रोजर बिन्नी: एक शानदार क्रिकेटर, जेंटेलमैन और अजातशत्रु

Roger Binny Profile: बीसीसीआई के नए अध्यक्ष रोजर बिन्नी को क्रिकेट प्रेमी जानते जरूर हैं लेकिन उनकी जिंदगी के कई पहलू हैं और उनके साथ खेल चुके या काम कर चुके लोगों का उनको लेकर क्या नजरिया है वो भी देखना दिलचस्प है। रोजर बिन्नी की शख्सियत के बारे में एक खास रिपोर्ट।

रवि शास्त्री और विराट कोहली के साथ रोजर बिन्नी

भारतीय क्रिकेट बोर्ड (बीसीसीआई) ने अगर 1980 के दशक में अपने वार्षिक पुरस्कारों में ‘जेंटलमैन क्रिकेटर’ का खिताब रखा होता तो रोजर माइकल हम्फ्री बिन्नी कई सत्रों तक इसे जीतने के बड़े दावेदार होते। भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) के 36वें अध्यक्ष को एक शब्द में ‘अजातशत्रु’ कहा जा सकता है, जिसका क्रिकेट की दुनिया में किसे से मतभेद नहीं रहा है।

क्रिकेट मैदान पर किये गये प्रदर्शन और आंकड़े को पैमाना माने तो बिन्नी अपने पूर्ववर्ती सौरव गांगुली के सामने कही नहीं ठहरते लेकिन रिश्तों को संजोकर रखना उन्हें अच्छी तरह आता है। गांगुली के बाद बीसीसीआई के पास एक खिलाड़ी प्रशासक के रूप में बिन्नी से बेहतर विकल्प शायद ही कोई और होता। वह भारतीय क्रिकेट के इतिहास में सबसे मेहनती, ईमानदार क्रिकेटरों में से एक रहे हैं।

इस खेल के साथ अपने साढ़े चार दशक के जुड़ाव के दौरान बिन्नी ने केवल दोस्त ही बनाये है। राज्य स्तर की टीम में गुंडप्पा विश्वनाथ, इरापल्ली प्रसन्ना, सैयद किरमानी, बृजेश पटेल जैसे सितारों से सजी कर्नाटक की टीम में सब के साथ उनके रिश्ते सामान्य रहे थे। वह 1980 के दशक की भारतीय टीम के बेहद लोकप्रिय सदस्य थे। उनकी और मदन लाल की जोड़ी ने सात-आठ वर्षों तक कपिल देव के सहायक की भूमिका निभाई थी।

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