महात्मा गांधी पर लिखी गईं हजारों किताबें, लेकिन वो कौन सी बुक थी जिसने बदल दी बापू की जिंदगी
Mahatma Gandhi: महात्मा गांधी को भारत के राष्ट्रपिता का सम्मान हासिल है। गांधी जी ने भारत के लिए एक सपना देखा जो अहिंसा और सत्य के रास्ते हकीकत में बदला जा सकता था। गुलाम भारत को अंग्रेजों से आजाद कराने के लिए उन्होंने सत्याग्रह जैसे आंदोलन से लोगों में स्वाधीनता की अलख जगाई।
महात्मा गांधी का आत्मकथा
महात्मा गांधी ने अपनी आत्मकथा लिखी थी। उनकी बायोग्राफी का नाम है सत्य के साथ मेरा प्रयोग (My Experiments With Truth)। यह किताब दुनिया की सबसे ज्यादा पढ़ी जाने वाली किताबों में से एक है। इस किताब को बापू ने 29 नवंबर, 1925 को लिखना शुरू किया जो 3 फरवरी, 1929 को पूरी हुई। इस किताब ने असंख्य लोगों का जीवन बदला है, लेकिन क्या आप जानते हैं कि वो कौन सी किताब थी जिसने गांधी का जीवन बदल दिया?
सत्य के साथ मेरा प्रयोग
राष्ट्रपिता गांधी ने अपनी आत्मकथा में उस किताब के बारे में बताया है जिसने उनके विचार निर्माण और रणनीतियों को बहुत गहरे तरीके से प्रभावित किया। बाद में ये किताब हिंदी में सर्वोदय नाम से पब्लिश हुई।
अनटू दिस लास्ट (Unto This Last)
यह किताब है Unto This Last. इस किताब तो लिखा है जॉन रस्किन ने। किताब जब प्रकाशित हुई तो इस पर काफी विवाद हुआ था। दरअसल ज़ॉन रस्किन तब एक विख्यात आलोचक थे और इस किताब में पूंजीवाद की आलोचना।
मित्र ने दी थी किताब
महात्मा गांधी को यह किताब पढ़ने के लिए दी थी उनके अफ्रीकी मित्र हेनरी पोलॉक ने। गांधी जी ने अपनी आत्मकथा में लिखा है कि जब उन्होंने इस किताब को पढ़ना शुरू किया तो वह इसके प्रभाव में इतने बह गए कि खत्म करके ही दम लिया।
गांधी जी ने खुद की किताब की तारीफ
गांधी जी ने खुद लिखा है कि वह लंबे समय तक इस किताब के प्रभाव में रहे। बकौल महात्मा गांधी जॉन रस्किन की इसी किताब ने उनके सोचने के तरीके को बदलकर रख दिया।
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