Ashadha Purnima 2024 Upay: आषाढ़ पूर्णिमा के दिन करें ये खास उपाय, पितरों का मिलेगा आशीर्वाद

Ashadha Purnima 2024 Upay: आषाढ़ पूर्णिमा का दिन गंगा स्नान और दान के साथ- साथ पितरों की पूजा के लिए भी उत्तम माना गया है। इस दिन कुछ खास उपायों को करने से पितरों को खुश किया जा सकता है। ऐसे में आइए जानते हैं आषाढ़ पूर्णिमा के दिन किन उपायों को करें।

Ashadha Purnima 2024 Upay

Ashadha Purnima 2024 Upay

Ashadha Purnima 2024 Upay: हिंदू धर्म में पूर्णिमा की तिथि बहुत महत्वपूर्ण मानी जाती है। इस तिथि पर गंगा स्नान और दान करना बहुत शुभ होता है। शास्त्रों में पूर्णिमा तिथि को पूर्वजों की पूजा और श्राद्ध कर्म के लिए भी उचित माना गया है। इस साल आषाढ़ पूर्णिमा का व्रत 20 जुलाई 2024 को रखा जाएगा, लेकिन पंचांग के अनुसार पूर्णिमा का गंगा स्नान और दान 21 जुलाई को किया जाएगा। आषाढ़ पूर्णिमा के दिन गुरु पूर्णिमा का पर्व भी मनाया जाता है। ज्योतिष शास्त्रों में आषाढ़ पूर्णिमा के दिन करने के लिए कुछ खास उपायों को बताया गया है। इस दिन इन उपायों को करने से नाराज पितरों को प्रसन्न किया जा सकता है। आइए जानते हैं आषाढ़ पूर्णिमा पर क्या उपाय करें।

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Ashadha Purnima 2024 Upay (आषाढ़ पूर्णिमा उपाय)

पितरों को प्रसन्न करने के लिए

आषाढ़ पूर्णिमा के दिन पितरों को प्रसन्न करने के लिए गंगा स्नान के बाद पितरों को याद करके जल में काला तिल डालें और कुश से तर्पण करें। ऐसा करने पितृ तृप्त होते हैं और परिवार पर को आशीर्वाद देते हैं।

मां लक्ष्मी को प्रसन्न करने के लिए

आषाढ़ पूर्णिमा के दिन मां लक्ष्मी को प्रसन्न करने के लिए कमल के फूल, लाल गुलाब, गुढ़हल का फूल के साथ कौड़ियां अर्पित करें। इस साथ ही इस दिन मां लक्ष्मी को खीर का भोग लगाएं। इससे मां लक्ष्मी प्रसन्न होती हैं और भंडार भरती हैं।

चंद्र दोष से मुक्ति के लिए

यदि आपकी कुंडली में चंद्र दोष है तो आषाढ़ पूर्णिमा के दिन आप शाम के समय में चंद्रमा को कच्चे दूध में पानी और सफेद फूल मिलाकर अर्पित करें। ऐसा करने से चंद्र देव प्रसन्न होते हैं और चंद्र दोष से मुक्ति मिलती है।

आषाढ़ पूर्णिमा चंद्रोदय समय 2024इस साल आषाढ़ पूर्णिमा के दिन चंद्रोदय का समय 21 जुलाई को शाम 6 बजकर 47 मिनट पर होगा। इस समय में चंद्र देव को जल और दूध अर्पित करना शुभ होगा।

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जयंती झा author

बिहार के मधुबनी जिले से की रहने वाली हूं, लेकिन शिक्षा की शुरुआत उत्तर प्रदेश की गजियाबाद जिले से हुई। दिल्ली विश्वविद्यायलय से हिंदी ऑनर्स से ग्रेजुए...और देखें

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