Oct 25, 2024
भारत में ट्रेनों के कई रंग है, जिसमें सबसे ज्यादा Red ट्रेन और Blue ट्रेन दिखने को मिलती है।
Credit: canva
क्या यूं ही कोई भी रंग लगा दिया जाता है, या सच में इसके पीछे बड़ा कारण हो सकता है आइये जानें
Credit: canva
बता दें, Red ट्रेन और Blue ट्रेन में केवल रंग का अंतर नहीं है, बल्कि ये भी पता चलता है कि दोनों में से कौन सी ज्यादा सुरक्षित है।
Credit: canva
Red ट्रेन और Blue ट्रेन के डिब्बे अलग अलग शहर में बनाए जाते हैं, और इनमें अलग अलग टेक्नोलॉजी का प्रयोग किया जाता है।
Credit: canva
Blue ट्रेन में डिब्बे बनते हैं चेन्नई में, जबकि Red ट्रेन के डिब्बे बनते हैं पंजाब में।
Credit: canva
Blue डिब्बे डुअल बफर सिस्टम के जरिये एक दूसरे से जुड़े रहते हैं। अगर Blue डिब्बे वाली ट्रेन का एक्सीडेंट होता है तो ये डिब्बे एक दूसरे पर चढ़ जाते हैं। इसमें ज्यादा जोखिम होता है।
Credit: canva
Red डिब्बे सिंगल बफर सिस्टम के जरिये एक दूसरे से जुड़े रहते हैं, अगर Red डिब्बे वाली ट्रेन का एक्सीडेंट होता है तो डिब्बे एक दूसरे पर नहीं चढ़ते, जिससे चोट का जोखिम कम रहता है।
Credit: canva
Blue डिब्बे वाली ट्रेन की स्पीड 110 किमी प्रति घंटा तक होती है।
Credit: canva
Red डिब्बे वाली ट्रेन की स्पीड 200 किमी प्रति घंटा तक होती है।
Credit: canva
इस स्टोरी को देखने के लिए थॅंक्स