भीमराव अंबेडकर की सबसे ऊंची प्रतिमा का अनावरण, जानें क्या है और खासियत

Ambedkar statue: बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर की 125 फीट ऊंची प्रतिमा को तेलंगाना की राजधानी हैदराबाद में स्थापित किया गया है।

बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर की 132वीं जन्म जयंती

मुख्य बातें
  • हैदराबाद में मूर्ति की स्थापना
  • कांस्य की बनी है प्रतिमा
  • नोएडा के मूर्तिकारों का कमाल

Ambedkar statue: बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर, भारतीय संविधान के रचयिता हैं। 14 अप्रैल को उनकी 132 वीं जन्म जयंती (ambedkar jayanti)पर हैदराबाद के हुसैनसागल झील के करीब 125 फीट ऊंची प्रतिमा का अनावरण किया जाएगा। इसे सबसे ऊंची प्रतिमा होने का दावा भी किया जा रहा है।अंबेडकर की प्रतिष्ठित संरचना, जो राज्य के लिए एक और मील का पत्थर स्थापित करेगी, का दावा है कि यह भारतीय संविधान के वास्तुकार के लिए निर्मित देश की अब तक की सबसे ऊंची प्रतिमा हैसजिसकी कुल ऊंचाई 175-फीट है, जिसमें 50 फीट संसद का आधार भी शामिल है।

क्या है खासियत

मूर्ति का वजन 474 टन है, जबकि 360 टन स्टेनलेस स्टील का उपयोग मूर्ति की आर्मेचर संरचना के निर्माण के लिए किया गया था, मूर्ति की ढलाई के लिए 114 टन कांस्य का उपयोग किया गया था।दिलचस्प बात यह है कि मूर्ति को उत्तर प्रदेश के नोएडा में प्रसिद्ध मूर्तिकारों राम वनजी सुतार और उनके बेटे अनिल राम सुतार द्वारा डिजाइन किया गया था, जिन्होंने दुनिया की सबसे ऊंची प्रतिमा(dr ambedkar) सहित कई स्मारकीय मूर्तियां भी डिजाइन की थीं। गुजरात में सरदार वल्लभभाई पटेल की स्टैच्यू ऑफ यूनिटी 597 फीट है।

रियोजना की कुल लागत ₹146.50 करोड़ आंकी गई थी और निर्माण 3 जून, 2021 को हुए समझौते के अनुसार केपीसी प्रोजेक्ट्स लिमिटेड द्वारा किया गया था।

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