Tripura Election Results: त्रिपुरा में बीजेपी बहुमत की ओर, जश्न का दौर शुरू, टिपरा मोथा पार्टी ने भी जमाई धाक
त्रिपुरा के नतीजे बीजेपी के लिए बेहद अहम हैं क्योंकि यहां कांग्रेस-सीपीआई गठबंधन भाजपा के खिलाफ मैदान में थी और नई पार्टी टीएमपी से भी उसे कड़ी चुनौती मिली थी।
त्रिपुरा के नतीजे बीजेपी के लिए बेहद अहम
त्रिपुरा में शुरुआती रुझान के बाद से ही भाजपा बढ़त बनाए हुए है और उसने अब तक आए नतीजों में 16 सीटें जीत ली हैं और 17 पर आगे चल रही है। इसी के साथ पार्टी में जश्न का दौर भी शुरू हो गया है। कार्यकर्ताओं ने अगरतला में माणिक साहा के घर पर जमकर जश्न मनाया और लड्डू बांटे।
अगरतला के कर्नल चौमुहानी इलाके में स्थित भाजपा चुनाव कार्यालय में ‘नरेंद्र मोदी जिंदाबाद’ और ‘जय श्री राम’ के नारे लगे और पार्टी कार्यकर्ताओं ने मिठाइयां बांटी, पटाखे फोड़े और होली के त्योहार से पहले ही होली खेली।
पार्टी की महिला कार्यकर्ताओं ने ढोल-नगाड़ों की थाप पर नृत्य किया। चुनाव में भाजपा एक और कार्यकाल के लिए जीत की ओर अग्रसर दिख रही है। भाजपा 17 सीटों पर आगे है और उसने 16 सीटों पर जीत हासिल की है, जबकि उसकी सहयोगी इंडिजीनस पीपुल्स फ्रंट ऑफ त्रिपुरा (आईपीएफटी) ने एक सीट पर जीत दर्ज की है।
टिपरा मोथा पार्टी का शानदार प्रदर्शन
नई-नवेली टिपरा मोथा पार्टी शानदार प्रदर्शन करते हुए 8 सीटों पर जीत हासिल की है और 4 पर आगे चल रही है। वहीं, कांग्रेस-सीपीआई ने तीन सीटों पर कब्जा जमाया है और 11 सीटों पर बढ़त बनाई हुई है।
एग्जिट पोल में भाजपा को स्पष्ट बहुमत दिया गया था
तमाम एग्जिट पोल में भाजपा को स्पष्ट बहुमत हासिल करते हुए दिखाया गया था। शुरुआती रुझान भी इसकी तस्दीक कर रहे थे। लेकिन 11 बजते-बजते तस्वीर का रुख थोड़ बदल गया। भाजपा की बढ़त बहुमत से नीचे 27 पर आ गई। बाद में भाजपा ने दोबारा बढ़त हासिल कर ली। सत्ता वापसी के संकेत देख अगरतला में माणिक साहा के आवास पर जश्न मनाने और लड्डू बांटने की तैयारी तेज हो गई। खबर लिखे जाने तक सीएम माणिक साहा अपने विधानसभा क्षेत्र से आगे चल रहे थे।
त्रिपुरा के नतीजे बीजेपी के लिए बेहद अहम हैं क्योंकि यहां कांग्रेस-सीपीआई गठबंधन भाजपा के खिलाफ मैदान में है। अगर गठबंधन सफल रहता तो 2024 लोकसभा चुनाव में विपक्षी एकता का रास्ता खुल सकता था जो बीजेपी के लिए चुनौतीभरा साबित होता। यहां नई पार्टी टीएमपी ने मजबूत प्रदर्शन किया है। कुल मिलाकर भाजपा को कांटे की टक्कर मिली।
त्रिपुरा में हुआ था रिकॉर्डतोड़ मतदान
त्रिपुरा विधानसभा चुनाव में इस बार रिकॉर्डतोड़ मतदान हुआ था। राज्य चुनाव आयोग के मुताबिक, हिंसा की छिटपुट घटनाओं के बीच यहां 81 फीसदी मतदान हुआ था। मुख्यमंत्री माणिक साहा टाउन बारडोवली निर्वाचन क्षेत्र से चुनाव लड़ रहे हैं और अभी तक आगे हैं।
माणिक साहा की थी अग्निपरीक्षा
भाजपा ने यहां पहली बार दो मुस्लिम उम्मीदवार भी उतारे थे। बॉक्सनगर से तफ्फजल होसैन को टिकट दिया गया, वहीं, कैलाशहर से मोहम्मद मोबेशर अली को उम्मीदवार बनाया था। भाजपा ने 2022 में बिप्लब देब को हटाकर माणिक साहा को मुख्यमंत्री की कमान सौंपी थी। देब को राज्यसभा से चुनकर दिल्ली भेजा गया।
इस बार भाजपा के सामने दो तरफ से घेराबंदी रही। पिछली बार भाजपा ने अकेले दम पर बहुमत तो हासिल कर लिया था लेकिन उसके और सीपीएम के बीच वोटों के शेयर में महज सवा फीसदी का ही अंतर था। इस बार सीपीआईएम ने कांग्रेस के साथ गठबंधन कर चुनौती देने की कोशिश की।
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