Apr 17, 2025
पश्चिम बंगाल को 'खीरा किंग' (King of Cucumber) इसलिए कहा जाता है क्योंकि यहां की जलवायु, खेती की तकनीक, और उत्पादन क्षमता ने खीरे की खेती को बहुत सफल बनाया है।
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पश्चिम बंगाल में विशेषकर नदिया, मुर्शिदाबाद, हावड़ा और उत्तर 24 परगना जिलों में खीरे की पैदावार बहुत अधिक होती है।
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NHB के मुताबिक पश्चिम बंगाल में वर्ष 2023-24 में देश में सबसे अधिक खीरे का उत्पादन हुआ। यहां इस साल 349.95 हजार मैट्रिक टन उत्पादन हुआ, जो पूरे देश को 17.07 प्रतिशत है।
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पश्चिम बंगाल की नम और गर्म जलवायु खीरे की खेती के लिए अत्यंत उपयुक्त है।
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पश्चिम बंगाल पर देसी और हाईब्रिड खीरे की कई किस्मों की खेती की जाती है।
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पश्चिम बंगाल के कृषि विश्वविद्यालय और संस्थान किसानों को नई तकनीकों की ट्रेनिंग देते हैं।
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ड्रिप इरिगेशन, पॉलीहाउस और जैविक खाद का प्रयोग बड़े पैमाने पर होता है।
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खीरे की खेती में महिलाओं की भागीदारी बहुत बढ़ी है, जिससे सामाजिक बदलाव भी आ रहा है।
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खीरे की खेती से हजारों किसानों को नियमित आय का स्रोत मिलता है।
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बंगाल में उगाए गए खीरे की डिलीवरी देश के कई राज्यों में होती है, जैसे बिहार, ओडिशा, झारखंड, और असम।
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