तीन साल पहले कुछ ऐसी थी तस्वीर, इस दफा न्यू ईयर पर कहीं ग्रहण ना लगा दे बीएफ.7
Covid New Variants: 2023 के आगाज में अब कुछ दिनों का इंतजार है। लेकिन जिस तरह से कोविड 19 के वैरिएंट बीएफ.7 के संबंध में जानकारी वो परेशान करने वाली है।
Covid New Variants: अल्फा, बीटा, गामा, डेल्टा, मू, कप्पा, ओमीक्रान और अब बीएफ.7 चर्चा में है। 2019 के दिसंबर महीने में चीन ने जिस वायरस के संबंध में जानकारी दी उससे दुनिया के देश भयभीत हो गए। कोविड 19 का कहर करीब करीब सभी मुल्कों ने देखा। चालबाज कोरोना समय समय पर अपना रंग और रूप बदलता रहा। कोरोना की काट के लिए तरह तरह के उपाय किए गए। लेकिन कोरोना वायरस इतना घाती निकला कि वो कभी छिप कर कभी सामने आ कर हमला करता था। 2020 के साल को भूल पाना आसान नहीं होगा जब लोग ऑक्सीजन की कमी का सामना कर रहे थे। अस्पतालों में बेड की कमी थी, दवाओं की कमी थी, लोग अपनों को कांधा ना दे सके, श्मशान के बाहर लाशों को जलाने के लिए लंबी लाइन लगानी पड़ी। कोरोना से मृत लोगों के शरीर को नदियों में बहा दिया गया। इस तरह के मंजर के बीच एक बार फिर दुनिया पर कोरोना कोहराम मचाने की तैयारी में है। हाल ही में चीन समेत पांच मुल्कों में कोरोना ने तेजी से पांव पसारे तो भारत का चिंतित होना लाजिमी था। वैसे तो देश में बीएफ.7 वैरिएंट के सिर्फ चार केस सामने आए हैं। लेकिन दिल्ली में एक शख्स की मौत के बाद चिंता बढ़ गई है।
2019 में कोरोना की आहट
संबंधित खबरें
2020 का आगाज जिस तरह से डर के साए में हुआ और उसके दंश को 2021 की शुरुआती 6 महीनों ने जिस तरह से झेला उसे शायद की कोई याद करना चाहेगा। लेकिन क्या उसी तरह के हालात बन रहे हैं। क्या 2023 की सुबह कोरोना की कालिमा से शुरू होगी। या नव वर्ष सभी तरह के आशंकाओं को निर्मूल साबित कर देगा। यह भविष्य के गर्भ में छिपा है। केंद्र सरकार और अलग अलग राज्य सरकारें लगातार लोगों से अपील कर रही हैं कि लोग भीड़भाड़ वाली जगहों पर जानें से बचें। अगर भीड़भाड़ वाली जगहों पर जाना जरूरी हो तो मास्क के इस्तेमाल से परहेज ना करें। 2020 में भारत ने लॉकडाउन का सामना किया। पीएम मोदी अपनी स्पीच में कहा करते थे कि यह एक ऐसा दुश्मन है जो अपने आप नहीं आता बल्कि बुलाने पर आता है। उनका कहना था कि बचाव ही एक मात्र तरीका है।
आखिर कौन है दोषी
2019 के अंतिम महीने यानी दिसंबर में चीन ने बताया कि कोरोना वायरस का वो सामना कर रहा है तो कई तरह के सवाल उठे कि आखिर चीन ने समय रहते जानकारी क्यों नहीं दी। चीन अपने आपको पाक साफ बताता रहा। लेकिन वहां से जो तस्वीरें आ रही थीं या यूरोप और अमेरिका से जो तस्वीरें आ रही थीं उससे साफ हो गया कि पूरा विश्व एक ऐसे खतरे की तरफ बढ़ रहा है जिसे रोका जा सकता था। तीन साल के बाद फिर वही मंजर सामने आ है। चीन की जीरो कोविड पॉलिसी और उसके बाद प्रतिबंधों के उठाए जाने की दुनिया भर में आलोचना हो रही है। विश्व स्वास्थ्य संगठन बड़े खतरे की चेतावनी दे रहा है। ऐसी स्थिति के बारे में दुनिया भर के जानकारों का कहना है कि छोटी सी नादानी दुनिया भर के मुल्कों के लिए भारी पड़ रही है।
देश और दुनिया की ताजा ख़बरें (Hindi News) अब हिंदी में पढ़ें | देश (india News) की खबरों के लिए जुड़े रहे Timesnowhindi.com से | आज की ताजा खबरों (Latest Hindi News) के लिए Subscribe करें टाइम्स नाउ नवभारत YouTube चैनल
खबरों को सटीक, तार्किक और विश्लेषण के अंदाज में पेश करना पेशा है। पिछले 10 वर्षों से डिजिटल मीडिया में कार्य करने का अनुभव है।और देखें
Online Gaming: ऑनलाइन गेमिंग विरोधी अभियान के बीच बीजेपी नेता विजय गोयल की वेबसाइट हैक
Arsh Dalla: खालिस्तानी अलगाववादी अर्श डल्ला की कनाडा में गिरफ्तारी, प्रत्यर्पण का प्रयास करेगा भारत
PM Awards: प्रधानमंत्री मोदी को अब तक रिकॉर्ड संख्या में मिले 'सर्वोच्च नागरिक पुरस्कार', देख लें List
मणिपुर के जिरीबाम समेत इन छह क्षेत्रों में फिर से AFSPA लागू, हिंसा के बीच केंद्र सरकार का फैसला
ब्राजील में हो रहा जी-20 शिखर सम्मेलन कई मायनों में होगा खास, जानिए क्या-क्या मुद्दे उठेंगे
© 2024 Bennett, Coleman & Company Limited