Gemology: पन्ना का उपरत्न है मरगज रत्न, धारण करने के हैं कई फायदे

Gemology: ज्योतिष शास्त्र में पन्ना को बुध ग्रह का रत्न कहा गया है। इसके कई उपरत्न भी होते हैं जिनमें मरगज भी एक है। ज्योतिष में मरगज धारण करने के कई लाभ के बारे में बताया गया है। इससे बुद्धि तेज होती है और जादू टोने का प्रभाव कम होता है।

नहीं पहन सकते पन्ना तो धारण करें उपरत्न मरगज

मुख्य बातें
  • पन्ना रत्न का उपरत्न है मरगज, धारण करने के हैं कई लाभ
  • मरगज उपरत्न को कहते हैं जेड और नेफ्राइट
  • मरगज को धारण करने से तीव्र होती है बुद्धि

Panna Gemstone Substitute Margaj Benefits: ज्योतिष और रत्न शास्त्र में रत्नों के महत्व और लाभ के बारे में बताया गया है। अलग-अलग ग्रहों से संबंधित इन रत्नों को धारण करने से जीवन में आने वाली समस्याएं दूर होती है। लेकिन कुछ रत्न महंगे होते हैं या फिर आसानी से मिल नहीं पाते। ऐसे में आम इंसान इसे धारण नहीं कर पाता। रत्न शास्त्र के अनुसार मुख्य तौर पर 9 रत्न और 84 उपरत्न होते हैं। इन्हीं में एक पन्ना रत्न। पन्ना बुध ग्रह का रत्न है। मरगज को पन्ना रत्न का उपरत्न माना जाता है। मरगज के अलावा हरा हकीक, फिरोजा, पेरिडॉट और हरा ऑनेक्स सभी पन्ना के उपरत्न कहलाते हैं। कुछ जानकार मरगज को ही जेड और नेफ्राइट भी कहते हैं। जानते हैं उपरत्न मरगज को धारण करने से होने वाले फायदे के बारे में।

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मरगज धारण करने के लाभ
  • मरगज जादू टोना से उत्पन्न होने वाले दुष्प्रभावों को दूर करता है। यदि आपके घर या कारोबार पर किसी की बुरी दृष्टि पड़ गई है तो इस रत्न को धारण करते ही इसका प्रभाव कम होगा।
  • इस रत्न को धारण करने से जीवन में खुशहाली बढ़ती है। मरगज को धारण करने से नौकरी-व्यापार में भी तरक्की होती है।
  • मरगज, पन्ना का उपरत्न है। इसलिए पन्ना की तरह बुध ग्रह से शुभ फल की प्राप्ति के लिए ज्योतिषी मरगज धारण करने की सलाह देते हैं।
  • मरगज को ऊर्जा प्रदान करने वाला उपरत्न माना गया है। ज्योतिष शास्त्रों के अनुसार मरगज धारण करने से आलस्य दूर होता है और शरीर में सकारात्मक ऊर्जा बढ़ती है।
  • पन्ना की तरह मरगज पहनने से वाणी दोष दूर होता है। इसलिए इसे बुद्धिवर्धक रत्न भी कहा जाता है। ज्योतिष शास्त्र के मुताबिक मरगज धारण करने से बुद्धि कुशाग्र होती है।

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कैसे करें मरगज की पहचान

मरगज एक अपारदर्शी रत्न है जो हल्के रहे रंग का होता है। संस्कृत में इसे हरिद रत्न, वृक्किज और हरितमणि जैसे नामों से जाना जाता है। यह चिकना और कोमल होता है। इसमें थोड़ा भारीपन होता है। इसक वजन दूसरे रत्नों से ज्यादा होता है।

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