Gangaur Ke Dohe In Hindi: गणगौर को पानी पिलाने के दोहे

Gangaur Ke Dohe: चैत्र शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि गणगौर पर्व का आखिरी दिन होता है। इस दिन महिलाएं गण यानी भगवान शिव और गौर मतलब माता पार्वती की विधि विधान पूजा करती हैं। इस पूजन में गणगौर माता को पानी पिलाते समय दोहे बोले जाते हैं। यहां देखें गणगौर पूजा के दोहे।

Gangaur Ke Dohe

Gangaur Ke Dohe: गणगौर पर्व वैसे तो 17 से 18 दिनों तक चलता है लेकिन इस पर्व का अंतिम दिन ही सबसे मुख्य होता है। जिस दिन गणगौर का विसर्जन किया जाता है। इस साल गणगौर पूजा का अंतिम दिन 11 अप्रैल को है। इस दिन व्रत रखने वाली महिलाएं गणगौर प्रतिमा की विधि विधान पूजा करने के बाद उसका विसर्जन करेंगी। इस पूजन के समय कई तरह के दोहे बोले जाते हैं। यहां हम उन दोहों के बारे में आपको बताने जा रहे हैं।

गणगौर के दोहे (Gangaur Ke Dohe)

गणगौर माता को पानी पिलाते समय दोहे के रूप में पति का नाम लिया जाता है। इन दोहो को बोलते समय आपको पिया जी के स्थान पर अपने पति का नाम लेना है।
(यहां जिस परिवार की बहूं हैं उस परिवार का नाम लें) जैसे चौधरी परिवार की बहू हूं मैं और (मधु) है मेरा नाम
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