Incognito मोड में भी आपका डेटा चुरा रहा गूगल, अब 41 हजार करोड़ रु से करेगा भरपाई
Google Tracking Incognito Mode Data: मुकदमे में दावा है कि गूगल के एनालिटिक्स, कुकीज और विभिन्न ऐप्स के उपयोग से कंपनी ने यूजर्स एक्टिविटी को ट्रैक किया है। यह ट्रैकिंग तब भी हुई जब यूजर्स ने Google Chrome में 'इनकॉगनिटो' मोड (जिसे प्राइवेट ब्राउजिंग भी कहते हैं) का इस्तेमाल किया था।
Google Chrome
क्या है पूरा मामला
रॉयटर्स की रिपोर्ट के अनुसार, 2020 में शुरू किए गए मुकदमे में बड़ी संख्या में गूगल यूजर्स शामिल हैं। इस मुकदमे में अल्फाबेट कंपनी पर कई यूजर्स की ऑनलाइन गतिविधियों की गुप्त रूप से निगरानी करने का आरोप लगाया गया था। इन व्यक्तियों का मानना था कि वे निजी तौर पर इंटरनेट ब्राउज कर रहे थे, लेकिन इसके बाद भी उनपर नजर रखी गई। इन उल्लंघनों की समय-सीमा 1 जून, 2016 तक है। मुकदमे में शामिल प्रत्येक यूजर्स ने कम से कम 5,000 डॉलर का हर्जाना मांगा था। ये हर्जाना संघीय वायरटैपिंग और कैलिफोर्निया गोपनीयता कानूनों के कथित उल्लंघन के लिए था।
गूगल करेगा 41 हजार करोड़ रुपये का भुगतान
रॉयटर्स की रिपोर्ट के अनुसार, मुकदमे में शुरू में कम से कम 5 बिलियन डॉलर का हर्जाना मांगा गया था। शुरुआत में मुकदमा 5 फरवरी, 2024 के लिए निर्धारित किया गया था। हालांकि, कैलिफोर्निया के ओकलैंड में अमेरिकी जिला न्यायाधीश यवोन गोंजालेज रोजर्स ने इस पर रोक लगा दी थी।
मुकदमे में वादी ने दावा किया गया है कि गूगल के एनालिटिक्स, कुकीज और विभिन्न ऐप्स के उपयोग से कंपनी ने यूजर्स एक्टिविटी को ट्रैक किया है। यह ट्रैकिंग तब भी हुई जब यूजर्स ने Google Chrome में 'इनकॉगनिटो' मोड (जिसे प्राइवेट ब्राउजिंग भी कहते हैं) का इस्तेमाल किया था।
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