Cigarette Butts Pollution: सिगरेट बट से हर साल पैदा हो रहा लोखों टन कचरा, नदियों और समुद्रों को दूषित कर रहे हैं फेंकी गई 40 फीसदी सिगरेट
Cigarette Butts Pollution Sea(सिगरेट बट प्रदूषण ): हर साल करीब साढ़े चार लाख करोड़ से भी ज्यादा सिगरेट बट को खुले में फेंक दिया जाता है। ये सिगरेट बट करीब 40 लीटर पानी को दूषित कर सकता है। अनुमान है कि जितनी मात्रा में यह सिगरेट के टुकड़े समुद्रों और नदियों में मिल रहे हैं वे हर साल 72 क्वाड्रिलियन लीटर पानी को दूषित कर सकते हैं।
सिगरेट बट्स के कारण लोखों टन प्लास्टिक कचरा हर साल हो रहा पैदा
cigarette filter pollution to Sea: हर साल करीब साढ़े चार लाख करोड़ से भी ज्यादा सिगरेट बट को खुले में फेंक दिया जाता है। ये सिगरेट बट स्वास्थ्य के साथ-साथ पर्यावरण के लिए भी समस्या पैदा कर रहे हैं। इस वजह से दुनियाभर की नदियां और समुद्र प्रदूषित हो रहे हैं। संयुक्त राष्ट्र पर्यावरण कार्यक्रम (यूनेप) द्वारा जारी एक रिपोर्ट में यह जानकारी दी गई है। जानकारी के अनुसार, सिगरेट बट्स के कारण 350000 लाख टन प्लास्टिक कचरा पैदा हो रहा है, जो स्वास्थ्य के साथ पर्यावरण के लिए घातक है।
व्हेल सहित कई समुद्री प्रजातियों को नुकसान पहुंचा रहे सिगरेट बट(How are cigarette Buts Impacting sea species due to Pollution)
रिपोर्ट के अनुसार, वैश्विक स्तर पर सिगरेट के टुकड़े सबसे ज्यादा खुले में फेंका जाने वाला कचरा है। यह न केवल जमीन बल्कि नदियों, झीलों और समुद्रों तक को भी दूषित कर रहा है। यह गैर बायोडिग्रेडेबल कूड़े का एक रूप है। वैश्विक स्तर पर फेंके गए करीब 40 फीसदी सिगरेट बट्स नदियों और समुद्रों में मिल रहे हैं। यह मछली, पक्षी और व्हेल सहित कई समुद्री प्रजातियों को भी गंभीर नुकसान पहुंचता है। रिपोर्ट के मुताबिक, एक सिगरेट बट करीब 40 लीटर पानी को दूषित कर सकता है। अनुमान है कि जितनी मात्रा में यह सिगरेट के टुकड़े समुद्रों और नदियों में मिल रहे हैं वे हर साल 72 क्वाड्रिलियन लीटर पानी को दूषित कर सकते हैं।
जानकारी के मुताबिक, सालाना साढ़े तीन लाख टन से अधिक प्लास्टिक तंबाकू फिल्टर वैश्विक जल में प्रवेश कर रहे हैं। यदि 15 वर्षों का हिसाब लगाएं तो करीब 53 लाख टन तक सिगरेट के टुकड़े जल में घुले हो सकते हैं। नदियों समुद्रों पर इनका प्रभाव प्लास्टिक प्रदूषण से भी कहीं ज्यादा है। जितनी मात्रा में यह सिगरेट के टुकड़े समुद्रों और नदियों में मिल रहे हैं, हर साल 72 हजार करोड़ लीटर पानी को दूषित कर सकते हैं।
रिपोर्ट में सामने आया है कि मछली, पक्षी और व्हेल सहित कई समुद्री प्रजातियां खाने के दौरान अनजाने में इन सिगरेट के टुकड़ों को निगल लेती हैं। इस वजह से इन जीवों के स्वास्थ्य को गंभीर नुकसान पहुंचता है। यहां तक कि इन जीवों की मृत्यु भी हो रही है। विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार, तम्बाकू उद्योग हर साल करीब 2 लाख हेक्टेयर भूमि अधिग्रहित करता है। इसके लिए दुनिया में 60 करोड़ पेड़ों को काट जाता है। इसके अलावा यह उद्योग हर साल करीब 2200 करोड़ टन पानी का उपयोग करता है और लगभग 8.4 करोड़ टन सीओ2 उत्सर्जित करता है। यह समस्त हानिकारक प्रभाव मिलकर जलवायु परिवर्तन में भी नकारात्मक योगदान दे रहे हैं।
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