Gangaur Vrat Katha In Hindi: गणगौर पूजा की व्रत कथा विस्तार से यहां पढ़ें

Gangaur Vrat Katha In Hindi 2024: गणगौर पूजा महिलाएं पति की लंबी आयु और खुशहाल जीवन की कामना से करती हैं। हर साल चैत्र शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को ये पर्व मनाया जाता है। यहां आप जानेंगे गणगौर क्यों मनाया जाता है। जानिए इसकी पौराणिक कथा।

Gangaur Katha

Gangaur Vrat Katha In Hindi 2024, Isar Gangaur Story In Hindi: गणगौर पूजा शादीशुदा महिलाएं ही नहीं बल्कि कुंवारी लड़कियों द्वारा भी की जाती है। विवाहित महिलाएं ये पूजा पति की लंबी आयु के लिए करती हैं तो अविवाहित लड़कियां इस पूजा को अच्छे वर की प्राप्ति की कामना से करती हैं। इस साल गणगौर पर्व 11 अप्रैल को मनाया जाएगा। ये पर्व मुख्य रूप से राजस्थान में मनाया जाता है। यहां जानिए गणगौर की कहानी (Gangaur Ki Kahani)।

गणगौर की कहानी (Gangaur Ki Kahani In Hindi)

गणगौर की पौराणिक कथा अनुसार एक बार माता पार्वती, भगवान शिव और नारद मुनि किसी गांव में गए थे। जब गांव के लोगों को इस बात का पता चला तो उन्होंने प्रसन्न करने के लिए तरह-तरह के पकवान बनाने शुरू कर दिए। एक तरफ गांव की अमीर महिलायें भगवान को प्रसन्न करने के लिए पकवान बनाती हैं जबकि गरीब महिलायें देवताओं को श्रद्धा सुमन अर्पित करती हैं। Gangaur Wishes In Hindi
गरीब महिलाओं की सच्ची आस्था देखकर मां पार्वती उन्हें सौभाग्यवती होने का आशीर्वाद देती हैं। तभी गांव की अमीर महिलायें पकवान लेकर आती हैं जिसके बाद सभी महिलायें माता पार्वती से पूछती हैं कि अब आप अमीर महिलाओं को क्या आशीर्वाद देंगी। तब मां पार्वती कहती हैं कि जो भी महिला उनके पास सच्ची आस्था लेकर आयी है उनके पात्रों पर मां के रक्त के छींटे पड़ेंगे।
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