Saraswati Temple in India: देश में कहां-कहां हैं देवी सरस्वती के फेमस मंदिर, 5 हजार साल पुराना है Pok में स्थित शारदापीठ
Maa Saraswati Famous Temples in India: माघ मास की शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को बसंत पंचमी या फिर श्रीपंचमी का त्योहार मनाया जाता है। इस दिन ज्ञान की अधिष्ठात्री देवी सरस्वती की पूजा का विशेष महत्व है। आज बसंत पंचमी है और इस शुभ अवसर पर हम आपको सरस्वती मां के कुछ ऐसे मंदिरों के बारे में बताएंगे जो कि श्रद्धालुओं के लिए विशेष महत्व रखते हैं। आइए जानते हैं उन मंदिरों के बारे में...
Famous Temples of Devi Sawaswati in India: आज माघ मास की शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि है। इस तिथि को हिंदू धर्म में बसंत पंचमी या फिर श्रीपंचमी के रूप में मनाया जाता है। इस दिन ज्ञान की अधिष्ठात्री देवी सरस्वती की पूजा का विशेष महत्व है। माता सरस्वती की विधि-विधान से पूजा करने से पर वह अपने भक्तों पर ज्ञान, सुख और मोक्ष का आशीर्वाद देती हैं। मां शारदे देवी का ही एक रूप हैं, फिर भी अगर आप उनके पूजन के लिए विशेष सरस्वती मंदिर खोज रहे हैं तो बसंत पंचमी के शुभ अवसर पर हम आपको सरस्वती मां के कुछ ऐसे मंदिरों के बारे में बताएंगे जो कि श्रद्धालुओं के लिए विशेष महत्व रखते हैं। आइए जानते हैं उन मंदिरों के बारे में...
Maa Saraswati Famous Temples in India
शारदा मंदिर, मध्य प्रदेश
मध्य प्रदेश के सतना जिले त्रिकुटा पहाड़ी पर मां दुर्गा के शारदीय रूप देवी शारदा का मंदिर है। आल्हा और उदल इस मंदिर में नियमित पूजा करते थे। इस मंदिर को मैहर देवी का मंदिर भी कहा जाता है।
श्रीज्ञान सरस्वती मंदिर, तेलंगाना
माता सरस्वती के सबसे प्रसिद्ध मंदिरों में से एक है ज्ञान मंदिर जोकि तेलंगाना के बसर जिले में गोदवारी नदी के तट पर है। महाभारत के युद्ध विराम के बाद इसी जगह वेदव्यास ने देवी सरस्वती की तपस्या की। यहां लगभग 4 फुट ऊंची देवी की प्रतिमा है जोकि पद्मासन मुद्रा में हैं।
शारदापीठ मंदिर, पीओके
शारदापीठ देवी सरस्वती का प्राचीन मंदिर है, जो पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर में है। कहा जाता है कि 5 हजार साल पुराने इस मंदिर नी कई बार हमले हुए। हमलों की वजह से मंदिर में लगी मूर्तियां क्षतिग्रस्त हो चुकी हैं। आखिरी बार इसकी मरम्मत महाराजा गुलाब सिंह ने करवायी थी।
ऋृगेरी शारदा पीठ, कर्नाटक
आदिगुरु शंकराचार्य द्वारा स्थापित चार मठों में पहला मठ ऋृगेरी शारदा पीठ है जिसकी स्थापना आठवीं सदी में हुई थी। यह पीठ शारदाम्बा मंदिर के नाम से विख्यात है। यहां चंदन की लकड़ी से बनी देवी सरस्वती की मूर्ति थी। उसके बाद 14वीं सदी में सोने की मूर्ति यहां स्थापित की गई। यह मंदिर कर्नाटक में तुंगा नदी के तट पर स्थित है।
पनाचिक्कड़ सरस्वती मंदिर, केरल
केरल में माता सरस्वती का यह एकमात्र मंदिर है, जिसे दक्षिणा मूकाम्बिका के नाम से भी जाना जाता है। यह फेमस मंदिर एरनाकुलम जिले में है। इस मंदिर की स्थापना राजा किझेप्पुरम नंबूदिरी ने की थी। यहां स्थापित मूर्ति का कोई आकार नहीं है और यहां एक दीपक हमेशा जलता रहता है।
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कुलदीप राघव author
कुलदीप सिंह राघव 2017 से Timesnowhindi.com ऑनलाइन से जुड़े हैं।पॉटरी नगरी के नाम से मशहूर यूपी के बु...और देखें
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