Raksha Bandhan 2023 Shubh Muhurat Time LIVE: आज पूरे दिन रहेगी रक्षा बंधन, जानें राखी बांधने का मंत्र
Raksha Bandhan 2023 Time, Shubh Muhurat Kab Ka Hai in India LIVE Updates (रक्षा बंधन कब है 2023): आज राखी बांधने का शुभ मुहूर्त सुबह 5 बजे से शुरू हो रहा है जो सुबह 7 बजकर 5 मिनट तक रहेगा। लेकिन बहनें इसके बाद भी राखी बांध सकेंगी।
Raksha Bandhan 2023: Check Date and City-Wise Rakhi Shubh Muhurat here
Rakhi Bandhne Ka Mantra (राखी बांधने का मंत्र)
येन बद्धो बलि राजा,दानवेन्द्रो महाबल:।
तेन त्वाम् प्रतिबद्धनामि रक्षे माचल माचल:।।
आइए अब आगे जानते हैं रक्षाबंधन कैसे मनाते हैं, भाई को राखी बांधने का सही तरीका क्या है और रक्षा बंधन से जुड़ी हर जानकारी...
रक्षा बंधन पर श्रवण कुमार की पूजा का महत्व
धार्मिक कथाओं अनुसार अयोध्या के राजा दशरथ ने शिकार की तलाश में गलती से श्रवण कुमार को तीर मार दिया था। श्रवण अपने अंधे माता-पिता के इकलौते बेटे थे। इस घटना से दशरथ को काफी दुख हुआ। उन्होंने क्षमा मांगते हुए इस घटना के बारे में श्रवण कुमार के माता–पिता को बताया। बेटे की मौत का सुन दोनों ने अपने प्राण त्याग दिये। तब दशरथ ने अपने अपराध का प्रायश्चित करने के लिए श्रावणी के दिन श्रवण पूजा का विश्व भर में प्रचार किया और उस दिन से सभी सनातनी राखी के दिन श्रवण पूजा करते हैं।31 अगस्त 2023 के शुभ मुहूर्त (31 August 2023 Shubh Muhurat)
ब्रह्म मुहूर्त 04:29 AM से 05:13 AMप्रातः सन्ध्या 04:51 AM से 05:58 AM
अभिजित मुहूर्त 11:56 AM से 12:47 PM
विजय मुहूर्त 02:29 PM से 03:20 PM
गोधूलि मुहूर्त 06:44 PM से 07:07 PM
सायाह्न सन्ध्या 06:44 PM से 07:52 PM
अमृत काल 11:27 AM से 12:51 PM
निशिता मुहूर्त 11:59 PM से 12:44 AM, सितम्बर 01
Raksha Bandhan 2023 Muhurat: राखी बांधने का शुभ मुहूर्त
कानपुर (Raksha Bandhan Muhurat In Kanpur)सुबह 7 बजकर 5 मिनट तकजयपुर (Raksha Bandhan Muhurat In Jaipur)सुबह 7 बजकर 5 मिनट तक
लखनऊ (Raksha Bandhan Muhurat In Lucknow)सुबह 7 बजकर 5 मिनट तक
नागपुर (Raksha Bandhan Muhurat In Nagpur)सुबह 7 बजकर 5 मिनट तक
पटना (Raksha Bandhan Muhurat In Patna)सुबह 7 बजकर 5 मिनट तक
इंदौर (Raksha Bandhan Muhurat In Indore)सुबह 7 बजकर 5 मिनट तक
ठाणे (Raksha Bandhan Muhurat In Thane)सुबह 7 बजकर 5 मिनट तक
