Maa Katyayani Ki Aarti: नवरात्रि के छठे दिन करें मां कात्यायनी की आरती, देखें संपूर्ण लिरिक्स

Navratri 6th Day, Maa Katyayani Ki Aarti: नवरात्रि के छठे दिन मां कात्यायनी की पूजा होती है। मान्यताओं अनुसार जो श्रद्धालु सच्चे मन से मां की अराधना करता है उसे हर काम में सफलता मिलती है। यहां देखें मां कात्यायनी की आरती के लिरिक्स।

Maa Katyayani Ki Aarti

Navratri 6th Day, Maa Katyayani Ki Aarti: नवरात्रि के छठे दिन मां कात्यायनी की पूजा करने से अद्भुत शक्ति का संचार होता है। मां का ये रूप सभी पापियों का नाश करने वाला है। इनकी पूजा-अर्चना से भक्तों को अर्थ, धर्म, काम और मोक्ष चारों फलों की प्राप्ति होती है। इतना ही नहीं मां कात्यायनी की पूजा से पिछले जन्म तक के पापों से भी मुक्ति मिल जाती है। जिन लड़कियों को विवाह में दिक्कत आ रही हो उनके लिए भी मां कात्यायनी की पूजा फलदायी मानी जाती है। चलिए आपको बताते हैं मां कात्यायनी की आरती के लिरिक्स।

मां कात्यायनी की आरती (Maa Katyayani Ki Aarti)

जय जय अम्बे, जय कात्यायनी।

जय जगमाता, जग की महारानी।

बैजनाथ स्थान तुम्हारा।

वहां वरदाती नाम पुकारा।

कई नाम हैं, कई धाम हैं।

यह स्थान भी तो सुखधाम है।

हर मंदिर में जोत तुम्हारी।

कहीं योगेश्वरी महिमा न्यारी।

हर जगह उत्सव होते रहते।

हर मंदिर में भक्त हैं कहते।

कात्यायनी रक्षक काया की।

ग्रंथि काटे मोह माया की।

झूठे मोह से छुड़ाने वाली।

अपना नाम जपाने वाली।

बृहस्पतिवार को पूजा करियो।

ध्यान कात्यायनी का धरियो।

हर संकट को दूर करेगी।

भंडारे भरपूर करेगी।

जो भी मां को भक्त पुकारे।

कात्यायनी सब कष्ट निवारे।

मां कात्यायनी के मंत्र (Maa Katyayani Ke Mantra)

‘कात्यायनि महामाये महायोगिन्यधीश्वरि ।

End Of Feed