Sep 20, 2023
राजस्थान के भरतपुर जिले के एक कंकड़ वाली कुईया के पास रहने वाली दीपेश कुमारी की कहानी संघर्ष भरी है।
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दीपेश कुमारी के पिता चाट-पकौड़ी का ठेला लगाते हैं और फेरी लगाकर चाट बेचते हैं।
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दीपेश कुमारी ने यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा में 93वीं रैंक लाकर इतिहास रच दिया था।
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दीपेश कुमारी पांच भाई-बहनों में सबसे बड़ी हैं। शिक्षा अच्छी होने के कारण उसे हर जगह स्कॉलरशिप मिली।
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दीपेश के पिता ने छोटे से मकान में रहकर सभी बच्चों को शिक्षा दिलाई। उन्होंने अपनी हैसियत से ऊपर जाकर बच्चे पढ़ाए।
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आईएएस दीपेश ने 12वीं तक की पढ़ाई भरतपुर के एक निजी स्कूल से की थी। फिर उन्होंने जोधपुर से बीटेक सिविल में डिग्री की थी।
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बीटेक करने के बाद मुंबई आईआईटी से एमटेक पूरी की और एक वर्ष तक प्राइवेट कंपनी में जॉब किया। वह 2019 से UPSC एग्जाम की तैयारी में जुटी।
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दीपेश कुमारी पहली बार में UPSC एग्जाम का इंटरव्यू क्लियर नहीं कर पाई थीं। लेकिन, दूसरे प्रयास में UPSC क्लियर कर 93वीं रैंक हासिल की है।
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दीपेश कुमारी के पिता का सपना था कि बेटी खूब पढ़े और परिवार का नाम रोशन करे।
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