पुणे विवि में PM पर ‘आपत्तिजनक' चित्र: झड़प में लेफ्ट के चार छात्र जख्मी, BJP बोली- इसे JNU न बनने देंगे

सोशल मीडिया पर सामने आए घटना के एक वीडियो में वामपंथी संगठन के चार छात्रों को भाजपा के प्रदर्शन स्थल पर अपने संगठन के झंडों के साथ देखा गया। जब भाजपा कार्यकर्ताओं ने ‘भारत माता की जय’ के नारे लगाए तो इन चार छात्रों ने ‘इंकलाब जिंदाबाद’ का नारा लगाया।

तस्वीर का इस्तेमाल सिर्फ प्रस्तुतिकरण के लिए किया गया है। (फाइल)

सावित्रीबाई फुले पुणे विश्वविद्यालय (एसपीपीयू) के छात्रावास के भीतर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर एक ‘‘आपत्तिजनक’’ भित्ति चित्र बनाए जाने के खिलाफ यहां विश्वविद्यालय परिसर में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के प्रदर्शन के दौरान हुई झड़प में एक वामपंथी संगठन के चार छात्र घायल हो गए। पुलिस ने बताया कि यह घटना विश्वविद्यालय की मुख्य इमारत के समीप शुक्रवार दोपहर को हुई। इस इमारत में विश्वविद्यालय का प्रशासनिक कार्यालय है। एक पुलिस अधिकारी ने कहा, ‘‘छात्रावास के भीतर प्रधानमंत्री पर एक आपत्तिजनक भित्ति चित्र पाए जाने के बाद भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के सैकड़ों समर्थकों ने शुक्रवार को विश्वविद्यालय में प्रदर्शन किया। हालांकि, प्रदर्शन तब हिंसक हो गया जब एक वामपंथी संगठन के चार छात्र प्रदर्शनस्थल पर आए।’’

उन्होंने बताया कि प्रदर्शन के दौरान एक झड़प हुई जिसमें ‘न्यू सोशलिस्ट अल्टरनेटिव’ के चार छात्र घायल हो गए। उन्होंने बताया कि पुलिस ने बाद में इन चार छात्रों को हिरासत में ले लिया और शाम को उन्हें छोड़ दिया। सोशल मीडिया पर सामने आए घटना के एक वीडियो में वामपंथी संगठन के चार छात्रों को भाजपा के प्रदर्शन स्थल पर अपने संगठन के झंडों के साथ देखा गया। जब भाजपा कार्यकर्ताओं ने ‘भारत माता की जय’ के नारे लगाए तो इन चार छात्रों ने ‘इंकलाब जिंदाबाद’ का नारा लगाया।

वीडियो में दिखायी देता है कि इसके बाद प्रदर्शनकारी इन चारों छात्रों को घेर लेते हैं और उनकी पिटायी करते हैं। पुलिस के अनुसार, छात्रावास के भीतर प्रधानमंत्री मोदी के खिलाफ भित्ति चित्र बृहस्पतिवार को पाया गया था। भाजपा की पुणे इकाई के अध्यक्ष धीरज घाटे ने कहा, ‘‘हमारे प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के खिलाफ आपत्तिजनक सामग्री कतई स्वीकार्य नहीं है। कई छात्र जो एसपीपीयू का हिस्सा नहीं हैं, वे परिसर के भीतर घूम रहे हैं। हम प्रधानमंत्री पर आपत्तिजनक भित्ति चित्र बनाने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग करते हैं। पुणे शहर शिक्षा की राजधानी है। हम अपने विश्वविद्यालय को जेएनयू नहीं बनने देंगे।’’

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