G20 ब्राजील घोषणा पत्र में जियो पॉलिटिकल भाषा का नहीं होगा प्रयोग, शेरपाओं की बैठक में हुआ अहम फैसला
G20 Brasil 2024: जी-20 के ब्राजील घोषणा पत्र में इस बार जियो पॉलिटिकल भाषा नहीं होगी। जी-20 शेरपाओं ने अपनी बैठकों में इसे हटाने का आम सहमति से फैसला लिया है। भारतीय विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने इस विषय पर जानकारी दी। बता दें कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कल तीन देशों की यात्रा के लिए ब्राजील, नाइजीरिया और गयाना जाएंगे।
जी20 ब्राजील (फोटो साभार: https://x.com/g20org)
G20 Brasil 2024: जी-20 के ब्राजील घोषणा पत्र में इस बार जियो पॉलिटिकल भाषा नहीं होगी। जी-20 शेरपाओं ने अपनी बैठकों में इसे हटाने का आम सहमति से फैसला लिया है। प्राथमिकता आर्थिक, जलवायु परिवर्तन, पर्यावरण, सतत विकास जैसे विषयों की रहेगी। इस विषय पर भारतीय विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ब्राजील, नाइजीरिया और गयाना यात्रा के बारे में जानकारी साझा करते हुए बताया।
जी-20 शिखर सम्मेलन
ब्राजील में हो रहे जी-20 शिखर सम्मेलन में यूक्रेन और मध्य एशिया का विषय बैठकों में चर्चा में आएगा, लेकिन अभी यह नहीं कहा जा सकता है कि घोषणा पत्र में इसे शामिल किया जाएगा या नहीं। बता दें कि भारत ने ब्राजील को जी-20 की अध्यक्षता सौंपी थी और भारत को उम्मीद है कि नयी दिल्ली घोषणा पत्र के बहुत से मुद्दे ब्राजील घोषणा पत्र में परिलक्षित होंगे।
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ब्राजील का थीम- 'न्यायपूर्ण विश्व और संधारणीय धरती का निर्माण' है, लेकिन जो सबसे विशेष है वो है भूख और गरीबी के खिलाफ वैश्विक गठबंधन इसमें गैर जी-20 देशों को भी शामिल किया जाएगा।
PM मोदी का विदेश दौरा
प्रधानमंत्री मोदी कल से 6 दिन के विदेश दौरे पर रवाना हो रहे हैं। ब्राजील जाने से पहले प्रधानमंत्री 16-17 को नाइजीरिया जाएंगे। 18 -19 को होने वाले जी-20 शिखर सम्मेलन के बाद 20-21 नवंबर को गयाना में रहेंगे। जी-20 शिखर सम्मेलन के अलावा इन दोनों देशों की यात्रा भारत के लिए बहुत महत्वपूर्ण और ऐतिहासिक मानी जा रही है।
सबसे अहम बात तो ये है कि लगभग 56 साल बाद गयाना जाने वाले नरेंद्र मोदी पहले प्रधानमंत्री होंगे। गयाना और भारत के संबंध बेहद गहरे हैं। पहला भारतीय दल 1938 में गयाना गया था। बता दें कि गयाना की लगभग 40 फीसदी आबादी भारतीय मूल की है और वहां पर होने वाले कैरेबियाई देशों के शिखर सम्मेलन में प्रधानमंत्री मोदी अतिथि होंगे और वह गयाना के राष्ट्रपति के निमंत्रण पर जा रहे हैं।
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कई समझौतों पर हो सकते हैं दस्तखत
पूर्वी मामलों के सचिव जयदीप मजूमदार ने बताया कि कैरीकॉम सम्मेलन के लिए भारत ने बहुत अच्छा एजेंडा तैयार किया है अनेक महत्वपूर्ण समझौतों पर हस्ताक्षर की उम्मीद जताई जा रही है।
17 साल बाद भारतीय प्रधानमंत्री का नाइजीरिया दौरा
17 साल बाद भारतीय प्रधानमंत्री नाइजीरिया दौरे पर होंगे। दोनों देशों के बीच अच्छे सामरिक और आर्थिक संबंध हैं। यात्रा के दौरान प्रधानमंत्री मोदी की नाइजीरिया के राष्ट्रपति के साथ द्विपक्षीय वार्ता होगी और प्रतिनिधिमंडल स्तर की भी वार्ता होने की उम्मीद है।
विदेश मंत्रालय में आर्थिक मामलों के सचिव दामू रवि के मुताबिक, नाइजीरिया अफ्रीकी देशों की अर्थव्यवस्था में दूसरे या तीसरे नंबर पर है और भारत के साथ 100 मिलियन डॉलर का व्यापार है। अफ्रीकी देशों में भारतीय मूल के लोगों की संख्या सबसे ज्यादा नाइजीरिया में ही है। उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री मोदी अपने विदेश दौरे के दरमियां प्रवासी भारतीयों से भी मुलाकात करेंगे।
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