जहरीली हवा में जी रही दिल्ली, लेकिन ताले में बंद धूल फांक रहा 23 करोड़ कीमत वाला स्मॉग टावर

दो साल पहले करोड़ों में खरीदा गया ऐसे समय में गायब हो गया है जब राजधानी और इसके पड़ोसी इलाके गंभीर वायु प्रदूषण से जूझ रहे हैं।

दिल्ली में बंद पड़ा है स्मॉग टावर

Delhi Smog Tower: एक तरफ जहां दिल्लीवासी जहरीली हवा में सांस लेने को मजबूर हैं, वहीं दो साल पहले प्रदूषण रोकने के नाम पर खरीदा गया स्मॉग टावर धूल फांक रहा है। दिल्ली के कनॉट प्लेस में 23 करोड़ रुपये वाला स्मॉग टॉवर पूरी तरह बंद पड़ा है। इसका उद्घाटन मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने अगस्त 2021 में बहुत धूमधाम के बीच किया था। लेकिन यह ऐसे समय में गायब हो गया है जब राजधानी और इसके पड़ोसी इलाके गंभीर वायु प्रदूषण से जूझ रहे हैं।

23 करोड़ का स्मॉग टावर हुआ बंद

स्मॉग टावर को बंद करने का कारण दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण समिति (DPCC) का एक सुझाव हो सकता है, जिसने अक्टूबर में दिल्ली सरकार के पर्यावरण मंत्रालय को इसकी कमियों के संबंध में लिखा था। इसमें कहा गया था कि दो साल के मूल्यांकन में यह निष्कर्ष निकला है कि प्रदूषण में कमी आई है। टावर से 100 मीटर की दूरी पर पार्टिकुलेट मैटर सिर्फ 12-13% के आसपास था। डीपीसीसी ने आगे कहा कि इसे पर्यावरण और जलवायु परिवर्तन नवाचार केंद्र के रूप में इस्तेमाल करने के लिए उन्नत किया जाना चाहिए।

पिछले सात महीने से बंद

यह केंद्र पिछले सात माह से बंद पड़ा है। इस बीच, राजधानी के लोगों को शुक्रवार को फिर से धुंध की मोटी परत का सामना करना पड़ा। केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) के अनुसार दिल्ली का वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) गंभीर हो गया है। गुरुवार को दिल्ली सरकार ने शुक्रवार और शनिवार के लिए सभी प्राइमरी स्कूलों को बंद करने का आदेश दिया था। इसके अलावा एनसीआर में प्रतिबंध पहले से ही लागू हैं, जिसमें दिल्ली भी शामिल है।

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