Gupt Navratri 2023: पढ़ें कौन हैं गुप्त नवरात्रि की दस महाविद्या और क्या हैं इनके नाम
Gupt Navratri 2023: वर्ष 2023 के माघ मास की गुप्त नवरात्रि की शुरुआत हो चुकी है। तंत्र−मंत्र के साधकों के लिए महत्वपूर्ण गुप्त नवरात्रि में अन्य साधक भी देवी पूजन कर सकते हैं। प्रकट नवरात्रि से भिन्न होती हैं गुप्त नवरात्रि की देवियां। आइये आपको बताते हैं गुप्त नवरात्रि की दस महाविद्या देवियों के नाम एवं महत्व।
गुप्त नवरात्रि की दस महाविद्या
- माघ मास की गुप्त नवरात्रि
- वर्ष में चार नवरात्रि दो प्रकट और दो गुप्त रूप से आती हैं
- 30 जनवरी को होगा माघ मास की गुप्त नवरात्रि का समापन
देवी भगवती की दस महाविद्या
श्री दुर्गा सप्तशती में गुप्त नवरात्रि में देवी की आराधाना रात्रिकालीन एवं गुप्त रूप से करना बताया गया है। तंत्रोक्तं रात्रिसूक्तम् में वर्णित मंत्र का जाप करते हैं देवी की दस महाविद्या का स्मरण करना चाहिए।
मंत्र
ऊँ विश्वेशवरीं जगद्धात्रीं स्थितिसंहारकारिणीम्।
निद्रां भगवतीं विष्णोरतुलां तेजसं प्रभुः।।
महाविद्या महामाया महामेधा महास्मृतिः।
महामाेहा च भवती महादेवी महासुरी।।
1. काली
मां काली, आदिशक्ति जगनमाता मां काली का स्वरूप देखने में भले ही भयानक है लेकिन मां जगत की पालन कर्ता हैं और दुष्टों का संहार करने वाली हैं। माता के स्मरण मात्र से कष्ट दूर हो जाते हैं। यदि मां काली की आराधना प्रत्येक अमावस्या को की जाए तो माता की विशेष कृपा मिलती है।
2. मां तारा
मां तारा के बारे में बताया जाता है कि मां की पूजा ऋषि वशिष्ठ ने की थी। मां तारा का शक्ति पीठ बंगाल में स्थित है। मां अपने भक्तों के कष्ट हरती हैं।
3. मां त्रिपुरसुंदरी
पुराणाें में वर्णित माता त्रिपुरसुंदरी चार भुजा और त्रिनेत्र धारी हैं। त्रिपुरासुर का वध करने पर माता का नाम त्रिपुरासुंदरी विख्यात हुआ। माता का शक्तिपीठ त्रिपुरा में है।
4. मां भुवनेश्वरी
मां भुवनेश्वरी को मां शताक्षी के नाम से भी जाना जाता है। निःसंतानों को संतान सुख देने वाली हैं माता। माता का विधि पूर्वक आह्वान करने से संतान सुख की प्राप्ति होती है।
5. मां छिन्नमस्ता
मां छिन्नमस्ता की पूजा उग्र एवं शांत दोनों स्वरूप में की जाती है। माता का शक्तिपीठ रांची में है, जहां हर वर्ष लाखों की संख्या में श्रद्धालु पहुंचते हैं।
6. मां भैरवी
मां काली के पसीने से उत्पन्न होने के कारण देवी का नाम भैरवी पड़ा। हर सिद्धि की दात्री हैं मां भैरवी।
7. मां धूमावती
मां धूमावती माता भी मां पार्वती का ही एक रूप हैं। माता अपने भक्तों के जीवन के हर कष्ट को दूर करती हैं।
8. मां बगलामुखी
शत्रुओं पर यदि विजय प्राप्त करनी हो तो मां बगलामुखी की साधना अवश्य ही करनी चाहिए। मान्यता है कि कौरवों पर विजय प्राप्त करने के लिए श्रीकृष्ण ने अर्जुन से माता बगलामुखी की पूजा करवायी थी।
9. मां मातंगी देवी
भगवान भाेलेनाथ को जहां मातंग कहा जाता है तो उनकी शक्ति देवी मातंगी कहलायी जाती हैं। रचनात्मक कार्य में निपुण करती है मां की आराधना।
10. मां कमला देवी
धन की देवी हैं श्री लक्ष्मी स्वरूपा मां कमला देवी। यदि जीवन में सुख समृद्धि की कामना है तो मां कमला की आराधना करने से इसकी पूर्ति होती है।
देवी की ये दस महाविद्या की साधना गुप्त नवरात्रि में विशेष रूप से की जाती है। गुप्त नवरात्रि में यदि प्रतिदिन हवन करना संभव न हो तो आप संकल्प लेकर किसी एक साधना को सिद्ध कर सकते हैं। श्रद्धा के ये नौ दिन सिद्धियां प्राप्त करने का सबसे सुगम साधन होते हैं।
(डिस्क्लेमर : यह पाठ्य सामग्री आम धारणाओं और इंटरनेट पर मौजूद सामग्री के आधार पर लिखी गई है। टाइम्स नाउ नवभारत इसकी पुष्टि नहीं करता है।)
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