भोपाल (Raksha Bandhan Muhurat In Bhopal)सुबह 7 बजकर 5 मिनट तक
लुधियाना (Raksha Bandhan MuhuratIn Ludhiana)सुबह 7 बजकर 5 मिनट तक
Aaj Rakhi Bandhne Ka Muhurat 2023: आज राखी बांधने का मुहूर्त
पंचांग अनुसार आज रक्षा बंधन (Rakhi Muhurat 2023) की पूर्णिमा तिथि सुबह 7 बजकर 5 मिनट तक रहेगी क्योंकि ये तिथि सूर्योदय के समय मौजूद होगी इसलिए बहनें आज पूरे दिन भाई को राखी बांध सकेंगीRaksha Bandhan Importance: रक्षा बंधन का महत्व
सनातन धर्म में रक्षा बंधन के पावन पर्व का विशेष महत्व है। यह पर्व विशेष रूप से भावनाओं और संवेदनाओं का पर्व है और भाई बहन के बीच प्रेम का प्रतीक भी है।रक्षा बंधन मंत्र
‘येन बद्धो बलि राजा, दानवेन्द्रो महाबल:। तेन त्वाम् प्रतिबद्धनामि, रक्षे माचल माचल:।।Raksha Bandhan Ki Pauranik Katha Live: पहली बार मां लक्ष्मी ने बांधा था राखी
Raksha Bandhan Ki Pauranik Katha Live आपको बता दें पहली बार राखी मां लक्ष्मी ने राजा बलि को बांधा था। इसके बाद से प्रत्येक वर्ष रक्षा बंधन का पर्व मनाया जाता है।कल इतने बजे तक रक्षा बंधन का मुहूर्त
रक्षा बंधन पर्व श्रावण पूर्णिमा को मनाया जाता है जो 31 अगस्त की सुबह 7 बजकर 5 मिनट तक रहेगी। इसलिए राखी बांधने का सबसे शुभ मुहूर्त सुबह 07:05 बजे तक का है।Raksha Bandhan 2023 Muhurat Time Live: रक्षा बंधन का उत्साह
Raksha Bandhan 2023 Muhurat Time Live भद्रा की समाप्ति के साथ पूरे देश में रक्षा बंधन का उत्साह देखने को मिल रहा है। हर तरफ लोग इस दिन का जश्न मना रहे हैं।Raksha Bandhan 2023 Date, Muhurat Time Live: आज इतने बजे राखी का शुभ मुहूर्त
बता दें आज यानी 30 अगस्त 2023 को रात 09 बजकर 1 मिनट से राखी के शुभ मुहूर्त की शुरुआत हो जाएगी।Raksha Bandhan Par Bhadra Samapti Ka Samay Live: कितने बजे समाप्त होगी भद्रा
Raksha Bandhan Par Bhadra Samapti Ka Samay Live भद्रा 30 अगस्त की सुबह 11 बजे लग चुकी है और इसकी समाप्ति रात 9 बजकर 2 मिनट पर होगी।Raksha Bandhan Par Rakhi Kaise Bandhe: इन बातों का रखें ध्यान
Raksha Bandhan Par Rakhi Kaise Bandhe इस दिन राखी बाधंने से पहले इन बातों का विषेश ख्याल रखें-भद्रा काल ना चल रहा हो। राखी की थाली सजाएं, थाली में रोली, कुमकुम, अक्षत, दीपक, मिठाई जरुर रखें। बहन- भाई दोनों को अपना सिर ढकना चाहिए।क्या रात में राखी बांध सकते हैं? - Kya Raat Mein Rakhi Bandh Sakte Hain?
