Pradosh Vrat January 2023: साल 2023 का पहला प्रदोष व्रत कब है, जानें इसका महत्व, मुहूर्त और शिव पूजन विधि
Pradosh Vrat January 2023 Date, Time, Puja Muhurat Kab Hai in India: हिंदू पंचांग के मुताबिक, एक साल में 24 प्रदोष व्रत आते हैं जो कि भगवान शंकर को समर्पित होते हैं। बता दें कि जिस अधिकमास वाले वर्ष में कुल 26 प्रदोष व्रत होते हैं। यहां जानें कि जनवरी 2023 में साल का पहला प्रदोष व्रत कब है।
Pradosh Vrat January 2023 Date, Time, Puja Muhurat Kab Hai in India: हिंदू धर्म में प्रदोष व्रत का विशेष महत्व है। कहते हैं इस दिन भोलेनाथ की पूजा करने से सारे कष्टों का निवारण होता है। साथ ही विघ्न और बाधाओं से मुक्ति मिलती है। पंचांग के अनुसार, ये व्रत हर महीने में दोनों पक्षों की त्रयोदशी तिथि पर किया जाता है। इस दिन सूर्यस्त के बाद शिवजी की पूजा की जाती है।
साल 2023 का पहला प्रदोष व्रत पौष माह के शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी तिथि को पड़ रहा है। इस दिन बुधवार है इसलिए यह बुध प्रदोष व्रत कहा जाएगा। इस व्रत की पूजा प्रदोष काल मुहूर्त में विधिपूर्वक करने का विधान है। ज्योतिष के अनुसार, आइए जानते हैं नए साल का पहला प्रदोष व्रत कब है? साथ ही शुभ मुहूर्त और पूजा विधि भी जानेंगे।
Pradosh Vrat January 2023 Date : कब है जनवरी 2023 का पहला प्रदोष व्रत?
पंचांग के अनुसार, नए साल का प्रदोष व्रत पौष माह के शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी तिथि को है। अंग्रेजी कैलेंडर के हिसाब से यह व्रत 03 जनवरी, मंगलवार को रात 10 बजकर 01 मिनट से लेकर अगले दिन यानी 04 जनवरी बुधवार की रात 12 बजे तक है। ऐसे में उदयातिथि को मानकर प्रदोष व्रत 04 जनवरी को रखा जाएगा।
प्रदोष व्रत 2023 पूजा मुहूर्त (Pradosh Vrat January 2023 Muhurat)
प्रदोष व्रत पूजा मुहूर्त: 04 जनवरी 2023, बुधवार, शाम 05:37 बजे से रात 08:21 तक मान्य है।
अभिजित मुहूर्त: 04 जनवरी 2023, बुधवार, दोपहर 12:13 बजे से 12:57 बजे तक।
Pradosh Vrat Puja Vidhi in Hindi
- सुबह जल्दी उठकर स्नान करके साफ और स्वच्छ कपड़े पहनें।
- पूजा के स्थन को गंगा जल से साफ करलें।
- इसके बाद भगवान शिव की पूजा गंगा जल, बेल पत्र, शमी पत्ते आदि से करें।
- फिर शिव चालीसा का पाठ करके आरती करें।
Pradosh Vrat Significance: प्रदोष व्रत का महत्व
धार्मिक मान्यताओं के मुताबिक प्रदोष व्रत करके शिव जी की आराधना करने से सारी संकटों का नाश होता है। इसके अलावा ग्रह दोष, परेशानी, रोग आदि भी दूर होते हैं। साथ ही भगवान भोलेनाथ का आशीर्वाद मिलता है और भक्तों की सारी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं। इसके साथ धन, संपत्ति, पुत्र, आरोग्य आदि का वरदान भी मिलता है।
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