अमृतपाल सिंह को पंजाब से भेजा गया डिब्रूगढ़ जेल, जानें-इसके पीछे की वजह
Amritpal Singh Arrest News: पंजाब के मोगा में गिरफ्तार अमृतपाल सिंह को भी डिब्रूगढ़ जेल भेज दिया गया है। इससे पहले उसके कुछ समर्थकों को डिब्रूगढ़ जेल ही भेजा गया था। आखिर इसके पीछे की वजह क्या है उसे समझने की कोशिश करेंगे।
मुख्य बातें
- पंजाब पुलिस की गिरफ्त में अमृतपाल सिंह
- 36 दिन से इधर उधर भागता रहा
- अजनाला पुलिस स्टेशन मामले के बाद आया चर्चा में
Amritpal Singh Arrest News: 36 दिन के बाद वारिस पंजाब दे का मुखिया और भगोड़ा अमृतपाल सिंह पंजाब पुलिस(Punjab Police) की गिरफ्त में है। अमृतपाल सिंह के बारे में पहले खबर आई कि उसने सरेंडर किया है। लेकिन अब पंजाब पुलिस ने साफ कर दिया है कि उसने सरेंडर नहीं किया बल्कि उसकी मोगा(Amritpal singh arrest in moga) से गिरफ्तारी की गई है। इससे पहले 15 अप्रैल को पंजाब पुलिस ने उसके करीबी सहयोगी जोगा सिंह को फतेहगढ़ साहिब जिले के सरहिंद से गिरफ्तार किया। एक और करीबी पापलप्रीत सिंह को 10 अप्रैल को पंजाब पुलिस और इसकी काउंटर-इंटेलिजेंस यूनिट द्वारा चलाए गए एक ऑपरेशन में गिरफ्तार किया गया था। अमृतपाल(Amritpal singh absconder) को भगोड़ा घोषित किया गया था जबकि वह मार्च में पहले ही भाग गया था। इन सबके बीच यह भी जानकारी सामने आ रही है कि उसे भी डिब्रूगढ़ जेल(Dibrugarh jail assam) भेजा दिया गया है। अब सवाल यह है कि पंजाब के इन अलगाववादियों को पंजाब में ना रखकर डिब्रूगढ़ क्यों भेजा गया।
डिब्रूगढ़ जेल ही क्यों
यह सवाल पूछा जा रहा है कि अमृतपाल सिंह को डिब्रूगढ़ जेल ही क्यों भेजा जा सकता है। इस सवाल के जवाब में जानकार बताते हैं कि पहले पंजाब सरकार अमृतपाल सिंह के समर्थकों दिल्ली के तिहाड़ जेल में रखने की योजना बना रही थी। लेकिन तिहाड़(Tihar Jail Delhi) में गैंगस्टर और पहले से बंद कुछ आतंकियों की वजह से डिब्रूगढ़ भेजने का फैसला किया। पुलिस को यह डर था कि तिहाड़ में रखने की वजह से आतंकियों(Terrorist in Tihar jail) में मेलजोल बढ़ सकती है लिहाजा उन्हें कहीं दूर भेजना चाहिए।
अजनाला कांड के बाद चर्चा में
करीब डेढ़ महीने पहले अमृतपाल सिंह के समर्थकों ने एक आरोपी को छुड़ाने के लिए अमृतसर के अजनाला थाने(aznala police satation attack) पर धावा बोल दिया था। उसके समर्थक पवित्र गुरुग्रंथ साहिब के साथ हजारों की संख्या में दाखिल हुए और आरोपी को छुड़ा भी ले गए।इस घटना के बाद पंजाब पुलिस पूरी तरह बैकफुट पर आ गई थी। पुलिस की तरफ से आरोपी के संबंध में बयान आया था कि उसे पूछताछ के लिए लाया गया था। बाद में उसे छोड़ भी दिया गया। लेकिन इस घटना के बाद दबाव का सामना कर रही पंजाब पुलिस ने एक्शन प्लान बनाया और अमृतपाल सिंह के समर्थकों पर कार्रवाई की। लेकिन अमृतपाल सिंह भाग निकला था।
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ललित राय author
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