साल 2023 में रक्षाबंधन का मुहूर्त 30 अगस्त की रात में 9:01 मिनट के बाद शुरु होगा. 30 अगस्त को पूरे दिन भद्रा का साया है। जिस वजह से आप रात को 9:01 मिनट के बाद राखी बांध सकते हैं। इस बात का फर्क नहीं पड़ता राखी का मुहूर्त सुबह का हो या रात का, राखी बांधना लाभकारी होता है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार भद्राकाल और राहुकाल में राखी बांधना मना है। साल 2023 में राखी बांधने का शुभ मुहूर्त रात का हैरक्षाबंधन के नाम का अर्थ क्या है - Meaning Of Raksha Bandhan Name
रक्षाबंधन का नाम संस्कृत शब्दावली से लिया गया हैं। इसमें रक्षा का अर्थ होता है ‘रक्षा करना’ और बंधन का अर्थ होता है बांधना। रक्षाबंधन में बहनें अपने भाई की कलाई पर रक्षासूत्र बांधती है।रक्षाबंधन पर बहन को भूलकर भी न दें ऐसे तोहफे - Raksha Bandhan 2023 Gift
रक्षाबंधन पर सभी भाई अपनी बहन को सामार्थ्यनुसार तोहफे जरूर देते हैं। लेकिन इस दिन नुकीली चीजें जैसे कांटा, छुरी, मिक्सर ग्राइडर, जूसर, आइना, फोटो फ्रेम, जूते-चप्पल, रूमाल आदि चीजें उपहार में न दें।राखी बांधने का मंत्र - Rakhi Bandhane ka Mantra
रक्षाबंधन पर भाई को राखी बांधते समय ‘येन बद्धो बलि राजा, दानवेन्द्रो महाबल:। तेन त्वाम् प्रतिबद्धनामि, रक्षे माचल माचल:।।’ मंत्र का जाप करना चाहिए। भाई की उन्नति के लिए ये शुभ माना जाता है।रक्षाबंधन की कैसे हुई शुरुआत? - Raksha Bandhan Ki Kaise Hui Shuruvat?
एक बार असुर और देवताओं के बीच युद्ध हुआ और इस युद्ध में असुर काफी हावी हो गए। जिसकी वजह इंद्र की पत्नी शचि को अपने पति और देवताओं की चिंता सताने लगी। फिर उन्होंने इंद्र के लिए एक शक्तिशाली सुरक्षात्मक धागा बनाया। कहा जाता है कि तभी से शुभ कार्य में जाने से पहले हाथ में मौली बांधने की परंपरा शुरू हुई। रक्षाबंधन के त्योहार की भी शुरुआत तभी से मानी जाती है।राखी का दूसरा नाम क्या है? - Rakhi Ka Dusra Naam Kya Hai?
श्रावण में मनाये जाने के कारण इसे श्रावणी या सलूनो भी कहते हैं। रक्षाबन्धन में राखी या रक्षासूत्र का सबसे अधिक महत्त्व है।रक्षाबंधन पर राखी कैसे बांधे? - Raksha Bandhan Par Rakhi Kaise Bandhe?
रक्षाबंधन का दिन भाई-बहन के अनमोल रिश्ते का प्रतीक है। इस दिन राखी बाधंने से पहले इन बातों का विषेश ख्याल रखें-भद्रा काल ना चल रहा हो। राखी की थाली सजाएं, थाली में रोली, कुमकुम, अक्षत, दीपक, मिठाई जरुर रखें। बहन- भाई दोनों को अपना सिर ढकना चाहिए। उत्तर दिशा में मुख करके बैठे। फिर भाई के सीधे हाथ में राखी बांधे, तिलक करें और भाई-बहन एक दूसके का मुंह मीठा कराएं, अंत में भाई की आरती उतारें, भाई को बहन के पांव जरुर छूने चाहिए।इस दिन रहेगा भद्रा का साया
