Nasir Kazmi Shayari: गम है या खुशी है तू, मेरी जिंदगी है तू.., दिल की हर गिरह खोल कर रख देंगे नासिर काज़मी के ये 20 शेर

Nasir Kazmi Shayari in Hindi: नासिर काज़मी की शायरी में वो दर्द है जो उनकी शायरी को आमजन तक पहुंचाते हैं। पढ़ने वाला समझता है कि इस शेर में तो उसी की बात हो रही है। कुछ ऐसा ही जादू फिराक गोरखपुरी किया करते थे। नासिर भी फिराक के प्रशंसक थे। नासिर काज़मी ने ज़िन्दगी की छोटी-छोटी अनुभूतियों को शायरी का विषय बनाया और एक बढ़कर एक शेर लिखे।

Nasir Kazmi Shayari in Hindi

Nasir Kazmi Shayari in Hindi, Nasir Kazmi Ghazals

Nasir Kazmi Shayari, Ghazal, Poetry in Hindi: नासिर काज़मी हरियाणा के अंबाला में जन्मे थे। विभाजन के बाद वह पाकिस्तान चले गए। नासिर ने अफनी जिंदगी में काफी तकलीफें देखीं। उनका दर्द उनकी शायरी में साफ झलकता है। मशहूर शायर हामिद कश्मीरी नासिर काज़मी के बारे में लिखते हैं- उनके कलाम में जहां उनके दुखों की दास्तान, ज़िंदगी की यादें नई और पुरानी बस्तियों की रौनक़ें, एक बस्ती से बिछड़ने का ग़म और दूसरी बस्ती बसाने की हसरत-ए-तामीर मिलती है, वहीं वो अपने युग और उसमें ज़िंदगी बसर करने के तक़ाज़ों से भी ग़ाफ़िल नहीं रहते। उनके कलाम में उनका युग बोलता हुआ दिखाई देता है। आइए नजर डालते हैं नासिर साहब की गजलों के कुछ चुनिंदा शेर पर:

1. कुछ तो नाज़ुक मिज़ाज हैं हम भी

और ये चोट भी नई है अभी

2. याद आई वो पहली बारिश

जब तुझे एक नज़र देखा था

3. आरज़ू है कि तू यहां आए

और फिर उम्र भर न जाए कहीं

4. तेरी मजबूरियां दुरुस्त मगर

तू ने वादा किया था याद तो कर

5. दिल में इक लहर सी उठी है अभी

कोई ताज़ा हवा चली है अभी

6. वक़्त अच्छा भी आएगा ‘नासिर’

ग़म न कर ज़िंदगी पड़ी है अभी

7. आज देखा है तुझ को देर के बअ'द

आज का दिन गुज़र न जाए कहीं

8. वो कोई दोस्त था अच्छे दिनों का

जो पिछली रात से याद आ रहा है

9. दिल धड़कने का सबब याद आया

वो तिरी याद थी अब याद आया

10. ज़रा सी बात सही तेरा याद आ जाना

ज़रा सी बात बहुत देर तक रुलाती थी

11. भरी दुनिया में जी नहीं लगता

जाने किस चीज़ की कमी है अभी

12. कौन अच्छा है इस ज़माने में

क्यूं किसी को बुरा कहे कोई

13. बुलाऊंगा न मिलूंगा न ख़त लिखूंगा तुझे

तिरी ख़ुशी के लिए ख़ुद को ये सज़ा दूँगा

4. ओ मेरे मसरूफ़ ख़ुदा

अपनी दुनिया देख ज़रा

15. उस ने मंज़िल पे ला के छोड़ दिया

उम्र भर जिस का रास्ता देखा

16. मुझे ये डर है तिरी आरज़ू न मिट जाए

बहुत दिनों से तबीअत मिरी उदास नहीं

17. दिल धड़कने का सबब याद आया

वो तिरी याद थी अब याद आया

18. ऐ दोस्त हमने तर्क-ए-मुहब्बत के बावजूद

महसूस की है तेरी ज़रूरत कभी कभी

19. रात कितनी गुज़र गई लेकिन

इतनी हिम्मत नहीं कि घर जाएं

20. ग़म है या ख़ुशी है तू मेरी ज़िंदगी है तू

आफ़तों के दौर में चैन की घड़ी है तू

नासिर काज़मी की शायरी में वो दर्द है जो उनकी शायरी को आमजन तक पहुंचाते हैं। पढ़ने वाला समझता है कि इस शेर में तो उसी की बात हो रही है। कुछ ऐसा ही जादू फिराक गोरखपुरी किया करते थे। नासिर भी फिराक के प्रशंसक थे। नासिर काज़मी ने ज़िन्दगी की छोटी-छोटी अनुभूतियों को शायरी का विषय बनाया और एक बढ़कर एक शेर लिखे।

देश और दुनिया की ताजा ख़बरें (Hindi News) पढ़ें हिंदी में और देखें छोटी बड़ी सभी न्यूज़ Times Now Navbharat Live TV पर। लाइफस्टाइल (Lifestyle News) अपडेट और चुनाव (Elections) की ताजा समाचार के लिए जुड़े रहे Times Now Navbharat से।

Suneet Singh author

मैं टाइम्स नाऊ नवभारत के साथ बतौर डिप्टी न्यूज़ एडिटर जुड़ा हूं। मूल रूप से उत्तर प्रदेश में बलिया के रहने वाला हूं और साहित्य, संगीत और फिल्मों में म...और देखें

End of Article

© 2025 Bennett, Coleman & Company Limited