दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे के बारे में खास जानकारी, अमेरिकी सड़क भी फेल

​delhi vadodra mumbai expressway: कहते हैं कि अगर सड़कें अच्छ हों तो तरक्की का रास्ता अपने आप खुल जाता है। भारत में एक्सप्रेसवे सड़कों को बड़े पैमाने पर बनाया जा रहा है। यहां हम एक ऐसे एक्सप्रेसवे की बात करेंगे जो सिर्फ कोलतार की सड़क नहीं है बल्कि खुशियों को खजाना लेकर आने वाली है।

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1386 किमी लंबाई

दिल्ली मुंबई एक्सप्रेसवे कुल 1386 किमी लंबा है। अभी तर दिल्ली से मुंबई जाने में करीब करीब 19 से 20 घंटे लगते हैं लेकिन एक्सप्रेस वे के पूरी तरह तैयार होने के बाद समय घटकर 12 घंटे रह जाएगा।

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दिल्ली टू मुंबई नॉन स्टॉप जर्नी

2019 में इस महत्वपूर्ण खंड पर काम की शुरुआत हुई और 2024 तक पूरा करने का लक्ष्य है। इस एक्सप्रेस वे से ना सिर्फ सफर आसान होगा बल्कि इस गलियारे से जुड़े इलाकों का विकास होगा।

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जयपुर तक सफर आसान

दिल्ली से दौसा खंड को खोल दिया गया है औक उसका फायदा जयपुर जाने वालों को हो रहा है। दिल्ली से जयपुर के सफर को पूरी करने में पहले पांच से 6 घंटे लगते थे। लेकिन अब यह समय घटकर 2 से तीन घंटे का रह गया है।

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एक लाख 10 हजार करोड़ की लागत

दिल्ली-वडोदरा- मुंबई एक्सप्रेस वे प्रोजेक्ट की लागत 1 लाख 10 हजार करोड़ के करीब है और यह दिल्ली, हरियाणा, राजस्थान मध्य प्रदेश, गुजरात और एक केंद्र शासित प्रदेश होते हुए मुंबई में समाप्त होगी।

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इन शहरों ओर इलाकों के लोग होंगे मालामाल

यह एक्सप्रेसवे कोटा, जयपुर, अजमेर चित्तौड़गढ़, उदयपुर, उज्जैन इंदौर, वडोदरा, अहमदाबाद शहर को टच करते हुए निकल रही है।

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दो पहिया वाहन को इजाजत नहीं

दिल्ली-मुंबई एक्प्रेसवे पर दो पहिया गाड़ियों की इजाजत नहीं है और चार पहिया वाहनों के लिए स्पीड लिमिट 120 किमी प्रति घंटे रखी गई है।

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जयपुर तक आसान सफर

दिल्ली-दौसा लालसोट के बीच यह स्ट्रेच ओपन है और जयपुर तक जाने में एक तरफ से 585 का टोल देना होगा।

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राजस्थान-मध्य प्रदेश को खास फायदा

इस एक्सप्रेसवे के बारे में जानकार कहते हैं कि राजस्थान और मध्य प्रदेश को विशेष लाभ मिलने वाला है। इसके बन जाने से आदिवासी समाज मुख्य धारा में जुड़ जाएगा।

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विकास की रफ्तार को मिलेगा पंख

केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी कहते हैं कि कौन सोच सकता था कि भारत इतनी तरक्की कर लेगा। लेकिन दृढ़ इच्छाशक्ति से किसी भी संकल्प को पूरा किया जा सकता है।