हार्ट अटैक के खतरे को कम करती है इस पेड़ की छाल, कोलेस्ट्रॉल को खींच कर देती बाहर, ऐसे करें इस्तेमाल

अगर आप भी हृदय स्वास्थ्य से जुड़ी स्थितियों सो जूझ रहे हैं और अपने दिल को सेहतमंद रखना चाहते हैं तो ऐसे में एक खास पेड़ की छाल को डाइट में शामिल करने से आपको बहुत फायदा मिल सकता है। यह दिल के मरीजों के लिए संजीवनी बूटी का काम करती है।

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दिल के मरीजों के लिए जड़ी-बूटी

आजकल लोगों में हृदय स्वास्थ्य से जुड़ी समस्याएं लगातार बढ़ रही हैं। इसके चलते वजह से लोगों की कम उम्र में ही मृत्यु हो रही है। हार्ट अटैक, स्ट्रोक, कोरोनरी आर्टरी डिजीज, हार्ट फेलियर, हाई बीपी और कोलेस्ट्रॉल आदि जैसी समस्याएं लोगों में काफी देखने को मिल रही हैं। इनसे बचने के लिए लोग महंगी-महंगी दवाओं का सेवन करते हैं। साथ ही, इसके लिए एक्सरसाइज से लेकर डाइट में बदलाव तक काफी कुछ ट्राई करते हैं। लेकिन क्या आप जाते हैं एक खास पेड़ की छाल को अगर डाइट में शामिल कर लिया जाए तो यह हृदय रोगों के खतरे को कम करने में बहुत लाभकारी साबित हो सकता है। यह जड़ी बूटी हृदय रोगियों के लिए किसी अमृत से कम नहीं है।

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करती है संजीवनी बूटी का काम

आपको बता दें कि जिस पेड़ की छाल की हम बात कर रहे हैं, वह दिल के मरीजों के लिए किसी संजीवनी बूटी से कम नहीं है। ऐसा इसलिए क्योंकि इसकी मदद से नसों में जमे गंदे कोलेस्ट्रॉल को कम करने से लेकर बीपी कंट्रोल करने तक कई स्थितियों में सुधार करने में मदद मिलती है। यह मोटापे को भी कंट्रोल करती है।

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कौन से पेड़ की है ये छाल

आपको बता दें कि अगर आयुर्वेद में किसी आयुर्वेदिक जड़ी-बूटी को दिल की बीमारियों के लिए रामबाण माना जाता है, वह है अर्जुन के पेड़ की छाल। इस हर्ब को आयुर्वेद में कई स्वास्थ्य समस्याओं को दूर करने के लिए प्रयोग किया जाता है, लेकिन दिल की बीमारियों को दूर रखने के लिए यह बहुत खास है।

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इम्यूनिटी करती है बूस्ट

अगर आप अर्जुन की छाल को अपने रूटीन में शामिल करते हैं, तो यह आपके शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता को मजबूत बनाने में मदद करती है। जिससे यह आपको जल्दी बीमार नहीं पड़ने देती है। यह हानिकारक बैक्टीरिया और संक्रमण के कण से लड़ती है और गंभीर बीमारियों से बचाती है।

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ऐसे करें इस्तेमाल

अगर आप दिल की बीमारियों से बचना चाहते हैं, तो रोज अर्जुन की छाल को पानी या दूध में उबालकर, छानकर इसका सेवन कर सकते हैं। सुबह के समय आप पानी में उबालकर इसका काढ़ा बनाकर पी सकते हैं। रात में सोने से पहले आप दूध में उबालकर पी सकते हैं। लेकिन ध्यान रखें कि इसे डाइट में शामिल करने से पहले एक बार डॉक्टर से सलाह जरूर लें। साथ ही, उनसे इसकी सही मात्रा भी जानें...