इस बार 30 अगस्त यानी आज भद्रा का साया रहेगा। शास्त्रों के अनुसार श्रावण मास की पूर्णिमा तिथि को दोपहर में राखी बांधनी चाहिए, लेकिन दोपहर में अगर भद्रा हो तो उस समय राखी नहीं बांधनी चाहिए।रक्षाबंधन 2023
श्रावणी या सावन पूर्णिमा तिथि की शुरुआत 30 अगस्त सुबह 10:58 मिनट से हो रही है और इसका समापन 31 अगस्त को सुबह 07:05 मिनट पर होगा। 30 अगस्त को रक्षा बंधन मनाया जाएगा। लेकिन पूरे दिन भद्रा होने से रात में रक्षा सूत्र बांधने के मुहूर्त रहेगा।रक्षा बंधन 31 अगस्त 2023 का समय क्या है (Raksha Bandhan 2023 Shubh Muhurat)
रक्षा बंधन पर्व श्रावण पूर्णिमा को मनाया जाता है जो 31 अगस्त की सुबह 7 बजकर 5 मिनट तक रहेगी। इसलिए राखी बांधने का सबसे शुभ मुहूर्त सुबह 07:05 बजे तक का है। लेकिन ज्योतिष जानकारों की मानें तो इसके बाद भी बहनें भाईयों को राखी बांधी सकेंगी। क्योंकि ऐसा माना जाता है कि जब सूर्योदय के समय किसी त्योहार की तिथि मौजूद होती है तो वो पूरे दिन मान्य रहती है। इसलिए 31 अगस्त को आप दिन में कभी भी राखी बांध सकेंगे। लेकिन राहुकाल में राखी बांधने से बचना होगा। 31 अगस्त को राहुकाल दोपहर 01:57 से 03:33 तक रहेगा।राखी पर भाई को राखी बांधते हुए इस खास मंत्र का करें जाप
धार्मिक मान्यता के अनुसार जब भी हाथों पर कोई भी धागा बांधा जाता है तो उसके लिए खास मंत्र का जाप किया जाता है। रक्षाबंधन के दिन राखी बांधते समय इस खास मंत्र का जाप करने से भाई को तरक्की मिलती है और उनकी आयु भी लंबी होती है।येन बद्धो बलि राजा, दानवेन्द्रो महाबल:।
तेन त्वाम् प्रतिबद्धनामि,रक्षे माचल माचल:।
Raksha Bandhan 2023: क्या रात में बांध सकते हैं राखी
ज्योतिष विद्वानों की मानें अगर रक्षा बंधन के दिन दोपहर में राखी बांधने का मुहूर्त नहीं हो तो रात में राखी बांधी जा सकती है। इसलिए 30 अगस्त की रात 9 बजकर 1 मिनट के बाद से राखी बांधने का शुभ मुहूर्त रहेगा।Bhai Dooj 2023 Date: रक्षा बंधन के बाद कब पड़ेगी भाई दूज
भाई दूज पर्व दिवाली के बाद मनाया जाता है। इस बार ये त्योहार 15 नवंबर को मनाया जाएगा। इस दिन बहनें अपने भाई के माथे पर टीका लगाती हैं और उन्हें नारियल भेंट करती हैं।Raksha Bandhan 2023 Muhurat: 30 अगस्त को राखी बांधने का शुभ मुहूर्त
30 अगस्त को राखी बांधने का शुभ मुहूर्त रात 9 बजकर 1 मिनट से शुरू हो रहा है। इस समय बहनें अपने भाईयों को राखी बांध सकती हैं।Raksha Bandhan Katha: इंद्र की पत्नि से जुड़ी
एक बार देव और दानवों के बीच जंग छिड़ गई थी। युद्ध में देवता पर दानव हावी होने लगे थे। यह देखकर इन्द्र देव घबरा कर बृ्हस्पति देव के पास गये। जह इस बारे में इन्द्राणी को पता चला तो उन्होने एक रेशम का धागा मंत्रों की शक्ति से अभिमंत्रित करके अपने पति के हाथ पर बांध दिया। कहते हैं जिस दिन ये कार्य किया गया उस दिन श्रावण पूर्णिमा का दिन था। ऐसा माना जाता है कि तभी से इस पूर्णिमा पर राखी मनाएं जाने की परंपरा चली आ रही है।Raksha Bandhan Vrat Katha: भगवान कृष्ण और द्रौपदी से जुड़ी
