बंगाल सरकार और डॉक्टरों के बीच एक और दौर की बातचीत बेनतीजा, जारी रहेगी हड़ताल

राज्य सरकार ने स्वास्थ्य सचिव एन एस निगम के खिलाफ विभागीय कार्यवाही शुरू करने की मांग को स्वीकार करने से इनकार कर दिया। बैठक के परिणाम के आधार पर फिलहाल यह स्पष्ट नहीं हो पाया कि आंदोलनकारी जूनियर डॉक्टर अपना काम रोको प्रदर्शन समाप्त करेंगे या नहीं...

kolkata doctors

कोलकाता में डॉक्टरों का प्रदर्शन

मुख्य बातें
  • आरजी कर अस्पताल मुद्दे पर आंदोलनकारी डॉक्टरों और सरकार के बीच बातचीत
  • अधिकारियों ने बताया कि सरकार ने डॉक्टरों की सुरक्षा से संबंधित मुद्दों आठ में से सात मांगें मानी
  • राज्य सचिवालय नबान्न में शाम करीब साढ़े सात बजे शुरू हुई बैठक साढ़े तीन घंटे चली
Kolkata Doctors Agitation: आरजी कर अस्पताल मुद्दे पर गतिरोध को हल करने के लिए प्रदर्शनकारी जूनियर डॉक्टरों और पश्चिम बंगाल सरकार के अधिकारियों के बीच दूसरे दौर की वार्ता बुधवार रात को बेनतीजा रहने के कारण डॉक्टर हड़ताल जारी रखेंगे। डॉक्टरों का आरोप है कि राज्य सरकार ने बैठक का लिखित विवरण देने से इनकार कर दिया। बैठक के बाद डॉक्टरों ने घोषणा की कि वे अपना आंदोलन और काम रोको अभियान तब तक जारी रखेंगे जब तक सरकार बैठक में हुई सहमति के अनुसार सरकारी अस्पतालों में डॉक्टरों की सुरक्षा के संबंध में लिखित निर्देश जारी नहीं कर देती।

सरकार ने लिखित विवरण सौंपने से इनकार किया

प्रदर्शनकारी डॉक्टरों में से एक डॉ. अनिकेत महतो ने कहा, बातचीत तो सुचारू रूप से हुई लेकिन सरकार ने चर्चा किए गए मुद्दों का हस्ताक्षरित और लिखित विवरण सौंपने से इनकार कर दिया। हम सरकार के रवैये से निराश और हताश महसूस कर रहे हैं। हम अपनी मांगों के बारे में विस्तृत जानकारी देने के लिए एक ईमेल भेजेंगे, जिसके आधार पर सरकार ने निर्देश जारी करने का आश्वासन दिया है। हम अपना आंदोलन जारी रखेंगे और जब भी निर्देश जारी कर दिए जाएंगे हम इस पर निर्णय लेंगे।
राज्य ने आरजी कर अस्पताल की स्नातकोत्तर प्रशिक्षु से कथित बलात्कार और हत्या के मद्देनजर स्वास्थ्य सचिव एन. एस. निगम के खिलाफ विभागीय जांच शुरू करने की चिकित्सकों की मांग को भी स्वीकार करने से इनकार कर दिया। प्रशिक्षु डॉक्टर से बलात्कार और हत्या की घटना और सरकारी स्वास्थ्य सुविधाओं में व्यापक भ्रष्टाचार एवं छात्रों और प्रशिक्षु चिकित्सकों के साथ दुर्व्यवहार के आरोपों के बाद से राज्य की राजधानी में बड़े पैमाने पर प्रदर्शन हो रहे हैं, जिसके कारण स्वास्थ्य सचिव के खिलाफ कार्रवाई की मांग की जा रही है।
आरजी कर अस्पताल मुद्दे पर गतिरोध को हल करने के लिए आंदोलनकारी जूनियर डॉक्टरों और पश्चिम बंगाल सरकार के अधिकारियों के बीच दूसरे दौर की वार्ता बुधवार रात को साथ समाप्त हुई। अधिकारियों ने बताया कि सरकार ने सरकारी अस्पतालों में चिकित्सकों की सुरक्षा से संबंधित मुद्दों पर प्रदर्शनकारियों द्वारा रखी गई आठ में से सात मांगों को लागू करने पर सहमति जताई।

स्वास्थ्य सचिव के खिलाफ कार्रवाई की मांग अस्वीकार

उन्होंने बताया कि हालांकि, राज्य सरकार ने स्वास्थ्य सचिव एन एस निगम के खिलाफ विभागीय कार्यवाही शुरू करने की मांग को स्वीकार करने से इनकार कर दिया। बैठक के परिणाम के आधार पर फिलहाल यह स्पष्ट नहीं हो पाया कि आंदोलनकारी जूनियर डॉक्टर अपना काम रोको प्रदर्शन समाप्त करेंगे या नहीं और ड्यूटी पर लौटेंगे या नहीं। सूत्रों ने बताया कि मुख्य सचिव मनोज पंत और 30 कनिष्ठ चिकित्सकों के प्रतिनिधिमंडल के बीच राज्य सचिवालय नबान्न में शाम करीब साढ़े सात बजे बैठक शुरू हुई। बैठक के विवरण को अंतिम रूप देने में दोनों पक्षों को साढ़े तीन घंटे का समय लगा, जिस पर दोनों पक्षों ने हस्ताक्षर किए।

अस्पतालों में सुरक्षा के मुद्दा अहम

बैठक की कार्यवाही रिकॉर्ड करने के लिए आंदोलनकारी डॉक्टरों के साथ स्टेनोग्राफर भी पहुंचे थे। पहले दौर की बातचीत सोमवार को मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की उपस्थिति में हुई थी। बैठक स्थल के लिए रवाना होने से पहले एक आंदोलनकारी डॉक्टर ने कहा, हम चाहते हैं कि अस्पतालों में सुरक्षा के मुद्दे पर ध्यान दिया जाए। मुख्यमंत्री ने कार्यबल के गठन की घोषणा की थी, लेकिन इस पर कोई स्पष्टता नहीं है। हम चाहते हैं कि राज्य सरकार हमारी वैध मांगों को स्वीकार करे।
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अमित कुमार मंडल author

करीब 18 वर्षों से पत्रकारिता के पेशे से जुड़ा हुआ हूं। इस दौरान प्रिंट, टेलीविजन और डिजिटल का अनुभव हासिल किया। कई मीडिया संस्थानों में मिले अनुभव ने ...और देखें

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