इंडियन जॉब मार्केट पर AI का दिख सकता है असर, प्रोडक्टिविटी में होगी बढ़ोतरी: इकोनॉमिक सर्वे
Economic Survey 2024: इकोनॉमिक सर्वेक्षण में कहा गया है कि आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस में उत्पादकता बढ़ाने की काफी क्षमता है, लेकिन कुछ क्षेत्रों में यह नौकरियों को प्रभावित भी कर सकता है। जैसे-जैसे AI आधारित सिस्टम ‘स्मार्ट’ हो रहा है, इसकी स्वीकार्यता बढ़ेगी और काम का तौर-तरीका बदलेगा।
आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI)
Economic Survey 2024: आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) का विभिन्न कौशल वाले कर्मचारियों पर पड़ने वाले असर को लेकर काफी अनिश्चितता है। संसद में सोमवार को पेश 2023-24 की इकोनॉमिक सर्वे में यह कहा गया है। सर्वेक्षण में यह अनुमान जताया गया है कि नये जमाने की टेक्नोलॉजी से उत्पादकता में तो वृद्धि होगी, लेकिन कुछ क्षेत्रों में रोजगार पर प्रतिकूल असर पड़ सकते हैं। इसमें कहा गया है कि आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) ‘इनोवेशन’ की तीव्र गति और उसके प्रसार में सुगमता के मामले में बेजोड़ है। लेकिन इससे आने वाले समय में काम के तौर-तरीकों में बड़ा बदलाव देखने को मिल सकता है।
एआई के प्रभाव को लेकर बनी है अनिश्चितता
सर्वेक्षण के अनुसार, "आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के आने से सभी स्तरों के श्रमिकों पर इसके प्रभाव के बारे में अनिश्चितता की स्थिति बनी हुई है। भविष्य में काम के तौर-तरीकों को लेकर सबसे बड़ा बदलाव एआई में तेजी से हो रही वृद्धि है। वास्तव में यह ग्लोबल अर्थव्यवस्था में व्यापक स्तर पर बदलाव लाने की स्थिति में है।’’
AI सिस्टम हो रहा ‘स्मार्ट’
सर्वेक्षण में कहा गया है, ‘‘भारत इस बदलाव से अछूता नहीं रहेगा। एआई को बिजली और इंटरनेट की तरह एक सामान्य उद्देश्य वाली तकनीक के रूप में मान्यता दी जा रही है, जो इनोवेशन की तीव्र गति और प्रसार में सुगमता के कारण अभूतपूर्व है। जैसे-जैसे आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस आधारित सिस्टम ‘स्मार्ट’ हो रहा है, इसकी स्वीकार्यता बढ़ेगी और काम का तौर-तरीका बदलेगा।’’
सर्वेक्षण में कहा गया है कि आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस में उत्पादकता बढ़ाने की काफी क्षमता है, लेकिन कुछ क्षेत्रों में यह नौकरियों को प्रभावित भी कर सकता है।’’
इन क्षेत्रों में बढ़ रही एआई की मांग
समीक्षा के अनुसार, ‘‘ग्राहक सेवा सहित दैनिक कार्यों में उच्चस्तर के स्वचालन की संभावना है। क्रिएटिव और सृजन से जुड़े क्षेत्रों में तस्वीर और वीडियो निर्माण के लिए एआई का व्यापक उपयोग देखने को मिल सकता है। साथ ही व्यक्तिगत एआई शिक्षक शिक्षा को नया रूप दे सकते हैं और स्वास्थ्य सेवा जैसे क्षेत्रों में दवाओं की खोज में तेजी आ सकती है।’’
इनपुटः भाषा
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