'यहां कोई नहीं खेलेगा सेमीफाइनल' करारी हार के बाद पिच पर भड़के अफगानिस्तान के कोच
Jonathan Trott on Afghanistan defeat: सेमीफाइनल में हार के बाद अफगानिस्तान के कोच जोनाथन ट्रॉट ने दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ टी20 विश्व कप सेमीफाइनल के लिए इस्तेमाल की गई पिच की कड़ी आलोचना करते हुए कहा कि इस तरह के बड़े मुकाबले के लिए यह उपयुक्त नहीं थी।
जोनाथन ट्रॉट (फोटो- X)
Jonathan Trott on Afghanistan defeat: टी20 वर्ल्ड कप 2024 के पहले सेमीफाइनल मैच में द.अफ्रीका की टीम ने शानदार प्रदर्शन करते हुए अफगानिस्तान को 9 विकेट से धूल चटा दी है। इस शर्मनाक हार के साथ ही अफगानिस्तान के टी20 वर्ल्ड कप में शानदार सफर का अंत हो गया है। इस हार के बाद अफगानिस्तान के कोच जोनाथन ट्रॉट ने दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ टी20 विश्व कप सेमीफाइनल के लिए इस्तेमाल की गई पिच की कड़ी आलोचना करते हुए कहा कि इस तरह के बड़े मुकाबले के लिए यह उपयुक्त नहीं थी।
इस पिच से तेज गेंदबाजों को मूवमेंट मिल रहा था और इसमें अनिश्चित उछाल दी थी। अफगानिस्तान की टीम इस पिच पर केवल 56 रन बनाकर आउट हो गई जो टी20 विश्व कप के सेमीफाइनल में न्यूनतम स्कोर है।दक्षिण अफ्रीका ने भले ही लक्ष्य 8.5 ओवर में हासिल कर दिया लेकिन उसके बल्लेबाजों को भी संघर्ष करना पड़ा।
यहां पर कोई सेमीफाइनल नहीं खेलना चाहेगा - जोनाथन ट्रॉट
ट्रॉट ने मैच के बाद संवाददाताओं से कहा -'मैं खुद को परेशानी में नहीं डालना चाहता और मैं अंगूर खट्टे हैं जैसा मामला भी नहीं बनना चाहता लेकिन यह उस तरह की पिच नहीं थी जिस पर कोई विश्व कप का सेमीफाइनल खेलना चाहेगा।मुकाबला बराबरी का होना चाहिए। मैं ऐसा नहीं कह रहा हूं कि यह सपाट होनी चाहिए जिसमें स्पिन या सीम मूवमेंट न हो। मेरे कहने का मतलब है कि आपको बल्लेबाजों की भी चिंता होनी चाहिए। बल्लेबाजों को अपने पांव के मूवमेंट पर विश्वास होना चाहिए और उन्हें अपने कौशल का उपयोग करने में सक्षम होना चाहिए।टी20 का खेल आक्रामकता तथा रन बनाने और विकेट लेने से जुड़ा है। यह प्रारूप क्रीज पर टिके रहने के लिए नहीं बना है।'
थके हुए थे अफगानिस्तान के खिलाड़ी- ट्रॉटतारोबा में विश्व कप के पांच मैच खेले गए जिनमें से पहले बल्लेबाजी करने वाली टीम केवल एक बार 100 रन के पार पहुंची। मेजबान वेस्टइंडीज ने न्यूजीलैंड के खिलाफ छह विकेट पर 149 रन बनाए और उसका सफलतापूर्वक बचाव भी किया।अफगानिस्तान का अपना पहला विश्व कप सेमीफाइनल खेलने से पहले काफी व्यस्त कार्यक्रम था और ट्रॉट ने कहा कि उनके खिलाड़ी थके हुए थे।
टॉट ने आगे कहा कि 'हम पिछले मैच के बाद तीन बजे होटल पहुंच पाए थे और इसके 5 घंटे बाद हमें निकलना पड़ा। इस तरह से हमें सोने का बहुत अधिक वक्त नहीं मिला और खिलाड़ी वास्तव में थके हुए थे।लेकिन हम अपने कार्यक्रम से अवगत थे और यह कोई बहाना नहीं है। जब आप विश्व कप या किसी टूर्नामेंट में खेलते हैं तो सभी चीजें आपके अनुरूप नहीं होती हैं और आपको इन मुश्किलों का सामना करते हुए आगे बढ़ना होता है।’
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सिद्धार्थ शर्मा, टाइम्स नाउ नवभारत ( Timesnowhindi.com) में बतौर सीनियर कॉपी एडिटर अक्टूबर 2023 से ज...और देखें
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