हारे का सहारा हैं महादेवी वर्मा की ये बातें, सफलता के लिए छात्र बांध लें गांठ

हारे का सहारा हैं महादेवी वर्मा की ये बातें, सफलता के लिए छात्र बांध लें गांठ

Kuldeep Raghav

Mar 26, 2025

महादेवी वर्मा

​महादेवी वर्मा​

महादेवी वर्मा को आधुनिक मीरा कहा जाता है। उन्होंने हिंदी साहित्य में प्रेम, पीड़ा और आध्यात्मिकता की गहराई को छुआ।

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महादेवी वर्मा के विचार

​महादेवी वर्मा के विचार ​

26 मार्च 1907 को उत्तर प्रदेश के फर्रुखाबाद में जन्मीं महादेवी के विचार छात्रों और युवाओं को प्रेरणा देते हैं ।

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स्त्री की बात

​स्त्री की बात​

समाज के पास वह जादू की छड़ी है, जिससे छूकर वह जिस स्त्री को सती कह देती है, केवल वही सती का सौभाग्य प्राप्त कर सकती है।

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​मनुष्यता की बात​

भाव यदि मनुष्य की क्षुद्रता, दुर्भावना और विकृतियां नहीं बहा पाता, तब वह उसकी दुर्बलता बन जाता है।

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​कैसे बनें शक्ति​

स्नेह, करुणा आदि के भाव हृदय की शक्ति बन सकते हैं और द्वेष, क्रोध आदि के दुर्भाव उसे और अधिक दुर्बल स्थिति में छोड़ जाते हैं।

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​साहस का सम्मान ​

कष्ट और विपत्ति मनुष्य को शिक्षा देने वाले श्रेष्ठ गुण हैं, जो साहस के साथ उनका सम्मान करते हैं।

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​मां का महत्व ​

मनुष्य को संसार से बाँधने वाला विधाता माँ ही है।

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​परीक्षा की बात​

साधारणतः परीक्षा के हथौड़े के नीचे प्रतिमा नहीं गढ़ी जाती।

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​घृणा का भाव ​

घृणा का भाव मनुष्य की असमर्थता का प्रमाण है।

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