Chatth Puja 2024: बक्सर हो या बर्मिंघम, बिना गन्ने के नहीं होती छठ पूजा, जानिए लोक आस्था के इस महापर्व में क्या है गन्ने का महत्व

Importance of Sugarcane in Chatth Puja: छठ पूजा के फलों में सबसे ज्यादा महत्व गन्ने का होता है। घर हो या फिर घाट, गन्ने से ही छठी माई का दरबार सजाया जाता है और पूरे विधि-विधान से पूजा अर्चना की जाती है। गन्नों को घर की आकृति में सजाया जाता है।

Importance of Sugarcane in Chatth Puja 2024

Importance of Sugarcane in Chatth Puja in Hindi

Importance of Sugarcane in Chatth Puja: छठ लोक आस्था का महापर्व है। छठ पूजा का विशेष महत्व है। हर साल कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की षष्ठी तिथि को छठ का ये त्योहार मनाया जाता है और यह चार दिनों तक चलता है। इस बार 5 नवंबर को नहाय खाय के साथ छठ पूजा का पर्व शुरू होगा और 8 नवंबर की सुबह सूर्य को अर्घ्य देकर इसका समापन होगा। छठ पूजा में 36 घंटे का व्रत रखकर प्रकृति की उपासना की जाती है। छठ पूजा में कई तरह के फल चढ़ाए जाते हैं। इन सबमें सबसे ज्यादा खास होता है गन्ना। बिना गन्ने के छठ पूजा की कल्पना भी नहीं की जा सकती है।

छठ पूजा में क्या है गन्ने का महत्व

छठ पूजा के फलों में सबसे ज्यादा महत्व गन्ने का होता है। घर हो या फिर घाट, गन्ने से ही छठी माई का दरबार सजाया जाता है और पूरे विधि-विधान से पूजा अर्चना की जाती है। गन्नों को घर की आकृति में सजाया जाता है।

1. मान्यता है गन्ना छठी मैया को बेहद प्रिय। इसी कारण से गन्ने से बने गुड़ या रस से खरना का प्रसाद बनता है जिसे खाकर महिलाएं व्रत की शुरुआत करती हैं। ऐसी धारणा है कि गन्ना चढ़ाने से छठी मैया आनंद और समृद्धि प्रदान करती है।

2. दूसरे पहलू पर गौर करें तो छठ पूजा में नई फसल चढ़ाई जाती है, जैसे मूली, सूथनी, अरबी या फिर हल्दी। ये सारी चीजें कातिक मास में उगती हैं। गन्ना भी इसी समय उगता है। इसी कारण से गन्ना भी छठ पूजा में शामिल किया जाता है।

3. छठ पूजा में साफ सफाई का बहुत ज्यादा ध्यान रखा जाता है। प्रसाद में बनने वाले ठेकुए का आटा हो या फिर फल, इस बात का खास ध्यान रखा जाता है कि उन्हें कोई जूठा ना कर पाए। पशु-पक्षियों से भी इन चीजों के दूर रखा जाता है। गन्ने की खास बात ये है कि उसे कोई पशु पक्षी नहीं खाते हैं। जूठा ना होने के कारण भी गन्ने का इस्तेमाल छठ पूजा में खूब होता है।

बता दें कि छठ पूजा में इस्तेमाल होने वाले गन्ने को प्रसाद के तौर पर खाया और बांटा जाता है। बिहार और उत्तर प्रदेश के पूर्वी इलाके में छठ का पर्व सबसे ज्यादा धूमधाम से मनाया जाता है। इस खास त्योहार के लिए लोग दूर-दूर से अपने घर पहुंचते हैं। वैसे अब मुंबई हो या मेलबर्न, जहां कहीं भी यूपी बिहार के लोग हैं, वो वहां पर छठ जरूर मनाते हैं। छठ कहीं भी मने आपको गन्ने जरूर दिखेंगे।

देश और दुनिया की ताजा ख़बरें (Hindi News) पढ़ें हिंदी में और देखें छोटी बड़ी सभी न्यूज़ Times Now Navbharat Live TV पर। अध्यात्म (Spirituality News) अपडेट और चुनाव (Elections) की ताजा समाचार के लिए जुड़े रहे Times Now Navbharat से।

लेटेस्ट न्यूज

Suneet Singh author

मैं टाइम्स नाऊ नवभारत के साथ बतौर डिप्टी न्यूज़ एडिटर जुड़ा हूं। मूल रूप से उत्तर प्रदेश में बलिया के रहने वाला हूं और साहित्य, संगीत और फिल्मों में म...और देखें

End of Article

© 2024 Bennett, Coleman & Company Limited