राखी का यह पर्व महाभारत काल से भी जुड़ा है। जब शिशुपाल का वध करते समय कृ्ष्ण भगवान की तर्जनी उंगली पर चोट लग गई थी तब उनकी उंगली से बहने हुए खून को रोकने के लिए द्रौपदी ने अपनी साडी की किनारी फाडकर श्री कृ्ष्ण की अंगूली पर बांध दी थी। कहते हैं तभी से राखी पर्व मनाने की प्रथा चली आ रही है।Raksha Bandhan Importance: रक्षाबंधन का महत्व
यह पर्व विशेष रूप से भावनाओं और संवेदनाओं का पर्व है और भाई बहन के बीच प्रेम का प्रतीक भी है। इस विशेष दिन पर बहनें पूजा-पाठ के बाद भाइयों की कलाई पर रक्षा सूत्र बांधती हैं और भाई अपनी बहन की रक्षा का वचन लेते हैं। मान्यता है कि रक्षा सूत्र बांधने से भाइयों को सुख-समृद्धि और सौभाग्य का आशीर्वाद प्राप्त होता है और साथ ही, वे सभी कष्टों से निवारण पा लेते हैं।रक्षा बंधन 2023 पर भद्रा काल का समय (Raksha Bandhan Par Bhadra Kab Hai)
रक्षा बन्धन भद्रा पूंछ - 05:30 पी एम से 06:31 पी एमरक्षा बन्धन भद्रा मुख - 06:31 पी एम से 08:11 पी एम
रक्षा बन्धन भद्रा अन्त समय - 09:01 पी एम
रक्षा बंधन क्यों मनाया जाता है । Raksha Bandhan Kyu Manaya Jata Hai
पौराणिक कथा के अनुसार महाभारत काल में जब शिशुपाल के वध के समय भगवान कृष्ण की उंगली कट गई थी तो द्रौपदी ने उस उंगली पर अपनी साड़ी से कपड़ा निकालकर बांध दिया था। जिससे श्री कृष्ण को दर्द से राहत मिली और प्रसन्न होकर भगवान कृष्ण ने द्रौपदी को उनकी सदैव रक्षा करने का वचन दिया। कहते हैं जिस दिन ये घटना घटी उस दिन श्रावण पूर्णिमा थी।रक्षा बंधन के दिन क्या करते हैं । Raksha Bandhan Ke Din Kya Karte Hain
रक्षा बंधन के दिन बहनें अपने भाईयों के हाथ में राखी बांधती हैं और उनके सुखी जीवन की कामना करती हैं।Raksha Bandha Shubh Muhurat 2023: रक्षा बन्धन पर राखी बांधने का शुभ मुहूर्त 2023
- रक्षा बंधन 30 अगस्त 2023 बुधवार को मनाई जाएगी।
- रक्षा बन्धन मनाने का शुभ मुहूर्त रात 09:01 के बाद का रहेगा।
- राखी पूर्णिमा तिथि की समाप्ति 31 अगस्त 2023 को 07:05 AM बजे होगी।
Rakhi Mantra: राखी बांधते वक्त बहनें इस मंत्र का जाप करती हैं
ॐ येन बद्धो बली राजा दानवेन्द्रो महाबलः।तेन त्वामपि बध्नामि रक्षे मा चल मा चल।।
Raksha Bandhan History: रक्षा बंधन से जुड़ी चितौड़ की रानी कर्णवती की कहानी
