इन ग्रहों के कारण बढ़ा Eye Flu, 5 राशियों को सबसे ज्यादा खतरा, जान लें कंजेक्टिवाइटिस से बचने के ज्योतिष उपाय
What Is Eye Flu According Astrology: यहां आप जानेंगे आंखों के संक्रमण के लिए कौन-कौन से ग्रह जिम्मेदार होते हैं और आई फ्लू किन ग्रहों के कारण बढ़ा है। साथ ही इस संक्रमण से किन राशियों को सबसे ज्यादा खतरा रहेगा और क्या है आई फ्लू से बचने के (Eye Flu Treatment) ज्योतिषीय उपाय।
Eye Flu Symptoms, Treatment According Astrology
Eye Flu Treatment: ज्योतिष की मानें तो जीवन में जो कुछ भी घटित होता है उसमें हमारे ग्रह-नक्षत्रों का अहम रोल होता है। यहां तक की हमारे स्वास्थ्य पर भी ग्रहों का असर देखने को मिलता है। हर ग्रह कोई न कोई रोग देता है। मौजूदा समय में हर जगह आंखों का संक्रमण यानी ‘कंजेक्टिवाइटिस’ या ‘आई फ्लू’ (Eye Flu Symptoms) का जिक्र सुनने को मिल रहा है। तो ऐसे में सवाल ये उठता है कि क्या ये रोग भी किसी ग्रह से संबंधित है। तो ज्योतिष जानकारों की मानें तो ग्रहों के प्रतिकुल प्रभाव के कारण ही ऐसा संक्रमण (Eye Flu Treatment) फैला है। आइए जानते हैं पंडित सुजीत जी महाराज से कि कैसे फैला आंखों का संक्रमण और क्या हैं इससे बचने के ज्योतिषीय उपाय (Eye Flu Kaise Thik Kare)।
आईफ्लू के लिए जिम्मेदार ग्रह
सूर्य और चंद्रमा दोनों को आंखों का कारक ग्रह माना जाता है और यह दोनों ही ग्रह इस समय कर्क राशि में 0 डिग्री पर एक साथ स्थित हैं। इन ग्रहों की ऐसी स्थिति पानी, नमी, जलवायु आदि का प्रतिनिधित्व करती है। वहीं दूसरी तरफ शुक्र ग्रह भी आंखों पर प्रभाव डालता है। वर्तमान में शुक्र मंगल के साथ स्थित है दोनों पर शनि की सीधी दृष्टि पड़ रही है। जो कंजेक्टिवाइटिस या आई फ्लू फैलने का मुख्य कारण है। शुभ ग्रह बृहस्पति भी राहु-केतु अक्ष के भीतर आकर अशुभ प्रभाव में है। इन ग्रहों की प्रतिकूल स्थिति के कारण ही देश भर में आई फ्लू का हमला देखने को मिला है।
इन राशियों को आई फ्लू से रहना होगा सावधान
विशेष तौर पर उन राशियों को इस संक्रमण से सावधान रहना होगा जिनके राशि स्वामी चंद्रमा, सूर्य, शुक्र और बृहस्पति हैं। यानी वृषभ राशि, कर्क राशि, सिंह राशि, वृश्चिक राशि और मीन राशि वालों पर इस संक्रमण का सबसे ज्यादा प्रभाव पड़ सकता है। लेकिन अगर सावधानी बरतेंगे तो निश्चित ही इस रोग से बच सकेंगे।
आईफ्लू से बचने के ज्योतिषय उपाय
सूर्य को मजबूत करने से आप इस रोग से बच सकते हैं। इसके लिए रोजाना सुबह सूर्य को अर्घ्य दें और आदित्य हृदय स्त्रोत का पाठ करें। अपनी कुंडली के दूसरे और बारहवें घर के स्वामी को मजबूत करने के उपाय करें। भगवान शिव की सच्चे मन से अराधना करें। चांदी के आभूषण पहनें। साथ ही नेत्र संबंधी रोगों से छुटकारा पाने के लिएरोजाना ‘चक्षुकी विद्या मंत्र’ का जाप करें।
देश और दुनिया की ताजा ख़बरें (Hindi News) अब हिंदी में पढ़ें | अध्यात्म (spirituality News) की खबरों के लिए जुड़े रहे Timesnowhindi.com से | आज की ताजा खबरों (Latest Hindi News) के लिए Subscribe करें टाइम्स नाउ नवभारत YouTube चैनल
अध्यात्म और ज्योतिष की दुनिया बेहद दिलचस्प है। यहां हर समय कुछ नया सिखने और जानने को मिलता है। अगर आपकी अध्यात्म और ज्योतिष में गहरी रुचि है और आप इस ...और देखें
दिसंबर में इन राशि वालों की बढ़ेगी टेंशन, किसी बड़ी दुर्घटना के हैं प्रबल आसार, रहें सावधान!
मकर, कुंभ या मीन? जानिए 2025 में कौन सी राशि शनि साढ़े साती से हो रही है मुक्त
Aaj Ka Panchang 23 November 2024: मार्गशीर्ष कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि का पंचांग, जानिए शुभ मुहूर्त और राहुकाल
Mundan Muhurat 2025: मुंडन मुहूर्त 2025, जानिए जनवरी से दिसंबर तक की डेट्स
एकादशी व्रत की करना चाहते हैं शुरुआत, तो नवंबर की ये एकादशी है खास
© 2024 Bennett, Coleman & Company Limited