Amazing Indians Awards 2023 : ज्यूरी के सदस्य बोले- 'अमेजिंग इंडियंस' बेहतर भारत का भरोसा देता है

Amazing Indians Awards 2023 : सुपर-30 के संस्थापक ने कहा कि बहुत सारे लोग हमसे भी बहुत अच्छा काम करते हैं। ये ऐसे लोग हैं जिनके पास सुविधाएं नहीं हैं। ये सीमित संसाधनों झुग्गियों के बीच, छोटी जगहों पर लोगों के लिए काम करते हैं, उनकी चुनौतियां बहुत ज्यादा होती हैं। उनके अपने परिवार और बच्चों के लिए पैसे नहीं होते।

Amazing Indians 2023

'अमेजिंग इंडियंस' कार्यक्रम में ज्यूरी के सदस्य।

Amazing Indians Awards 2023 : 'अमेजिंग इंडियंस' के ज्यूरी सदस्य सामाजिक कार्यकर्ता, मैग्सेसे अवार्ड और पद्मश्री अवार्ड विनर सोनम वांगचुक, पूर्व सेना प्रमुख एमएम नरवणे, सुपर 30 के संस्थापक आनंद कुमार, गीतकार प्रसून जोशी और इसरो के पूर्व चेयरमैन डॉक्टर एस रंगराजन ने टाइम्स ग्रुप की इस मुहिम के बारे में अपने अनुभव साझा किए। ज्यूरी के सभी सदस्य इस बात पर सहमत थे कि चुनौतियों के बावजूद 'अमेजिंग इंडियंस' ने जो राह चुनी है वह विश्वास दिलाती है कि यह मुहिम यहीं नहीं रुकेगी ब्लकि आगे बढ़ेगी। छोटी शुरुआत ही मनुष्य को बड़े लक्ष्य की ओर ले जाती है।

यहां हर व्यक्ति अमेजिंग है-एस रंगराजन

एस रंगराजन ने कहा कि इस प्रतिष्ठित ज्यूरी में शामिल होकर वह खुद को गौरवान्वित महसूस कर रहे हैं। चाहे हम 'अमेजिंग इंडिया' या 'आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस' की बात करें...AI में भारत का भविष्य है। टाइम्स नाउ की 'अमेजिंग इंडियंस' की अवधारणा देश को आगे ले जाने वाली है। उन्होंने कहा कि वह यहां हर व्यक्ति अमेजिंग है।

टाइम्स ग्रुप ने मनोबल बढ़ाया-आनंद कुमार

सुपर-30 के संस्थापक ने कहा कि बहुत सारे लोग हमसे भी बहुत अच्छा काम करते हैं। ये ऐसे लोग हैं जिनके पास सुविधाएं नहीं हैं। ये सीमित संसाधनों झुग्गियों के बीच, छोटी जगहों पर लोगों के लिए काम करते हैं, उनकी चुनौतियां बहुत ज्यादा होती हैं। उनके अपने परिवार और बच्चों के लिए पैसे नहीं होते। समाज उन पर हंसता है और ताने मारता है और मजाक उड़ाता है। ऐसे में इंसान का मनोबल टूट जाता है। टाइम्स ग्रुप ने उनका मनोबल बढ़ाया है। 'अमेजिंग इंडियंस' ने ऐसे लोगों को विश्वास दिया है कि वह उनके साथ है। वे अकेले नहीं हैं।

मैं खुश हूं कि लोग ऐसा काम कर रहे हैं-पूर्व सेना प्रमुख

पूर्व सेना प्रमुख नरवणे ने कहा कि इस तरह का कार्यकम आयोजित करने के लिए वह टाइम्स ग्रुप को धन्यवाद देते हैं। नरवणे ने कहा कि वह ज्यूरी का हिस्सा होकर उतने खुश नहीं हैं जितना यह जानकर उन्हें प्रसन्नता हो रही है कि आम लोग देश के लिए इतना अच्छा काम कर रहे हैं। देश के लिए उन्होंने सीमावर्ती इलाकों में काम किया है। नगालैंड में जब वह थे तो वहां एक स्कूल था जो कि दिव्यांग बच्चों के लिए काम करता था। खास बात यह है कि इस स्कूल को तीन लड़कियां चलाती थीं। इन लड़कियों ने इस स्कूल को चलाने में अपनी बचत को लगा दिया था।

जज्बे को सलाम-प्रसून जोशी

गीतकार प्रसून जोशी ने कहा कि आप जब बदलाव की बात करते हैं तो आप बात इसकी करते हैं कि बदलाव किस पैमाने पर हुआ है। लोगों के जीवन में कितना बदलाव आया है। ये ऐसे लोग होते हैं जो इस बात की परवाह नहीं करते कि जो उन्होंने मुहिम शुरू की उसे वह ऊंचाई पर कैसे ले जाएंगे। कर देना जरूरी है, यह भावना इनमें काम करती है। शुरुआत करने का जो जज्बा है इसे हम लोग सैल्यूट करते हैं। दीपक जलता रहना चाहिए जिससे कि दूसरा दीपक जल सके। यह बात बहुत प्रेरित करती है।

चुनौतियों के बावजूद काम कर रहे लोग-वांगचुक

सोशल एक्टिविस्ट वांगचुंग ने बताया कि प्रत्येक दिन वह देखते हैं कि भारतीय शानदार काम कर रहे हैं। आर्थिक एवं संसाधनों की चुनौतियों के बावजूद ये समाज को बेहतर बनाने के लिए काम कर रहे हैं। यह देखकर उन्हें बहुत खुशी देती है।
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