H3N2 के खतरे के बीच कोरोना भी उठा रहा सिर, देश में 114 दिनों बाद संक्रमण का आंकड़ा 500 के पार

Corona daily cases in India: गत शनिवार को देश में संक्रमण के 524 नए केस मिले। बीते साल नवंबर के बाद संक्रमण का यह सबसे ज्यादा आंकड़ा है। बीते सात दिनों में संक्रमण के 2,671 नए केस सामने आए। बीते चार सप्ताहों से देश भर में कोविड संक्रमण में इजाफा देखने को मिल रहा है।

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भारत में कोरोना संक्रमण के नए मामलों में वृद्धि।

Corona daily cases: देश में H3N2 इन्फ्लुएंजा की दस्तक के बीच कोरोना संक्रमण एक बार फिर सिर उठाते हुए दिख रहा है। 114 दिन बाद एक दिन में कोविड-19 के 524 नए मामले सामने आए। इसके साथ ही देश में उपचाराधीन मरीजों की संख्या बढ़कर 3,618 हो गई है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के रविवार सुबह आठ बजे तक आंकड़ों के अनुसार, केरल में संक्रमण से एक मरीज की मौत होने से मृतकों की संख्या 5,30,781 पर पहुंच गई है। बीते सात दिनों में संक्रमण का आंकड़ा दोगुना भी हुआ है। हालांकि, संक्रमण का यह आंकड़ा अपेक्षाकृत कम है।

शनिवार को देश में संक्रमण के 524 नए केस मिले

गत शनिवार को देश में संक्रमण के 524 नए केस मिले। बीते साल नवंबर के बाद संक्रमण का यह सबसे ज्यादा आंकड़ा है। बीते सात दिनों में संक्रमण के 2,671 नए केस सामने आए। बीते चार सप्ताहों से देश भर में कोविड संक्रमण में इजाफा देखने को मिल रहा है।

दक्षिणी राज्यों में ज्यादा मामले

संक्रमण के मामलों में यह तेजी महाराष्ट्र एवं दक्षिण राज्यों में देखने को मिली है। बीते सात दिनों में कर्नाटक में 584, केरल में 520 और महाराष्ट्र में 512 नए केस मिले। कुल मिलाकर कई राज्यों में कोरोना के मामले बढ़ तो रहे हैं लेकिन साप्ताहिक मामले अभी भी 100 से नीचे हैं। बीते सात दिनों में दिल्ली में 97 नए केस मिले हैं।

कोरोना टीके की 220.64 करोड़ खुराक

स्वास्थ्य विभाग के आंकड़ों के अनुसार, संक्रमण के कुल मामलों की संख्या 4.46 करोड़ (4,46,90,492) हो गई है। कोविड-19 से स्वस्थ होने की राष्ट्रीय दर 98.80 प्रतिशत दर्ज की गई है। जबकि इस बीमारी से उबरने वाले लोगों की संख्या बढ़कर 4,41,56,093 हो गई है, जबकि मृत्यु दर 1.19 प्रतिशत दर्ज की गई है। सरकार के मुताबिक देशव्यापी कोविड-19 रोधी टीकाकरण अभियान के तहत अभी तक 220.64 करोड़ खुराक दी जा चुकी हैं।

दिल का दौरा पड़ने से हुईं मौतें

भारत में पिछले कुछ सालों में दिल संबंधी बीमारी के कारण मौत की घटनाएं बड़ी संख्या में सामने आई हैं। बैठे-बैठे और राह चलते भी दिल का दौरा पड़ने से लोगों की मौत की घटनाएं सुर्खियां बनी हैं। हृदय रोग विशेषज्ञ और नोएडा के फोर्टिस अस्पताल के हृदय विज्ञान (कार्डियक साइंस) विभाग के अध्यक्ष डॉ. अजय कौल का कहना है कि आज से करीब 30-40 साल पहले दिल का दौरा पड़ने की घटनाएं बहुत कम होती थीं। अब धीरे-धीरे बहुत सारी चीजें बदल गई हैं। इस वजह से लोगों की आदतों में भी काफी बदलाव आया है। धूम्रपान, शराब का सेवन, मधुमेह और रक्तचाप की बीमारी के साथ-साथ तनाव बहुत आम हो गया है। इन सभी वजहों से दिल का दौरा पड़ने की घटनाएं बढ़ी हैं।

एच3एन2 के मामलों में वृद्धि पर सरकार ने चिंता जताई

भारत में मौसमी इंफ्लूएंजा के उप-स्वरूप एच3एन2 के मामलों में वृद्धि के बीच केन्द्र ने कुछ राज्यों में कोविड-19 संक्रमण दर में क्रमिक बढ़ोतरी को लेकर शनिवार को चिंता व्यक्त की और कहा कि इससे तुरंत निपटने की जरूरत है। केंद्र ने सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों से इंफ्लूएंजा जैसी बीमारी (आईएलआई) या गंभीर तीव्र श्वसन संक्रमण (एसएआरआई) के मामलों के रूप में पेश होने वाले श्वसन संबंधी रोगों की एकीकृत निगरानी के लिए दिशानिर्देशों का पालन करने का अनुरोध किया।

(एजेंसी इनपुट के साथ)

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आलोक कुमार राव author

करीब 20 सालों से पत्रकारिता के पेशे में काम करते हुए प्रिंट, एजेंसी, टेलीविजन, डिजिटल के अनुभव ने समाचारों की एक अंतर्दृष्टि और समझ विकसित की है। इ...और देखें

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