राहुल गांधी के लिए अहम दिन, मोदी सरनेम मामले में सजा के खिलाफ अर्जी पर आएगा फैसला

Modi Surname Case: मोदी सरनेम मामले में सूरत की मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट के फैसले के खिलाफ राहुल गांधी ने अर्जी लगाई थी। उस केस में गुरुवार दोपहर 12 से 1 बजे के बीच सेशंस कोर्ट फैसला सुनाने वाला है।

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मोदी सरनेम केस में निचली अदालत के फैसले के खिलाफ राहुल गांधी की अर्जी

मुख्य बातें
  • सेशंस कोर्ट सुनाएगा फैसला
  • राहुल गांधी ने सजा के खिलाफ दी है अर्जी
  • मोदी सरनेम केस में निचली अदालत से सजायाफ्ता

Modi Surname Case: मोदी सरनेम मामले में सूरत की निचली अदालत के फैसले के खिलाफ राहुल गांधी(Rahul Gandhi) की अर्जी पर सेशंस कोर्ट(surat sessions court) फैसला सुनाने वाला है। बता दें कि उस मामले में निचली अदालत ने राहुल गांधी को दोषी मानते हुए दो साल की सजा सुनाई थी। सजा सुनाए जाने के बाद राहुल गांधी को लोकसभा सचिवालय ने सांसदी के लिए अयोग्य माना और उनकी सांसदी खत्म कर दी। लोकसभा स्पीकर(loksabha speaker om birla) के फैसले के खिलाफ उन्होंने कहा था कि चाहे वो सांसद रहे या ना रहें तानाशाही, जुल्म के खिलाफ लड़ाई जारी रहेगी। लोगों की आवाज को वो पहले की तरह सड़कों पर उठाते रहेंगे।

क्या है मामला

आम चुनाव 2019 के दौरान कर्नाटक के कोलार(modi surname issue in kolar rally) में राहुल गांधी ने कहा था कि आखिर सभी मोदी सरनेम वाले चोर क्यों होते हैं। उनके बयान के खिलाफ सूरत से विधायक रहे पूर्णेश मोदी ने शिकायत दर्ज कराई और करीब चार साल बाद इस मामले में फैसला आया। सूरत की निचली अदालत ने राहुल गांधी के बयान को आपत्तिजनक माना और दो साल की सजा सुना दी, हालांकि फैसले को एक महीने के लिए सस्पेंड रखने का भी फैसला किया। विवाद तब शुरू हुआ जब लोकसभा सचिवालय ने दो साल की सजा को आधार बनाकर राहुल गांधी की संसद सदस्यता खत्म कर दी।

  • मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट ने 23 मार्च को राहुल गांधी को दो साल की सजा सुनाई थी।
  • सेशंस कोर्ट में मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट के फैसले के खिलाफ राहुल गांधी ने अर्जी दी थी।

बीजेपी ने किया था तीखा हमला

बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा था कि झूठ, व्यक्तिगत बदनामी और नकारात्मक राजनीति श्री राहुल गांधी का अभिन्न अंग है। 2019 के चुनावों में राहुल गांधी चौकीदार चोर है (चौकीदार चोर है) दोहराते रहे, इसके बावजूद कि वह राजनीतिक प्रवचन को नुकसान पहुंचा रहे थे। वह प्रधानमंत्री मोदी के खिलाफ नारे लगाते रहे, भले ही इसका मतलब यह हुआ कि वह अपनी ही सीट पर हार गए और उनकी पार्टी का राष्ट्रीय स्तर पर सफाया हो गया। चौकीदार चोर है के लिए इतना कि न तो कांग्रेस नेताओं और न ही कांग्रेस के सहयोगियों ने प्रधानमंत्री मोदी के खिलाफ इस गहरी बदनामी की सराहना की। वास्तव में, इस मुद्दे को कांग्रेस वर्किंग कमेटी (CWC) में भी उठाया गया था, जहां कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं ने कथित तौर पर इस पर अपनी नाखुशी भी जाहिर की थी।

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ललित राय author

खबरों को सटीक, तार्किक और विश्लेषण के अंदाज में पेश करना पेशा है। पिछले 10 वर्षों से डिजिटल मीडिया में कार्य करने का अनुभव है।और देखें

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