Vishnu Name Sanskrit Meaning: विष्णु नाम का संस्कृत में अर्थ और महत्व
भगवान विष्णु जगत के पालनहार हैं। इन्होंने सतयुग में पापियों का नाश करने के लिए बहुत सारे अवतार लिए हैं। इनके नाम की महिमा अपरम्पार है। इनके नाम का सुमिरन करने से भव सागर के मुक्ति मिल जाती है। यहां जानें विष्णु नाम का संस्कृत अर्थ।

Vishnu Name
Vishnu Name Sanskrit Meaning:हिंदू धर्म में भगवान विष्णु को जगत का पालनहार माना जाता है। भगवान विष्णु को अनेक नाम से जाना जाता है। हरि, अच्युत, जनार्दन, अनंत आदि नामों से जाना जाता है। विष्णु का अर्थ होता वेवेष्टि व्याप्नोतीति विष्णुः जिसका अर्थ है जो सारे जग में व्यापत हो। जो नाम विश्वव्यापी स्तप पर ऊर्जा प्रदान करें उसे विष्णु कहते हैं। भगवान विष्णु के ही अवतार भगवान राम और कृष्ण हैं। इस नाम के सुमिरन मात्र से साधक के सारे कष्ट मिट जाते हैं। विष्णु नाम को लेकर हर एक संत और महात्मा के अपने विचार हैं। आइए जानें विष्णु नाम का अर्थ।
विष्णु नाम का संस्कृत अर्थविष्णु शब्द की व्युत्पत्ति है "वेवेष्टि व्याप्नोतीति विष्णुः से मानी जाती है। इसका अर्थ होता है जो सर्वत्र व्याप्त है, उसे विष्णु कहते हैं। भगवान विष्णु को शक्ति, विद्युत्, ऊर्जा का परमात्मा माना जाता है। इन्होंने तीन पग में ही धरती को नाप लिया था।
विष्णु का शब्दिक अर्थविष्णु नाम'विष्' धातु से व्युत्पन्न हुआ है। इसका शब्दिक अर्थ है 'व्यापक, गतिशील, क्रियाशील। जो हर समय कार्य में लगा हो लीन रहे वही विष्णु है।
विष्णु जी के अन्य नाम- हरि
- अच्युत
- पुरुषोत्तम
- नारायण
- अनंत
विष्णु नाम का महत्वकमल जैसे नयन हैं। जो कौस्तुकमणि और चतुर्भुजी से सुशोभित हैं। उनको भगवान विष्णु कहते हैं। सनातन धर्म में विष्णु के नाम का सर्वोत्तम माना गया है। विष्णु ने तीन पग में पूरी धरती को नाप लिया था। उन्हीं के तीन पग पूरा जगत में दिखाई पड़ते हैं। इनका नाम लेने से सारे संकट कटते हैं और मोक्ष की प्राप्ति होती है।
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