चिराग पासवान की NDA में वापसी! BJP अध्यक्ष ने किया आमंत्रित, विपक्षी दलों को मात देने का फॉर्मूला तैयार?

बीजेपी के नेतृत्व वाले राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) की बैठक 18 जुलाई 2023 को होने जा रही है। बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा ने लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के राष्ट्रीय अध्यक्ष चिराग पासवान (Chirag Paswan) को पत्र लिखकर इस बैठक में आमंत्रित किया है। बीजेपी विपक्षी दलों को मात देने का फॉर्मूला तैयार कर चुकी है।

बीजेपी ने चिराग पासवान को किया एनडीए में आमंत्रित

बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के राष्ट्रीय अध्यक्ष चिराग पासवान (Chirag Paswan) को पत्र लिखकर 18 जुलाई को दिल्ली में होने वाली एनडीए की बैठक में आमंत्रित किया है। पत्र में कहा गया है कि लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) बीजेपी के नेतृत्व वाले राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। इसकी पुष्टि करते हुए पटना में चिराग पासवान ने कहा कि बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा का पत्र हमें प्राप्त हुआ है। इस बैठक में लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के राष्ट्रीय अध्यक्ष चिराग पासवान को एक अहम सहयोगी के तौर पर आमंत्रित किया गया है। आज पार्टी के नेताओं के साथ बैठक कर अंतिम निर्णय लिया जाएगा। साथ ही उन्होंने कहा कि समय-समय हमलोगों ने हमेशा भारतीय जनता पार्टी का साथ दिया है। मुद्दों के आधार हमेशा समर्थन किया है। अंतिम फैसला पार्टी की बैठक बाद ली जाएगी। गौर हो कि इस दिन बैंगलुरू में विपक्षी दलों की बैठक हो रही है। बीजेपी भी अपना कुनबा बढ़ाने के आगे बढ़ चुकी है। इस तरह विपक्षी दलों को मात देने का फॉर्मूला तैयार कर चुकी है।

बीजेपी का चिराग को आमंत्रण

गौर हो कि केंद्रीय मंत्री नित्यानंद राय शुक्रवार रात चिराग से मिले। यह पिछले एक हफ्ते में दोनों नेताओं के बीच हुई दूसरी मुलाकात थी। इसके अलावा, लोजपा (आर) ने भाजपा अध्यक्ष द्वारा चिराग को लिखा गया पत्र साझा किया, जिसमें उन्हें एनडीए की बैठक में हिस्सा लेने का निमंत्रण दिया गया है। पत्र में नड्डा ने लोजपा (आर) को एनडीए का एक प्रमुख घटक करार दिया। उन्होंने पार्टी को गरीबों के विकास एवं कल्याण के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार की ओर से किए जा रहे प्रयासों में एक प्रमुख भागीदार बताया।

चिराग दिवंगत दलित नेता रामविलास पासवान के बेटे हैं। वह 2020 के बिहार विधानसभा चुनाव के दौरान मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के खिलाफ प्रचार करने के लिए राजग से अलग हो गए थे। उस समय नीतीश का जनता दल (यूनाइटेड) एनडीए का हिस्सा था। चिराग से संपर्क बढ़ाने की भाजपा नेताओं की कोशिशों को उन्हें राजग में वापस लाने की कवायद के तौर पर देखा जा रहा है।

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