Video: स्वामी प्रसाद मौर्य बोले- रामचरितमानस में पिछड़ों और दलितों का अपमान, VHP ने कहा- वो अपना मानसिक संतुलन खो चुके हैं

समाजवादी पार्टी के नेता स्वामी प्रसाद मौर्य (Swami Prasad Maurya) ने रामचरितमानस (Ramcharitmanas) में विशेष जातियों और संप्रदायों पर लक्षित अपमानजनक टिप्पणियों और कटाक्ष को हटाने की मांग की। इस पर विश्व हिंदू परिषद ने कहा कि स्वामी प्रसाद अपना मानसिक संतुलन खो चुके हैं। उनकी तुरंत गिरफ्तारी होनी चाहिए।

लखनऊ: समाजवादी पार्टी के नेता स्वामी प्रसाद मौर्य (Swami Prasad Maurya) ने रविवार को महाकाव्य रामायण पर आधारित कविता रामचरितमानस (Ramcharitmanas) में विशेष जातियों और संप्रदायों पर लक्षित अपमानजनक टिप्पणियों और कटाक्ष को हटाने की मांग की। एएनआई से बात करते हुए, सपा नेता ने कहा कि मुझे रामचरित्रमानस के साथ कोई समस्या नहीं है, लेकिन इसके कुछ हिस्सों में विशेष जातियों और संप्रदायों पर अपमानजनक टिप्पणियां और कटाक्ष हैं। उन्हें हटा दिया जाना चाहिए। मौर्य ने आगे दावा किया कि तुलसीदास द्वारा रचित रामचरितमानस में दलित समुदाय की भावनाओं को ठेस पहुंचाने वाले शब्द हैं। उन्होंने कहा कि सरकार को प्रभावी कार्रवाई करनी चाहिए और संवेदनशीलता दिखानी चाहिए। उसे यह देखना चाहिए कि किसी समुदाय की भावनाएं आहत न हों। मौर्य ने पिछले साल जनवरी में सत्तारूढ़ बीजेपी छोड़ दी थी और उत्तर प्रदेश में विधानसभा चुनाव से पहले समाजवादी पार्टी (सपा) में शामिल हो गए।

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VHP ने की Swami Prasad Maurya की गिरफ्तारी की मांग

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VHP (विश्व हिंदू परिषद) ने समाजवादी पार्टी के नेता स्वामी प्रसाद मौर्य पर निशाना साधते हुए कहा कि स्वामी प्रसाद अपना मानसिक संतुलन खो चुके हैं और वो राम भक्तों पर गोली चलवाने वालों के साथ हैं। इन पर तत्काल प्रतिबंध लगना चाहिए। इनकी गिरफ्तारी होनी चाहिए। उत्तर प्रदेश सरकार से मांग है इन्हें तत्काल गिरफ्तार किया जाए। इनपर कार्रवाई होनी चाहिए। इन्होंने धर्मग्रंथ पर आरोप लगाया है, धर्मग्रंथ की निंदा की है। रामचरित्रमानस से जन-जन प्ररेणा लेता है। ऐसे धर्म ग्रंथ पर उंगली उठाने वाले मानसिक विक्षिप्त की गिरफ्तारी आवश्यक है।

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