‘लाडकी बहिन’ योजना के विज्ञापन को लेकर महायुति की बिगड़ी चाल, शिंदे के मंत्री ने अजित पवार पर उठाए सवाल

अभियान के दौरान इस्तेमाल किए गए विज्ञापन और अन्य प्रचार सामग्री में एनसीपी ने योजना के नाम का जिक्र ‘माझी लाडकी बहिन’ के रूप में किया। इसी को लेकर विवाद गहरा रहा है।

क्या महायुति में आ रही दरार

मुख्य बातें
  • शिवसेना ने ‘लाडकी बहिन योजना’ के विज्ञापनों से सीएम शिंदे का नाम हटाए जाने को लेकर अजित पवार की आलोचना की
  • राज्य के आबकारी मंत्री शंभुराज देसाई ने पवार पर अप्रत्यक्ष रूप से नाराजगी जाहिर की
  • इस योजना के तहत राज्य में पात्र महिलाओं को 1,500 रुपये प्रति माह आर्थिक सहायता दी जाती है

Clash over Ladki Bahin scheme: महाराष्ट्र में सत्तारूढ़ महायुति में मतभेद उभरते नजर आ रहे हैं। शिवसेना ने ‘लाडकी बहिन योजना’ के विज्ञापनों से मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे का नाम हटाए जाने को लेकर सहयोगी राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी और उसके अध्यक्ष अजित पवार की आलोचना की है। राज्य के आबकारी मंत्री एवं मुख्यमंत्री शिंदे के नेतृत्व वाली शिवसेना के नेता शंभुराज देसाई ने शुक्रवार को संवाददाताओं से बातचीत में उप मुख्यमंत्री पवार पर अप्रत्यक्ष रूप से मुख्यमंत्री माझी लाडकी बहिन योजना को हाईजैक करने का आरोप लगाते हुए अपनी नाराजगी जाहिर की। इस योजना के तहत राज्य में पात्र महिलाओं को 1,500 रुपये प्रति माह आर्थिक सहायता दी जाती है।

सीएम का नाम नहीं ले रहे अजित पवार

उन्होंने कहा कि उनके (अजित पवार) जन संपर्क कार्यक्रमों के दौरान योजना के पूरे नाम का इस्तेमाल नहीं करना प्रोटोकॉल के अनुरूप नहीं है। देसाई ने आरोप लगाया कि योजना के नाम में मुख्यमंत्री शब्द भी जुड़ा है और योजना के नाम से इसे हटाना अनुचित है। ऐसा नहीं किया जाना चाहिए। आबकारी मंत्री ने कहा कि यह राज्य सरकार की योजना है और उन्हें (पवार को) हर किसी को साथ लेकर चलना चाहिए।

‘माझी लाडकी बहिन’ का जिक्र

महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव से पहले अजित पवार ने पिछले महीने ‘जन सम्मान यात्रा’ नाम से अपनी पार्टी का जनसंपर्क कार्यक्रम शुरू किया था। महाराष्ट्र में नवंबर में चुनाव होने की संभावना है। पवार राज्य के वित्त मंत्री भी हैं। पवार का कार्यक्रम ‘लाडकी बहिन’ व अन्य योजनाओं के तहत उपलबध वित्तीय सहायता के लाभ पर केंद्रित था। अभियान के दौरान इस्तेमाल किए गए विज्ञापन और अन्य प्रचार सामग्री में एनसीपी ने योजना के नाम का जिक्र ‘माझी लाडकी बहिन’ के रूप में किया।

End Of Feed