Mangalvar ke Niyam: मंगलवार को क्या बाल और नाखून काटना होता है शुभ, क्या महिलाएं कर सकती हैं व्रत - जानें इस दिन के नियम
Mangalvar ke Niyam: ज्योतिष शास्त्रों में मंगलवार के दिन बाल और नाखून काटने की मनाही है। इसके पीछे कई धार्मिक कारण बताए जाते हैं। मंगलवार का दिन हनुमान जी का होता है, साथ ही यह दिन मंगल ग्रह से संबंधित है। इस दिन नाखून या बाल काटने से भगवान नाराज हो जाते हैं और व्यक्ति को कई तरह के रोगों व दुखों का सामना करना पड़ सकता है।
मंगलवार के दिन बाल और नाखून काटने की है मनाही
- मंगलवार का दिन हनुमान जी को समर्पित, मंगल ग्रह से संबंधित
- बाल और नाखून काटने से धन हानि होने के साथ हो सकते है खून से जुड़े रोग
- धार्मिक ग्रंथों में मिलता है महिलाओं द्वारा मंगलवार व्रत से जुड़ी जानकारी
Mangalvar ke Niyam: हिंदू धर्म में ऐसी कई मान्यताएं और परंपराएं हैं जो सदियों से चली आ रही है। इसी परंपरा के अनुसार दिनवार के अनुसार किसी कार्य को करना शुभ और अशुभ माना जाता है। ज्योतिष शास्त्रों में मंगलवार के दिन बाल और नाखून काटने की मनाही है। इसके पीछे कई धार्मिक कारण बताए जाते हैं। मंगलवार का दिन हनुमान जी का होता है। कहा जाता है कि इस दिन नाखून या बाल काटने से भगवान नाराज हो जाते हैं। जिससे घर में सुख-शांति छिन जाती है और धन हानि का सामना करना पड़ सकता है। आइए जानते हैं मंगलवार के दिन बाल और नाखून काटने से क्या प्रभाव पड़ता है।
होता है शारीरिक नुकसान, लगते हैं खून संबंधित रोग
मंगलवार के दिन नाखून और बाल काटने की सख्त मनाही होती है। कहा जाता है कि इस दिन बाल और नाखून काटने से धन हानि होने के साथ खून से जुड़े रोग हो सकते हैं। क्योंकि ज्योतिष शास्त्र में नाखूनों का संबंध ग्रहों से जोड़कर भी देखा जाता है। मंगलवार का दिन हनुमान जी के साथ मंगल देवता का भी होता है। मंगल का संबंध मनुष्य के खून से बताया जाता है। इसके अलावा मंगलवार को इन कार्यों को करने से ग्रहों का शरीर पर बुरा प्रभाव पड़ने के साथ गृह क्लेश की संभावना भी प्रबल हो जाती है। इंसान तन, मन और धन तीनों तरह से परेशान हो सकता है।
क्या महिलाएं रख सकती हैं मंगलवार का व्रत
मंगलवार व्रत और हनुमान जी की पूजा को लेकर महिलाओं के मन में अक्सर संदेह बना रहता है। जिसकी वजह से ज्यादातर महिलाएं यह व्रत नहीं रखती। लेकिन हमारे पुराणों में बताया गया है कि महिलाएं भी मंगलवार का व्रत रखने के साथ बजरंग बली की पूजा कर सकती हैं। किसी भी धार्मिक ग्रंथ में यह नहीं लिखा है कि महिलाओं को हनुमान जी की पूजा नहीं करना चाहिए। हालांकि धार्मिक ग्रंथों में हनुमान जी से जुड़े कुछ कार्यों को महिलाओं के लिए वर्जित किया गया है। ग्रंथो के अनुसार, महिलाओं को न तो हनुमानजी को स्नान करना चाहिए और न ही उन्हें लाल वस्त्र या फिर चोला चढ़ाया जाना चाहिए, क्योंकि बजरंग बली आजीवन ब्रह्मचारी थे। इसके अलावा मासिक धर्म के दौरान भी महिलाओं को मंगलवार का व्रत नहीं रखना चाहिए।
(डिस्क्लेमर: यह पाठ्य सामग्री आम धारणाओं और इंटरनेट पर मौजूद सामग्री के आधार पर लिखी गई है। टाइम्स नाउ नवभारत इसकी पुष्टि नहीं करता है।)
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