जेल में मेरे पिता को दिया गया धीमा जहर, अदालत का दरवाजा खटखटाएंगे...मुख्तार अंसारी के बेटे का दावा
मुख्तार अंसारी ने 21 मार्च को अपने आवेदन में लिखा था कि 19 मार्च को जब उन्हें बांदा जेल में खाना दिया गया तो उन्हें ऐसा लगा जैसे उन्हें कोई पदार्थ दिया गया है।
बांदा जेल में मुख्तार अंसारी की मौत
Mukhtar Ansari Death: डॉन मुख्तार अंसारी की मौत के कुछ घंटों बाद उसके बेटे उमर अंसारी ने एक बड़ा दावा किया। उमर अंसारी ने आरोप लगाया कि उनके पिता को खाने में जहर दिया गया और कहा कि उनकी टीम अदालत का दरवाजा खटखटाएगी। उमर ने कहा, दो दिन पहले, मैं उनसे (मुख्तार अंसारी) मिलने आया था, लेकिन मुझे अनुमति नहीं दी गई। हमने पहले भी कहा था और आज भी हम उन्हें धीमा जहर देने की बात कह रहे हैं। 19 मार्च को उन्हें रात के खाने के दौरान जहर दिया गया था। हम अदालत का दरवाजा खटखटाएंगे क्योंकि हमें उस पर पूरा भरोसा है।
मुख्तार ने लगाया था धीमा जहर देने का आरोप
सूत्रों ने कहा कि मुख्तार अंसारी को यूरीनरी ट्रैक्ट इंफेक्शन का पता चला था और उन्हें अस्पताल की आईसीयू में भर्ती कराया गया था, जिसके बाद डॉक्टरों की एक टीम ने सर्जरी की सिफारिश की। इससे कुछ दिन पहले मुख्तार अंसारी ने बाराबंकी की एक अदालत को बताया था कि उनका स्वास्थ्य खराब हो गया है और आरोप लगाया था कि उन्हें जेल के अंदर जहर मिला हुआ भोजन दिया गया था। मुख्तार अंसारी ने 21 मार्च को अपने आवेदन में लिखा था कि 19 मार्च को जब उन्हें बांदा जेल में खाना दिया गया तो उन्हें ऐसा लगा जैसे उन्हें कोई पदार्थ दिया गया है, जिससे उनकी नसों और अंगों में दर्द होने लगा।
इलाज की गुहार लगाई गई थी
इस आवेदन में मुख्तार ने कहा था, बाद में दर्द पूरे शरीर में फैल गया। ऐसा लग रहा था कि मौत हो जाएगी, जबकि वह इससे पहले पूरी तरह स्वस्थ था। उन्होंने आगे आरोप लगाया कि लगभग 40 दिन पहले आवेदक के भोजन में कुछ धीमा जहर दिया गया था, जिससे भोजन तैयार करने वाले जेल कर्मचारियों को खुद ही इसे चखना पड़ा। इसमें दावा किया गया कि आवेदक के साथ कर्मचारी भी बीमार पड़ गए। मुख्तार अंसारी ने आरोप लगाया कि बांदा जेल में उनकी जान को खतरा है और 19 मार्च को उनके खाने में मिलाया गया जहर एक साजिश का हिस्सा था। मुख्तार अंसारी के वकील की ओर से बाराबंकी एमपी-एमएलए कोर्ट में दाखिल अर्जी के मुताबिक मेडिकल बोर्ड गठित कर इलाज की गुहार लगाई गई थी।
अब आगे क्या?
उमर अंसारी ने मीडिया को बताया कि शव का पोस्टमार्टम शुक्रवार को किया जाएगा। उन्होंने कहा कि इसके बाद वे हमें शव देंगे। हम फिर आगे की प्रक्रिया (दफनाना) शुरू करेंगे। पोस्टमार्टम करने के लिए पांच डॉक्टरों का पैनल बनाया गया है। इस बीच, मुख्तार अंसारी का शव बांदा मेडिकल कॉलेज अस्पताल में पोस्टमार्टम करने के लिए फोरेंसिक टीम को सौंप दिया गया है। पांच बार के विधायक के निधन पर कई राजनीतिक नेताओं ने भी शोक व्यक्त किया है।
ओवैसी ने लगाए प्रशासन पर आरोप
वहीं, गुरुवार को AIMIM अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी ने मुख्तार अंसारी के परिवार के समर्थन में दुख व्यक्त किया। ओवैसी ने कहा, मैं अल्लाह से प्रार्थना करता हूं कि वह मुख्तार अंसारी को माफ कर दें और उनके परिवार और उनके प्रियजनों को धैर्य प्रदान करें। गाजीपुर के लोगों ने अपने पसंदीदा बेटे और भाई को खो दिया। मुख्तार साहब ने प्रशासन पर गंभीर आरोप लगाए थे कि उन्हें जहर दिया गया था। इसके बावजूद, सरकार ने उनके इलाज पर कोई ध्यान नहीं दिया। समाजवादी पार्टी के नेता अमीक जामई ने मुख्तार अंसारी की मौत की गहन जांच की मांग की। उन्होंने कहा कि हाल ही में उन्होंने कहा था कि उनकी कभी भी हत्या हो सकती है। उन्हें उचित चिकित्सा सुविधा क्यों नहीं दी गई? हम घटना की गहन जांच की मांग करेंगे।
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