Sammed Shikharji : झारखंड के इस हिमालय पर 60 से ज्यादा जैन मंदिर, करनी पड़ती है कठिन चढ़ाई

Sammed Shikharji News: सम्मेद शिखर जी से जैनियों का आस्था का नाता बहुत पुराना है। जैन धर्म के तीर्थस्थल सम्मेद शिखरजी का ये नाम जैनों के 23वें तीर्थांकर पारसनाथ के नाम पर पड़ा है। पारसनाथ जी ने ही जैन समाज को धर्म से जुड़े तीन सिद्धांत दिए थे जिन पर जैन समाज शांति और सत्य के मार्ग पर चलता है।

केंद्र सरकार ने झारखंड सरकार को भी निर्देश दिए हैं।

Sammed Shikharji : जैन समुदाय के आस्था के केंद्र सम्मेद शिखरजी और उसके आसपास सभी पर्यटन गतिविधियों पर केंद्र सरकार ने रोक लगा दी है। सरकार के इस फैसले पर जैन धर्मावलंबी खुश हैं। इस फैसले के लिए वे प्रधनमंत्री नरेंद्र मोदी को धन्यवाद धन्यवाद दे रहे हैं। केंद्र सरकार ने कहा है कि जैनियों के पवित्र और सबसे बड़े तीर्थ स्थलों में से एक सम्मेद शिखर जी का मूल स्वरूप बरकरार रहेगा। केंद्र की मोदी सरकार ने झारखंड सरकार को सम्मेद शिखर में पर्यटन, इको टूरिज्म पर तुरंत रोक लगाने के कहा है। केंद्र सरकार ने अपना आदेश जारी कर दिया है। और उसमें जो हमारी मूल भूत मांग थी उसे स्वीकार लिया गया है। और उनका आदेश जारी हो गया है।
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जैन समाज ने फैसले का स्वागत किया

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सरकार के इस फैसले के बाद जैन समाज ने कहा कि ये बहुत अच्छी बात है। जैन समाज इस पूरे के पूरे कदम का स्वागत करता है। बता दें कि झारखंड के गिरिडीह में मौजूद जैनियों के सबसे बड़े तीर्थ क्षेत्र शिखरजी को पर्यटन स्थल घोषित करने के झारखंड सरकार के फैसले के विरोध में जैन समाज सड़कों पर था। जैन समाज का कहना है कि तीर्थ क्षेत्र को पर्यटन क्षेत्र बनाने से उस स्थान की पवित्रता और धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचती है। कोई भी आध्यात्मिक क्षेत्र, धर्म और आस्था का केंद्र होता है, इसे लोगों के आनंद और मौज-मस्ती का सेंटर नहीं बनाना चाहिए।
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