BJP को अब कोई समर्थन नहीं- करारी हार के बाद अब नवीन पटनायक ने दिखाए तेवर, राज्यसभा में सरकार को सपोर्ट नहीं करेगी BJD
बीजद नेता सस्मित पात्रा ने कहा कि पिछले 10 सालों से ओडिशा की कोयला रॉयल्टी में संशोधन की मांग को केंद्र सरकार ने नजरअंदाज किया है। इससे राज्य के लोगों को भारी नुकसान हो रहा है और वे अपने हक के हिस्से से वंचित हैं।
करारी हार के बाद नवीन पटनायक हुए बीजेपी से खफा
- विधानसभा चुनाव में बीजेडी को मिली है ओडिशा में बड़ी हार
- पहली बार बीजेपी ने बनाई है ओडिशा में सरकार
- पहले सदन के अंदर बीजेपी के साथ रही थी बीजद
मोदी सरकार को पिछले कार्यकाल में संसद के अंदर सपोर्ट करने वाली बीजू जनता दल (BJD) इस बार मिली करारी हार के बाद से बीजेपी से खफा दिख रही है। बीजद के चीफ और ओडिशा के पूर्व मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने अपने सांसदों से सदन में बीजेपी का विरोध करने को कहा है।
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इस बार विपक्ष के साथ पटनायक
बीजू जनता दल (बीजद) के अध्यक्ष नवीन पटनायक ने सोमवार को अपनी पार्टी के नौ राज्यसभा सदस्यों के साथ बैठक की और उनसे 27 जून से शुरू होने वाले संसद के ऊपरी सदन के आगामी सत्र के दौरान एक ‘‘जीवंत और मजबूत’’ विपक्ष की भूमिका निभाने का आह्वान किया। बैठक में पटनायक ने सांसदों से राज्य के हितों से संबंधित मुद्दों को उचित तरीके से उठाने को भी कहा। बैठक के बाद पत्रकारों से बात करते हुए राज्यसभा में पार्टी के नेता सस्मित पात्रा ने कहा, ‘‘इस बार बीजद सांसद केवल मुद्दों पर बोलने तक ही सीमित नहीं रहेंगे, अगर केंद्र में भाजपा के नेतृत्व वाली सरकार ओडिशा के हितों की अनदेखी करती है तो वे आंदोलन करने के लिए दृढ़ हैं।’’
'भाजपा को समर्थन देने का सवाल ही नहीं'
जब पात्रा से पूछा गया कि क्या बीजद भाजपा के नेतृत्व वाली सरकार को मुद्दा आधारित समर्थन देने के अपने पहले के रुख पर कायम रहेगी, तो उन्होंने कहा- ‘‘अब भाजपा को कोई समर्थन नहीं, केवल विपक्ष की भूमिका निभाएंगे। हम ओडिशा के हितों की रक्षा के लिए किसी भी हद तक जा सकते हैं। भाजपा को समर्थन देने का कोई सवाल ही नहीं है। बीजद अध्यक्ष ने हमसे कहा कि अगर राजग सरकार ओडिशा की वास्तविक मांगों को नजरअंदाज करना जारी रखती है, तो हमें एक मजबूत और जीवंत विपक्ष के रूप में काम करना चाहिए।’’
सालों बाद सत्ता से बाहर हुए हैं पटनायक
दरअसल बीजेपी और बीजेडी भले चुनाव अलग लड़ती रही हो, लेकिन चुनाव परिणाम के बाद संसद के अंदर बीजद, बीजेपी के साथ ही रही है। संसद के अंदर बीजद मुश्किल वक्त में मोदी सरकार के सपोर्ट में हमेशा खड़ी दिखी थी, लेकिन इस बार बीजद को बीजेपी ने ही लोकसभा और विधानसभा दोनों में धूल चटा दिया है। नवीन पटनायक सालों बाद ओडिशा की सत्ता से बेदखल हुए हैं, बीजेपी पहली बार ओडिशा में सरकार बनाई है। जिसके बाद से पटनायक के तेवर सख्त दिख रहे हैं।
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