कहते हैं जब राजपूतों और मुगलों की लडाई चल रही थी उस समय चितौड़ की रानी कर्णवती ने अपने राज्य की रक्षा के लिये हुमायूं को राखी भेजी थी। हुमायूं ने रानी कर्णवती की राखी की लाज रखते हुए तुरंत अपनी सेनाएं वापस बुला ली। कहते हैं इस घटना की याद में भी रक्षा बंधन का पर्व मनाया जाता है।Raksha Bandhan 2023 Date uttar pradesh: उत्तर प्रदेश में रक्षा बंधन कब मनाई जाएगी
उत्तर प्रदेश में रक्षा बंधन 30 और 31 दोनों दिन मनाई जाएगी। 30 अगस्त को राखी बांधने का शुभ मुहूर्त रात 9 बजकर 1 मिनट के बाद से शुरू है।Raksha Bandhan Katha: राजा बलि और माता लक्ष्मी से जुड़ी
पुराणों के अनुसार रक्षा बंधन पर्व लक्ष्मी जी और राजा बली से जुडा हुआ है। एक बार की बात है, दानवों के राजा बलि ने सौ यज्ञ पूरे करने के बाद स्वर्ग प्राप्ति की इच्छा जताई जिससे देव इन्द्र का सिहांसन डोलने लगा। घबरा कर इन्द्र भगवान विष्णु की शरण में पहुंचे और उनसे प्रार्थना की तब भगवान विष्णु ब्राह्माण वेश धर कर, राजा बलि के यहां भिक्षा मांगने पहुंच गयें और उन्होंने बलि से उसकी तीन पग भूमि मांग ली। राजा बलि ने अपने वचन पर अडिग रहते हुए, श्री विष्णु को तीन पग भूमि दान में दे दी।वामन रुप में भगवान विष्णु ने एक पग में स्वर्ग ओर दूसरे पग में पृ्थ्वी को नाप लिया। जैसे ही भगवान तीसरा पग रखने को थे राजा बलि ने अपना सिर ही भगवान के आगे कर दिया और कहां तीसरा पग आप मेरे सिर पर रख दीजिए। भगवान विष्णु ने ठीक वैसा ही किया। श्री विष्णु के पैर रखते ही राजा बलि परलोक पहुंच गये।
बलि के द्वारा वचन का पालन करने पर भगवान विष्णु अत्यन्त प्रसन्न हुए और उन्होंने राजा बलि से कुछ मांगने का आग्रह किया। इसके बदले में बलि ने रात दिन भगवान को अपने सामने रहने का वचन मांग लिया। वचन का पालन करते हुए श्री विष्णु को राजा बलि का द्वारपाल बनना पडा। ये देखकर माता लक्ष्मी परेशान हो गईं क्योंकि वे भगवान विष्णु को अपने से दूर नहीं करना चाहती थीं। इस समस्या के समाधान के लिये लक्ष्मी जी ने राजा बलि को राखी बांध अपना भाई बनाया और उपहार स्वरुप अपने पति भगवान विष्णु को मांग लिया। कहते हैं जिस दिन ये सब हुआ उस दिन श्रावण मास की पूर्णिमा थी। इसलिए तभी से इस पूर्णिमा पर राखी पर्व मनाएं जाने की परंपरा शुरू हो गई।
रक्षा बंधन 2023 चौघड़िया मुहूर्त (Raksha Bandhan 2023 Choghadiya Muhurat)
दिन का चौघड़ियारात की चौघड़ियालाभ - उन्नति - 05:58 ए एम से 07:34 ए एम
अमृत - सर्वोत्तम - 07:34 ए एम से 09:10 ए एम
शुभ - उत्तम - 10:46 ए एम से 12:22 पी एम
चर - सामान्य - 03:33 पी एम से 05:09 पी एम
लाभ - उन्नति - 05:09 पी एम से 06:45 पी एम
रक्षा बंधन 2023 पर भद्रा काल का समय (Raksha Bandhan Par Bhadra Kab Hai)
रक्षा बन्धन भद्रा पूंछ - 05:30 पी एम से 06:31 पी एमरक्षा बन्धन भद्रा मुख - 06:31 पी एम से 08:11 पी एम
रक्षा बन्धन भद्रा अन्त समय - 09:01 पी एम
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