपराधी हैं। लवलेश तिवारी की उम्र 22 साल है और वह बांटा जिले का रहने वाला था। दूसरा आरोपी मोहित उर्फ सनी हमीरपुर का निवासी था और तीसरा आरोपी अरुण मार्य कासगंज का रहने वाला है। तीनों का कहना है कि वे अतीक के गैंग को खत्म कर मशहूर होना चाहते थे। इसलिए उन्होंने पुलिस सुरक्षा के बीच अतीक और उसके भाई अशरफ को मार डाला।

अतीक से नहीं थी कोई दुश्मनीअतीक के हत्यारों की कुंडली से एक बात तो साफ है कि तीनों आरोपियों का कोई प्रयागराज कनेक्शन नहीं है। और न ही ये इन तीनों आरोपियों की अतीक अहमद और उसके गैंग से कोई जातीय दुश्मनी। ऐसे में यह सवाल उठना लाजमी है कि इन तीनों हत्यारों का मकसद क्या है। तीनों का पारिवारिक बैकग्राउंड भी आपराधिक नहीं है।

हत्या के पीछे छूटे ये पांच सवाल

अतीक अहमद और अशरफ की हत्या दिल दहला देने वाली थी। पुलिस सुरक्षा के बीच तीनों को गोलियों से भून दिया गया। ऐसे में इस हत्याकांड के पीछे कई सवाल खड़े हो रहे हैं। विपक्ष सरकार पर कई तरह के आरोप लगा रही है। जानते हैं उन सवालों के बारे में -

सवाल नंबर 1 - अतीक के बेटे असद के एनकाउंटर के बाद अतीक का आतंकी कनेक्शन भी सामने आया था। पुलिस को इनपुट मिले थे कि अतीक को हथियारों की सप्लाई पाकिस्तान से होती है। ऐसे में अतीक की हत्या के पीछे क्या कोई इंटरनेशनल कनेक्शन है?

सवाल नंबर 2 - अतीक की हत्या के पीछे खालिस्तानी कनेक्शन भी सामने आय है। बयान में कहा गया है कि पाकिस्तानी एजेंसी ISI द्वारा पंजाब प्रांत में ड्रोन से हथियार गिराए जाते हैं। कुछ हथियार लश्कर-ए-तैयबा को भेजे जाते हैं तो कुछ खालिस्तानी अलगाववादी संगठनों को। ऐसे में इन हत्याकांड के पीछे क्या कोई खालिस्तानी साजिश है?

सवाल नंबर 3 - अतीक अहमद को पिछली सरकारों से समर्थन प्राप्त था, यह बात किसी से छिपी नहीं है। सियासी समर्थन के कारण ही अतीक का साम्राज्य भी बढ़ता चला गया। ऐसे में पुलिसिया पूछताछ के दौरान अतीक बड़े खुलासे कर सकता था?

सवाल नंबर 4 - अतीक को जिन शूटरों ने मारा, उन्होंने अपने बयान में कहा है कि उन्होंने मशहूर होने के लिए ऐसा किया। हालांकि, उनकी कमजोर तैयारी ने इस दावे पर सवाल खड़ा कर दिया है। और तो और इन हत्यारों के पास से जो ऑटोमैटिक हथियार बरामद हुए, वह कोई आम बात नहीं है। ऐसे में यह सवाल भी उठता है कि क्या अतीक को मारने के लिए किसी ने सुपारी दी थी?

सवाल नंबर 5 - अतीक को जिस वक्त मारा गया, उस समय वह गुड्डू मुस्लिम के बारे में कुछ कह रहा था। बात पूरी होती, इससे पहले ही हत्या को अंजाम दे दिया गया। गुड्डू मुस्लिम उमेश पाल हत्याकांड के बाद से फरार है। उसे बमबाज के नाम से जाना जाता है। ऐसे में क्या अतीक गुड्डू मुस्लिम के बारे में कोई बड़ा खुलासा करने वाला था।

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प्रांजुल श्रीवास्तव author

मैं इस वक्त टाइम्स नाउ नवभारत से जुड़ा हुआ हूं। पत्रकारिता के 8 वर्षों के तजुर्बे में मुझे और मेरी भाषाई समझ को गढ़ने और तराशने में कई वरिष्ठ पत्रक...और देखें

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