गोल्ड लाने वाली अनु रानी की अनकही कहानीः बेटी के भाला फेंक से पिता न थे खुश, चोरी-छिपे गन्ने से करती थीं प्रैक्टिस

यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ ने अनु रानी के शानदार प्रदर्शन के लिए उन्हें बधाई दी। 'एक्स' पर मुख्यमंत्री ने लिखा,''बधाई हो, अनु आपके अद्भुत गोल्डन थ्रो पर! आपका 62.92 मीटर का थ्रो शानदार था, जो आपकी प्रतिभा और दृढ़ संकल्प को दर्शाता है। आपकी उपलब्धियां हम सभी को प्रेरित करती हैं। जय हिन्द!''

तस्वीर का इस्तेमाल सिर्फ प्रस्तुतिकरण के लिए किया गया है। (फाइल)

एशियाई खेलों में एथलीट अनु रानी सत्र के अपने सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन के साथ महिला भाला फेंक स्पर्धा में शीर्ष पर रहीं। मंगलवार (तीन अक्टूबर, 2023) को चीन के हांगझोउ में पूरे सेशन में खराब फॉर्म से जूझने वाली अनु चौथे प्रयास में 62.92 मीटर के सत्र की टॉप परफॉर्मेंस के साथ एशियाई खेलों की भाला फेंक स्पर्धा में स्वर्ण पदक जीतने वाली पहली भारतीय महिला खिलाड़ी बन गईं।

अनु ने मीडिया को बताया, ‘‘मैं पूरे साल कोशिश कर रही थी लेकिन अपना सर्वश्रेष्ठ नहीं दे पा रही थी। मैं उदास और दबाव महसूस कर रही थी क्योंकि सरकार ने मुझे ट्रेनिंग के लिए विदेश भेजने में बहुत पैसा खर्च किया। यह सत्र की मेरी आखिरी प्रतियोगिता थी और मैंने हार नहीं मानी। इसलिए मैंने अपना सर्वश्रेष्ठ देने की ठान ली थी।’’

उन्होंने यह खुलासा किया कि कई प्रतियोगिताओं में खराब प्रदर्शन के बाद वह खेल छोड़ने की कगार पर थीं लेकिन उन्होंने खुद को एक मौका देने के लिए ऐसा नहीं करने का फैसला किया। बकौल रानी, ‘‘परिवार और देश की अपेक्षाएं थीं। मैं अपना सर्वश्रेष्ठ नहीं दे पा रही थी। पूरा सूत्र अच्छा नहीं रहा। बीच में मैं 54 मीटर का थ्रो भी कर रही थी और मैंने सोचा कि अगर मैं इतना बुरा कर रही हूं, तो मैं खेल छोड़ दूंगी। लेकिन मैंने खुद से कहा कि मैं इतनी जल्दी हार नहीं मानूंगी और अंत तक लड़ूंगी।''

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अभिषेक गुप्ता author

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