कब तक राहुल गांधी को छोड़नी पड़ेगी एक सीट? क्या कहते हैं नियम कायदे

Lok Sabha Election Results: लोकसभा चुनाव के पूरे नतीजे घोषित हो चुके हैं। कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने उत्तर भारत की रायबरेली और दक्षिणी राज्य केरल की वायनाड सीट से जीत दर्ज की तो क्या वह दोनों सीट का प्रतिनिधित्व कर सकते हैं? चलिए समझते हैं कि आखिर नियम क्या कहते हैं?

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कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी

Lok Sabha Election Results: लोकसभा चुनाव के पूरे नतीजे घोषित हो चुके हैं। कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने उत्तर भारत की रायबरेली और दक्षिणी राज्य केरल की वायनाड सीट से जीत दर्ज की। ऐसे में अब उन्हें एक सीट खाली करनी पड़ेगी, लेकिन एक नेता के पास आखिर सीट खाली करने के लिए कितने दिनों का समय होता है? चलिए आज इसी विषय पर बात करते हैं।
राहुल गांधी को वायनाड में 6,47,445 वोट मिले और उन्होंने भाकपा की अन्नी राजा को 3,64,422 वोट से चुनावी शिकस्त दी, जबकि उत्तर प्रदेश की रायबरेली सीट से 3,90,030 वोट से जीत हासिल की। यहां पर दूसरे स्थान पर भाजपा के दिनेश प्रताप सिंह रहें जिन्हें कुल 2,97,619 वोट मिले, जबकि राहुल गांधी के पक्ष में 6,87,649 वोट पड़े।
18वीं लोकसभा के लिए हुए चुनाव में कुछ ऐसे भी उम्मीदवार रहे, जो सांसदी का चुनाव जीतने से पहले विधानसभा के सदस्य थे। ऐसे में उन्हें किसी एक सीट को खाली करना पड़ेगा।

राहुल गांधी के पास सीट खाली करने के लिए कितना समय है?
राहुल गांधी वायनाड और रायबरेली दोनों सीट से चुनाव जीत चुके हैं। ऐसे में उन्हें एक सीट का प्रतिनिधित्व छोड़ना पड़ेगा और इसके लिए बकायदा नियम और कायदे भी हैं। अगर राहुल गांधी तय समय तक सीट खाली नहीं करते हैं तो दोनों सीटें खुद-ब-खुद खाली हो जाएंगी।

क्या कहते हैं नियम?

भारतीय संविधान में इस बात का उल्लेख है कि एक व्यक्ति एक साथ संसद के दोनों सदनों या संसद और राज्य विधानमंडल दोनों का ही सदस्य नहीं हो सकता है। इसके अतिरिक्त एक सदन में एक से ज्यादा सीटों का प्रतिनिधित्व भी नहीं कर सकता है। ऐसे में चुने जाने की तारीख से 14 दिनों के भीतर किसी एक सदन की सदस्यता छोड़नी होती है, लेकिन तय समय तक अगर आपने सीट खाली नहीं की तो लोकसभा सीट खुद-ब-खुद खाली मान ली जाएगी। संविधान के अनुच्छेद 101(1) में इसका उल्लेख है।

चुनाव आयोग को दें जानकारी

लोकसभा चुनाव के परिणाम 4 जून को घोषित हुए। ऐसे में राहुल गांधी को 18 जून तक किसी एक सीट को खाली करना पड़ेगा। इसके लिए बकायदा राहुल गांधी को चुनाव आयोग को लिखित में अपनी एक पसंदीदा सीट के बारे में बताना होगा, अगर वह तय समय में ऐसा नहीं कर पाए तो लोकसभा सीट खाली मान ली जाएगी।
वहीं, विधायक के मामले में भी नियम एक समान हैं। आसान शब्दों में कहें तो अगर कोई विधायक लोकसभा का चुनाव जीत जाता है और वह सांसद बन जाता है तो उसे भी 14 दिनों के भीतर किसी एक सदन की सदस्यता छोड़नी पड़ेगी।

राहुल गांधी ने क्या कुछ कहा?

राहुल गांधी ने कांग्रेस मुख्यालय में आयोजित एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में सीट खाली करने से जुड़े एक सवाल पर कहा कि अभी उन्होंने तय नहीं किया है कि वह कौन सी सीट खाली करेंगे, लेकिन उन्होंने दोनों सीटों के मतदाताओं को धन्यवाद जरूर कहा।
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अनुराग गुप्ता author

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