Shani Jayanti Vrat Katha: शनि जयंती व्रत कथा इन हिंदी, इस पौराणिक कहानी से जानें शनिदेव की महिमा, कैसे हुआ था शनि देव का जन्म

Shani Jayanti Vrat Katha in Hindi 2023, Shani Jayanti Vrat Katha in Hindi: शनि जयंती इस बार 19 मई, दिन शुक्रवार को है। इस दिन न्याय के देव शनि महाराज की पूरी श्रद्धा के साथ पूजा की जाती है। लेकिन, क्या आप इसके मनाए जाने के पीछे की वजह जानते हैं। यहां जानिए शनि जयंती की पौराणिक कथा इन हिंदी।

Shani Jayanti Vrat Katha

Shani Jayanti 2023: शनि जयंती 2023 व्रत कथा हिंदी में

Shani Jayanti Vrat Katha in Hindi 2023: शनि जयंती प्रतिवर्ष ज्येष्ठ माह की अमावस्या तिथि पर मनाई जाती है। इस बार यह 19 मई को पड़ी है। शास्त्रों के अनुसार, इसी दिन भगवान शनि का जन्म हुआ था, जिसे हर साल शनि जयंती के तौर पर मनाया जाता है। बता दें, शनिदेव हर व्यक्ति को उसके कर्म के आधार पर फल प्रदान करते हैं। इसलिए उन्हें कर्म फलदाता या न्याय के देवता कहा जाता है। हिंदू धर्म में शनि महाराज की पूजा का विशेष महत्व है। कहते हैं शनि देव की विधिवत पूजा करने से जीवन में सुख-समृद्धि का वास होता है। घर-परिवार में धन-संपत्ति की कभी कमी नहीं होती। अगर आप भी इस बार शनि जयंती पर व्रत रख रहे हैं तो यहां पढ़ें शनि देव से जुड़ी पौराणिक व्रत कथा इन हिंदी।

शनि जयंती 2023 व्रत कथा (Shani Jayanti 2023 Vrat Katha in Hindi)

पौराणिक कथा के अनुसार, राजा दक्ष की पुत्री संज्ञा से सूर्य देव की शादी हुई थी। सूर्य देव के 3 पुत्र यमराज, मनु और यमुना थे। सूर्य देव की पत्नी संज्ञा अपने पति सूर्य का तेज सहन नहीं कर पाती थी। इस विषय पर एक बार संज्ञा ने अपने पिता दक्ष से सूर्य के तेज के बारे में पूछा। लेकिन, राजा दक्ष ने अपनी पुत्री की बात अनदेखा कर दिया और जवाब दिया कि तुम सूर्य देवता की अर्धांगिनी हो। तुम्हें उनके साथ हमेशा रहना है। पिता के ऐसे सलाह दिए जाने पर संज्ञा ने फिर अपने तपोबल से अपनी एक छाया को प्रकट किया। उन्होनें इसका नाम संवर्णा रखा। कुछ समय बित जाने के बाद संवर्णा ने अपने गर्भ से शनि देव को जन्म दिया। शुरुआत में शनि महाराज का वर्ण बेहद श्याम था। मगर जब सूर्य देव को इस बात की खबर हुई कि संवर्णा उनकी अर्धांगिनी नहीं है, तो सूर्य देव क्रोधित हो गए और शनिदेव को अपना पुत्र मानने से इनकार कर दिया। शनि देव की दृष्टि भी उसी समय सूर्य देवता पर पड़ी, जिसकी वजह से उनका रंग और भी काला हो गया।

शनि जयंती का महत्व (Shani Jayanti 2023 Significance)

हिंदू धर्म में न्यायप्रिय देव शनि देव की पूजा का खास महत्व है। शनि जयंती का दिन शनि देव की विशेष कृपा पाने के लिए बेहद खास माना जाता है। इस दिन शनि महाराज की विधिवत पूजा करने और दान-पुण्य करने से भगवान प्रसन्न होते हैं। जातकों की सारी परेशानियां भी दूर करते हैं और जीवन में खुशहाली प्रदान करते हैं।

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