टिकैत के भाई के कहने पर माने पहलवानः गंगा में नहीं बहाए मेडल, पर मोदी सरकार को दिया पांच दिन का अल्टीमेटम

Indian Wrestlers Protest: दरअसल, देश के टॉप पहलवान (बजरंग पुनिया, विनेश फोगाट और साक्षी मलिक समेत सभी प्रदर्शनकारी) अपने सारे पदक पवित्र गंगा नदी में फेंकने के लिए मंगलवार शाम को हरिद्वार (उत्तराखंड) पहुंच थे। पहलवानों ने इसके बाद कहा था कि वे दिल्ली वापस आएंगे और इंडिया गेट पर भूख हड़ताल पर बैठेंगे।

हरिद्वार में हताश और निराश बैठे पहलवान बाद में नरेश टिकैत के कहने पर माने। (क्रिएटिवः अभिषेक गुप्ता)

Indian Wrestlers Protest: ‘हर की पौड़ी’ पर गंगा में अपने सारे मेडल बहाने पहुंचे पहलवानों को किसान नेता नरेश टिकैत ने रोका। मंगलवार (30 मई, 2023) शाम जब उत्तराखंड के हरिद्वार में गंगा घाट किनारे जमीन पर बैठकर महिला पहलवान रो रही थीं, तभी कुछ देर बाद वहां टिकैत पहुंचे। उन्होंने गंगा में अपने मेडल बहाने पर अड़े इन एथलीट्स को समझाया-बुझाया और फिर उनके पदक एक पोटली में जमा कराए। उन्हीं के मनाने में पहलवान माने। हालांकि, टिकैत ने इन सबसे पांच दिन का समय मांगा और मोदी सरकार को कार्रवाई के लिए पांट दिन का अल्टीमेटम दे दिया। बाद में किसान नेता राकेश टिकैत के भाई के हस्तक्षेप के बाद प्रदर्शनकारी पहलवान हरिद्वार से रवाना हुए।

विनेश फोगाट, साक्षी मलिक और बजरंग पुनिया समेत कुछ और पहलवान यौन उत्पीड़न के आरोपों को लेकर भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) और भाजपा सांसद बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ विरोध के निशान के रूप में पवित्र गंगा नदी में अपने पदक विसर्जित करने के लिए एकत्र हुए थे।

मलिक की ओर से कहा गया था, "हम गंगा में अपने पदकों को त्यागने जा रहे हैं। ये पदक हमारे जीवन और हमारी आत्मा हैं। आज उन्हें गंगा में छोड़ने के बाद जीने का कोई कारण नहीं होगा। इसलिए, हम इंडिया गेट पर मृत्यु तक भूख हड़ताल करेंगे। प्रधानमंत्री "जो हमें हमारी बेटियां" कहते हैं, उन्होंने एक बार भी "हमारे लिए" अपनी चिंता नहीं दिखाई। उन्होंने इसके बजाय नए संसद भवन के उद्घाटन के लिए बृजभूषण सिंह को आमंत्रित किया। उन्होंने तस्वीरें भी खिंचवाईं।"

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अभिषेक गुप्ता author

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